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शनिवार को पैतृक गांव पहुंचेगा शहीद तिलक राज का पार्थिक शरीर, सीएम खुद जाकर देंगे श्रद्धांजलि - कांगड़ा

पुलवामा हमले में शहीद हुए तिलक राज का पार्थिव शरीर को उनके घर जवाली लाया जाएगा. जहां शहीद को श्रद्धांजलि देने सीएम जयराम ठाकुर भी पहुंचेंगे.

शहीद तिलक राज (डिजाइन फोटो)
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Published : Feb 15, 2019, 11:44 PM IST

शिमला: जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में हुए आतंकी हमले में ज्वाली विधानसभा क्षेत्र की नाणा पंचायत के धेवा गांव के वीर जवान तिलक राज की शहादत के बाद गांव गम और आंसुओं के सैलाब में डूबा हुआ है. शहीद तिलक राज का पार्थिव शरीर शनिवार को उनके पैतृक गांव धेवा पहुंचाया जाएगा.

तिलक राज की शहादत की खबर सुनते ही भारी संख्या में लोग उनके घर पहुंच कर परिवार वालों का ढांढस बधाने में लगे हैं. कैबिनेट मंत्री किशन कपूर और स्थानीय विधायक अर्जुन सिंह ने भी परिवार वालों से मिलकर इस दुख की घड़ी में हौंसला बंधाया. शनिवार को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर भी इस दुख की घड़ी में शामिल होने धेवा गांव जाएंगे.

शहीद तिलक का परिवार शाहपुर के धारकंडी की रुलेहड़ पंचायत के बतूनी गांव का रहने वाला था. कुछ साल पहले ही उन्होंने ज्वाली के धेवा गांव में नए घर में शिफ्ट किया था. तिलक राज के पिता लायक राम खेतीबाड़ी करते हैं और बड़ा भाई नौकरी करता है. शहीद तिलक गद्दी सुमदाय से संबंध रखते थे. उनका पूरा परिवार इस सूचना के बाद से ही सदमें में है मां और पत्नी बेसुध हो गई हैं. आपको बता दें कि तिलक ने 2011 ने सीआरपीएफ ज्वाइन की थी.

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शिमला: जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में हुए आतंकी हमले में ज्वाली विधानसभा क्षेत्र की नाणा पंचायत के धेवा गांव के वीर जवान तिलक राज की शहादत के बाद गांव गम और आंसुओं के सैलाब में डूबा हुआ है. शहीद तिलक राज का पार्थिव शरीर शनिवार को उनके पैतृक गांव धेवा पहुंचाया जाएगा.

तिलक राज की शहादत की खबर सुनते ही भारी संख्या में लोग उनके घर पहुंच कर परिवार वालों का ढांढस बधाने में लगे हैं. कैबिनेट मंत्री किशन कपूर और स्थानीय विधायक अर्जुन सिंह ने भी परिवार वालों से मिलकर इस दुख की घड़ी में हौंसला बंधाया. शनिवार को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर भी इस दुख की घड़ी में शामिल होने धेवा गांव जाएंगे.

शहीद तिलक का परिवार शाहपुर के धारकंडी की रुलेहड़ पंचायत के बतूनी गांव का रहने वाला था. कुछ साल पहले ही उन्होंने ज्वाली के धेवा गांव में नए घर में शिफ्ट किया था. तिलक राज के पिता लायक राम खेतीबाड़ी करते हैं और बड़ा भाई नौकरी करता है. शहीद तिलक गद्दी सुमदाय से संबंध रखते थे. उनका पूरा परिवार इस सूचना के बाद से ही सदमें में है मां और पत्नी बेसुध हो गई हैं. आपको बता दें कि तिलक ने 2011 ने सीआरपीएफ ज्वाइन की थी.

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