Pradosh Vrat: फरवरी 2023 का महीना शुरू होते ही गुरु प्रदोष व्रत 2 फरवरी को रखा जाएगा. इस दिन भगवान शंकर की पूजा-अर्चना की जाती है. माना जाता है कि सोमवार की तरह भगवान शिव को प्रदोष का दिन भी अतिप्रिय होता है. इस दिन भगवान आशुतोष का व्रत और पूजा-पाठ करने से मनचाहा वरदान मिलता है.
गुरुवार को होगी प्रदोष: पंचांग से मिली जानकारी के मुताबिक प्रदोष व्रत त्रयोदशी तिथि को रखा जाता है. इस दिन भगवान शिव- पार्वती का व्रत रखकर पूजा का विधान माना जाता है. इस दिन पूजा प्रदोष काल में उत्तम मानी जाती है. माना जाता है कि प्रदोष या प्रदोष काल में भगवान शिव की आराधना करने से हमेशा जीवन में सुख- समृद्धि बनी रहती है. इस बार भी पिछले प्रदोष व्रत की तरह की प्रदोष गुरुवार के दिन पड़ रही है. इसलिए इसे गुरु प्रदोष कहा जाएगा.
2 फरवरी की शाम को शुरू होगी प्रदोष: माघ महीने के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि 2 फरवरी को पड़ रही है. गुरु प्रदोष व्रत का आरंभ इस दिन शाम 4 बजकर 25 मिनट से शुरू होगा और समापन 3 फरवरी शाम को 6 बजकर 58 मिनट पर होगा. वहीं, 2 फरवरी को पूजा का मुहूर्त शाम 6 बजकर 2 मिनट से शुरू होगा और रात 8 बजकर 37 मिनट तक रहेगा.
यश और प्रतिष्ठा मिलती: गुरुवार के दिन प्रदोष आने से इस दिन भगवान शिव और मां पार्वती की आराधना के अलावा भगवान विष्णु की पूजा भी करनी चाहिए. वहीं, इस दिन उन लोगों को जरूर पूजा करनी चाहिए जिनका विवाह का संयोग नहीं बन रहा. शाम को देवों के देव महादेव का रुद्राभिषेक करना चाहिए. माना जाता है कि इस दिन व्रत रखने से व्यक्ति को यश और प्रतिष्ठा मिलती है.
18 फरवरी को प्रदोष पर महा शिवरात्रि: इस साल 2023 को महा शिवरात्रि का त्योहार 18 फरवरी को मनाया जाएगा. इस दिन प्रदोष शनिवार के दिन पड़ेगी. हिंदू पंचांग के अनुसार फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को महाशिवरात्रि का पर्व मनाया जाता है. मान्यता के अनुसार, भगवान शिव- पार्वती का विवाह इसी दिन हुआ था.
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