शिमला: वर्ल्ड हेरिटेज ट्रैक की सुरंगों को बढ़ते खतरे को लेकर जल्द ही प्रदेश सरकार से बात की जाएगी. शनिवार को कालका-शिमला ट्रैक के निरीक्षण के लिए शिमला रेलवे स्टेशन पहुंचे उत्तर रेलवे के जीएम टीपी सिंह ने कहा कि हेरिटेज ट्रैक के अस्तित्व को बचाने के लिए जल्द ही प्रदेश सरकार से भी बात की जाएगी.
टीपी सिंह ने कहा कि फोरलेन निर्माण कार्य के चलते कालका-शिमला ट्रैक पर सनावर, बड़ोग और कंडाघाट टनल को खतरा पैदा हो गया है. ट्रैक की सुरक्षा से जुड़े मुद्दे को लेकर जल्द ही सरकार से बात की जाएगी. शिमला रेलवे स्टेशन पहुंचने पर टीपी सिंह ने स्टेशन पर शौचालय में सफाई व्यवस्था की जांच भी की. इसके बाद उन्होंने शिमला रेलवे स्टेशन से हेरिटेज स्टीम इंजन में बाबा भलखू रेलवे स्टेशन तक का सफर किया और यहां पहुंचकर बाबा भलखू संग्रहालय का भी निरीक्षण किया.
शिमला हेरिटेज लाइन पर चलने वाले स्टीम इंजन को टीपी सिंह ने हेरिटेज ट्रैक की शान बताया. उन्होंने कहा कि स्टीम इंजन को ज्यादा दूरी तक चलाने पर विचार किया जा सकता है ताकि ज्यादा से ज्यादा यात्री स्टीम इंजन के रोमांच को अनुभव कर सकें. वहीं, ट्रैक पर चलने वाली गाड़ियों की स्पीड को बढ़ाने को लेकर टीपी सिंह ने कहा कि इस बाबत 15 दिन के भीतर ट्रायल किया जाएगा और यह ट्रायल मॉडिफाइड कोचेस के साथ किया जाएगा. यह कोच कालका वर्कशॉप में तैयार किए गए हैं.
जीएम टीपी सिंह ने इस बात को माना कि ट्रैक पर बेहद तीखे मोड़ हैं, जिसके चलते स्पीड बढ़ाना संभव नहीं है. मात्र 30 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार वहीं बढ़ाई जा सकती है, जहां पर ट्रैक सीधा है. उन्होंने कहा कि मॉडिफाइड कोच तैयार कर दिए गए हैं और अब अगर ट्रायल सफल रहता है तो स्पीड बढ़ाने को लेकर संभावनाएं तलाशी जाएंगी.