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स्वास्थ्य मंत्री के गृह जिला सोलन में एंबुलेंस में ऑक्सीजन न मिलने से कोरोना संक्रमित की हुई मौत

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Published : May 11, 2021, 7:12 PM IST

सोशल मीडिया पर एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है. जिसे सोलन के क्षेत्रीय अस्पताल के बाहर एक व्यक्ति ने बनाया है, जिसमें मरीज के तीमारदार ये कहते नजर आ रहे हैं कि सरकार दावे तो कर रही है कि उनके पास ऑक्सीजन की पूरी मात्रा है, लेकिन जब उसकी जरूरत मरीज को है ऑक्सीजन मौके पर मिलती ही नहीं है.

Corona infected died in Solan, सोलन में कोरोना संक्रमित की मौत
फोटो.

सोलन: हिमाचल प्रदेश में लगातार कोरोना वायरस बढ़ता जा रहा है. बढ़ रहे कोरोना मामलों को लेकर प्रदेश की जयराम सरकार यह दावा कर रही है कि वे लोग कोरोना वायरस की स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार है, लेकिन आए दिन प्रदेश के अस्पतालों में कोरोना संक्रमित मरीजों की वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होती दिख रही है.

इसी तरह का वीडियो बीती रात से सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. जिसे सोलन के क्षेत्रीय अस्पताल के बाहर एक व्यक्ति ने बनाया है, जिसमें मरीज के तीमारदार ये कहते नजर आ रहे हैं कि सरकार दावे तो कर रही है कि उनके पास ऑक्सीजन की पूरी मात्रा है, लेकिन जब उसकी जरूरत मरीज को है ऑक्सीजन मौके पर मिलती ही नहीं है.

सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहे वीडियो में साफ देखा जा रहा है कि किस तरह से कोरोना संक्रमित मरीज के साथ आए तीमारदार स्वास्थ्य विभाग पर यह आरोप लगा रहे हैं कि ऑक्सीजन ना मिल पाने की वजह से उनके मरीज की मृत्यु हुई है.

वीडियो रिपोर्ट.

एसडीएम नालागढ़ को जांच के आदेश

वहीं, वीडियो वायरल होने के बाद डीसी सोलन केसी चमन ने भी इस बारे में कहा कि उनके संज्ञान में ये मामला आया है. जिस बारे में एसडीएम नालागढ़ को जांच के आदेश दिए हैं आखिर क्यों एंबुलेंस में ऑक्सीजन की मात्रा पर्याप्त नहीं थी और क्यों और किन कारण से यह हादसा सामने आया है.

वहीं, कोरोना संक्रमित मरीज के साथ आए तीमारदार अनिल शर्मा ने बताया कि उनके जीजा पिछले कल बद्दी के एक निजी अस्पताल में एडमिट हुए थे और उन्हें कोरोना था. जिस वजह से उन्हें ऑक्सीजन की कमी हो रही थी, लेकिन अस्पताल प्रशासन ने कहा कि यदि उन्हें अस्पताल में कोई दिक्कत होती है तो उन्हें आईजीएमसी रेफर कर दिया जाएगा.

वहीं, बीती रात जब उन्हें रेफर करने की बात कही गई तो न तो अस्पताल प्रशासन द्वारा उन्हें एंबुलेंस सेवा मुहैया करवाई गई और न ही उन्हें किसी तरह से सुविधा दी गई. बहुत बोलने के बाद अस्पताल प्रशासन ने 108 के माध्यम से एंबुलेंस मंगवाई.

मुंह से ही सांस देने की कोशिश की गई

एंबुलेंस में ऑक्सीजन के दो सिलेंडर की मांग भी की गई थी, लेकिन एंबुलेंस में कार्यरत कर्मचारी ने कहा कि एंबुलेंस में पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन है और मरीज को किसी भी तरह असुविधा नहीं होगी, लेकिन फिर भी अपनी तसल्ली के लिए हमने एक सिलेंडर ऑक्सीजन का एंबुलेंस में रखवा लिया, लेकिन थोड़ी ही देर परवाणु पहुंचते ही मरीज को ऑक्सीजन की कमी होने लगी. जब एंबुलेंस में ऑक्सीजन नहीं मिली तो उन्हें मुंह से ही सांस देने की कोशिश की गई, लेकिन अस्पताल पहुंचते-पहुंचते उनकी मृत्यु हो गई.

