शिमला: सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने शिमला के सुन्नी में तीन दिवसीय जिला स्तरीय दशहरा उत्सव का शुभारंभ किया. वहीं, उन्होंने ₹174 करोड़ की 18 विकास परियोजनाओं का लोकार्पण व शिलान्यास किया. इस दौरान उन्होंने दशहरा में आए देवी-देवताओं का भी आशीर्वाद लिया. साथ ही सीएम ने हिमाचल प्रदेश के लोगों की सुख-समृद्धि की कामना की.
इस मौके पर सीएम सुक्खू ने सुन्नी अस्पताल की क्षमता 100 बेड तक करने की घोषणा की. उन्होंने कहा इस अस्पताल में पर्याप्त चिकित्सकों की नियुक्ति की जाएगी. इसे आदर्श स्वास्थ्य संस्थान बनाया जाएगा. उन्होंने भविष्य में सुन्नी में एसडीएम कार्यालय खोलने और मिनी सचिवालय निर्माण के लिए पर्याप्त धनराशि उपलब्ध करवाने का भी आश्वासन दिया. उन्होंने कहा कि जल्द ही मिनी सचिवालय का शिलान्यास किया जाएगा.
सीएम सुक्खू ने शिमला ग्रामीण विधानसभा क्षेत्र के शोघी में हिमाचल प्रदेश राज्य विद्युत बोर्ड का उपमंडल खोलने की घोषणा करते हुए कहा कि इसके लिए अगले बजट में प्रावधान किया जाएगा. इससे पहले सीएम ने शिमला ग्रामीण विधानसभा क्षेत्र के लिए ₹174 करोड़ की 18 विकास परियोजनाओं के लोकार्पण और शिलान्यास किए. उन्होंने जलोग में ₹4.69 करोड़ की लागत से निर्मित राजकीय औद्योगिक प्रशक्षिण संस्थान भवन, सुन्नी में ₹3.71 करोड़ की लागत से निर्मित गृह रक्षा भवन और सुन्नी में ₹88 लाख की लागत से निर्मित राजकीय कोषागार भवन का लोकार्पण किया.
सीएम सुक्खू ने ₹5.42 करोड़ की लागत से बनने वाली कढारघाट से पलग सेरीकाडी सड़क, ₹4.29 करोड़ की लागत से मंढोड़घाट से जमोग वाया भरगन सड़क, ₹5.14 करोड़ की लागत से बनने वाली शमलोह-मंढोड़घाट-अणु सड़क, ₹11.75 करोड़ की लागत से निर्मित होने वाली शाननघाटी दाड़गी-सोहल-काटल सड़क, ₹12.60 करोड़ की लागत से बनने वाली जलोग-गढेड़ी सड़क, ₹7.84 करोड़ की लागत से बनने वाली बघार से जगेहड़ी सड़क, ₹10.20 करोड़ की लागत से निर्मित होने वाली खेल का चौरा से बागी सड़क, ₹12.22 करोड़ से निर्मित होने वाली रूरगा-गवाही-रंगोल सड़क और ₹6.66 करोड़ की लागत से निर्मित होने वाली शड़ी से सनौला सड़क की आधारशिला रखी.
सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा राज्य सरकार प्रदेश के संसाधनों का संरक्षण सुनिश्चित करेगी. पिछली सरकार ने बिजली परियोजनाओं में राज्य के हितों पर ध्यान नहीं दिया, जिसके परिणामस्वरूप कार्यान्वयन समझौता हस्ताक्षरित किए बिना 210 मेगावाट की लूहरी चरण-1, 382 मेगावाट की सुन्नी परियोजना और 66 मेगावाट की धौलासिद्ध जल विद्युत परियोजनाओं पर निर्माण शुरू हुआ, जिस पर राज्य सरकार ने कड़ा रुख अपनाते हुए सतलुज जल विद्युत निगम लिमिटड को नोटिस जारी किए हैं.
उन्होंने कहा इन बिजली परियोजनाओं में लाडा (लोकल एरिया डेवलपमेंट फंड) का पैसा जमा नहीं करवाया गया और जीएसटी, फ्री-रॉयल्टी का प्रावधान भी नहीं किया गया. उन्होंने कहा यदि संबंधित कंपनी लोगों के अधिकारों पर ध्यान नहीं देती है तो, उन्हें दिए गए प्रोजेक्ट राज्य सरकार द्वारा टेकओवर कर लिए जाएंगे. वह आम लोगों के दर्द से भली-भांति परिचित हैं. क्योंकि वह स्वयं भी सामान्य परिवार से संबंध रखते हैं. उन्होंने कहा कि आपदा प्रभावितों के पूरी तरह क्षतिग्रस्त घर पर दिए जाने वाले 1.30 लाख रुपये के मुआवजे को बढ़ाकर सात लाख रुपये किया गया है.