कड़ा रुख अपनाया जाए

तीमारदारों ने एंबुलेंस और अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए सरकार से मांग की है कि जो हादसा उनके साथ हुआ है वह किसी और के साथ ना हो. इसके लिए कड़ा रुख अपनाया जाए. बहरहाल इससे पहले भी जिला सोलन में स्वास्थ्य सुविधाओं को लेकर कई विवादास्पद मामले सामने आ चुके हैं, लेकिन जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग पल्ला झाड़ने का ही काम कर रहा है.

ये भी पढ़ें- बड़ी खबर: गुड़िया दुष्कर्म व हत्या मामले में फिजिकल हियरिंग में होगी सजा पर बहस

सोलन: हिमाचल प्रदेश में लगातार कोरोना वायरस बढ़ता जा रहा है. बढ़ रहे कोरोना मामलों को लेकर प्रदेश की जयराम सरकार यह दावा कर रही है कि वे लोग कोरोना वायरस की स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार है, लेकिन आए दिन प्रदेश के अस्पतालों में कोरोना संक्रमित मरीजों की वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होती दिख रही है.

इसी तरह का वीडियो बीती रात से सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. जिसे सोलन के क्षेत्रीय अस्पताल के बाहर एक व्यक्ति ने बनाया है, जिसमें मरीज के तीमारदार ये कहते नजर आ रहे हैं कि सरकार दावे तो कर रही है कि उनके पास ऑक्सीजन की पूरी मात्रा है, लेकिन जब उसकी जरूरत मरीज को है ऑक्सीजन मौके पर मिलती ही नहीं है.

सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहे वीडियो में साफ देखा जा रहा है कि किस तरह से कोरोना संक्रमित मरीज के साथ आए तीमारदार स्वास्थ्य विभाग पर यह आरोप लगा रहे हैं कि ऑक्सीजन ना मिल पाने की वजह से उनके मरीज की मृत्यु हुई है.

वीडियो रिपोर्ट.

एसडीएम नालागढ़ को जांच के आदेश

वहीं, वीडियो वायरल होने के बाद डीसी सोलन केसी चमन ने भी इस बारे में कहा कि उनके संज्ञान में ये मामला आया है. जिस बारे में एसडीएम नालागढ़ को जांच के आदेश दिए हैं आखिर क्यों एंबुलेंस में ऑक्सीजन की मात्रा पर्याप्त नहीं थी और क्यों और किन कारण से यह हादसा सामने आया है.

वहीं, कोरोना संक्रमित मरीज के साथ आए तीमारदार अनिल शर्मा ने बताया कि उनके जीजा पिछले कल बद्दी के एक निजी अस्पताल में एडमिट हुए थे और उन्हें कोरोना था. जिस वजह से उन्हें ऑक्सीजन की कमी हो रही थी, लेकिन अस्पताल प्रशासन ने कहा कि यदि उन्हें अस्पताल में कोई दिक्कत होती है तो उन्हें आईजीएमसी रेफर कर दिया जाएगा.

वहीं, बीती रात जब उन्हें रेफर करने की बात कही गई तो न तो अस्पताल प्रशासन द्वारा उन्हें एंबुलेंस सेवा मुहैया करवाई गई और न ही उन्हें किसी तरह से सुविधा दी गई. बहुत बोलने के बाद अस्पताल प्रशासन ने 108 के माध्यम से एंबुलेंस मंगवाई.

मुंह से ही सांस देने की कोशिश की गई

एंबुलेंस में ऑक्सीजन के दो सिलेंडर की मांग भी की गई थी, लेकिन एंबुलेंस में कार्यरत कर्मचारी ने कहा कि एंबुलेंस में पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन है और मरीज को किसी भी तरह असुविधा नहीं होगी, लेकिन फिर भी अपनी तसल्ली के लिए हमने एक सिलेंडर ऑक्सीजन का एंबुलेंस में रखवा लिया, लेकिन थोड़ी ही देर परवाणु पहुंचते ही मरीज को ऑक्सीजन की कमी होने लगी. जब एंबुलेंस में ऑक्सीजन नहीं मिली तो उन्हें मुंह से ही सांस देने की कोशिश की गई, लेकिन अस्पताल पहुंचते-पहुंचते उनकी मृत्यु हो गई.

कड़ा रुख अपनाया जाए

तीमारदारों ने एंबुलेंस और अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए सरकार से मांग की है कि जो हादसा उनके साथ हुआ है वह किसी और के साथ ना हो. इसके लिए कड़ा रुख अपनाया जाए. बहरहाल इससे पहले भी जिला सोलन में स्वास्थ्य सुविधाओं को लेकर कई विवादास्पद मामले सामने आ चुके हैं, लेकिन जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग पल्ला झाड़ने का ही काम कर रहा है.

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