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बेनामी पत्र पर बोले CM जयराम, लेटर भेजने वाले के खिलाफ दर्ज होगा क्रिमिनल मामला

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Published : Jun 4, 2020, 9:51 PM IST

Updated : Jun 5, 2020, 11:47 AM IST

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने दावा किया कि वेंटिलेटर खरीद में किसी तरह की अनियमितता नहीं हुई है. उन्होंने कहा कि दोषी व्यक्ति को पाताल से भी खोज निकाला जाएगा और उसके खिलाफ कार्रवाई होगी. सीएम ने कहा कि बेनामी पत्र भेजने वाले के खिलाफ मानहानि सहित क्रिमिनल मामला दर्ज किया जाएगा.

CM Jairam's statement will file a criminal case against the sender of the benami letter
वेंटिलेटर खरीद में अनियमितता नहीं हुई

शिमला: मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने दावा किया कि वेंटिलेटर खरीद में किसी तरह की अनियमितता नहीं हुई. जिस पत्र के आधार पर यह मामला उछला, सरकार ने उस पर छानबीन करवाई है. जिस तरह से एक अज्ञात पत्र के जरिए सरकार की छवि को नुकसान पहुंचाने का प्रयास किया गया, उस पर सख्त कार्रवाई की जाएगी. सीएम ने कहा कि बेनामी पत्र भेजने वाले के खिलाफ मानहानि सहित क्रिमिनल मामला दर्ज किया जाएगा.

सीएम जयराम ने कहा कि दोषी व्यक्ति को पाताल से भी खोज निकाला जाएगा. उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने राजनीतिक मकसद से आरोप लगाए. सीएम ने कहा कि इस तरह के बिना नाम के पत्र सरकार के पास अकसर आते रहते हैं.

वीडियो.

उन्होंने विपक्ष को चेताया और कांग्रेस नेता मुकेश अग्निहोत्री से कहा कि उनके खिलाफ भी कई पत्र सरकार के पास आते हैं, जिनमें भेजने वाले अपना नाम-पता नहीं लिखते, परंतु उनकी सरकार बदले की भावना से काम नहीं करती. यदि ऐसे पत्र भेजने वाले के पास नाम लिखने तक की हिम्मत नहीं तो जाहिर है, राजनीतिक स्कोर सैटल करने के लिए ऐसे काम किए जाते हैं.

सरकार को बदनाम करने की कोशिश: CM

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने इससे पहले कहा कि गुमनाम पत्र मेडिकल इक्पिमेंट्स मेन्युफैक्चर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया की तरफ से आया था, लेकिन उसमें नाम-पता कुछ नहीं था. पत्र में लिखा गया था कि साढ़े तीन लाख का वेंटिलेटर 10 लाख रुपए में खरीदा गया.

सरकार ने इस सारे मामले की तहकीकात की. जेम पोर्टल पर अभी भी वेंटिलेटर का रेट दस लाख रुपए से अधिक मौजूद है. सरकार ने पूरी प्रक्रिया का पालन करते हुए दस वेंटिलेटर्स खरीदे थे. उड़ीसा सरकार ने भी लगभग उसी कीमत पर वेंटिलेटर खरीदे. हरियाणा सरकार ने भी 16 अप्रैल को करीब उसी कीमत पर खरीद की. ऐसे में शरारतपूर्ण तरीके से सरकार को बदनाम करने की कोशिश की गई.

पत्रकार वार्ता में मौजूद अतिरिक्त मुख्य सचिव आरडी धीमान ने तथ्यों सहित बताया कि वेंटिलेटर्स की खरीद किस प्रक्रिया से की गई. बाद में सीएम जयराम ठाकुर ने कहा कि पीपीई किट्स को लेकर टेंडर किए गए. सरकार ने टेंडर जरूर किया है, लेकिन अभी वहां से किट नहीं ली जा रही.

अब सरकारी उपक्रम एचएलएल से नि:शुल्क सप्लाई मिल रही. सीएम ने कहा कि विपक्ष को दिमाग से काम लेना चाहिए. जयराम ठाकुर ने कहा कि जब उनकी सरकार जनता के बीच सच्चाई रखेगी तो इस तरह बिना सोचे-समझे आरोप लगाने पर विपक्ष की जगहंसाई होगी.

डॉ. राजीव बिंदल को इस्तीफे के लिए हमने नहीं कहा: CM

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने पत्रकार वार्ता में कहा कि ऑडियो वायरल होने के बाद डॉ. राजीव बिंदल ने नैतिकता के आधार पर इस्तीफा दिया. डॉ. बिंदल को इस्तीफे के लिए हमने नहीं कहा. उन्होंने स्वयं नैतिकता के आधार पर पद छोड़ा, क्योंकि वायरल ऑडियो में स्वास्थ्य निदेशक (निलंबित) के अलावा जिस व्यक्ति की आवाज है, उनका संबंध डॉ. बिंदल से जोड़ा जा रहा था. सीएम ने कहा कि हाईकमान के संज्ञान में सारा मामला है.

ये भी पढ़ें: CM जयराम का कांग्रेस पर जुबानी हमला, बोले- कोरोना की लड़ाई में कहां खर्च किए 12 करोड़ रुपये

शिमला: मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने दावा किया कि वेंटिलेटर खरीद में किसी तरह की अनियमितता नहीं हुई. जिस पत्र के आधार पर यह मामला उछला, सरकार ने उस पर छानबीन करवाई है. जिस तरह से एक अज्ञात पत्र के जरिए सरकार की छवि को नुकसान पहुंचाने का प्रयास किया गया, उस पर सख्त कार्रवाई की जाएगी. सीएम ने कहा कि बेनामी पत्र भेजने वाले के खिलाफ मानहानि सहित क्रिमिनल मामला दर्ज किया जाएगा.

सीएम जयराम ने कहा कि दोषी व्यक्ति को पाताल से भी खोज निकाला जाएगा. उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने राजनीतिक मकसद से आरोप लगाए. सीएम ने कहा कि इस तरह के बिना नाम के पत्र सरकार के पास अकसर आते रहते हैं.

वीडियो.

उन्होंने विपक्ष को चेताया और कांग्रेस नेता मुकेश अग्निहोत्री से कहा कि उनके खिलाफ भी कई पत्र सरकार के पास आते हैं, जिनमें भेजने वाले अपना नाम-पता नहीं लिखते, परंतु उनकी सरकार बदले की भावना से काम नहीं करती. यदि ऐसे पत्र भेजने वाले के पास नाम लिखने तक की हिम्मत नहीं तो जाहिर है, राजनीतिक स्कोर सैटल करने के लिए ऐसे काम किए जाते हैं.

सरकार को बदनाम करने की कोशिश: CM

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने इससे पहले कहा कि गुमनाम पत्र मेडिकल इक्पिमेंट्स मेन्युफैक्चर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया की तरफ से आया था, लेकिन उसमें नाम-पता कुछ नहीं था. पत्र में लिखा गया था कि साढ़े तीन लाख का वेंटिलेटर 10 लाख रुपए में खरीदा गया.

सरकार ने इस सारे मामले की तहकीकात की. जेम पोर्टल पर अभी भी वेंटिलेटर का रेट दस लाख रुपए से अधिक मौजूद है. सरकार ने पूरी प्रक्रिया का पालन करते हुए दस वेंटिलेटर्स खरीदे थे. उड़ीसा सरकार ने भी लगभग उसी कीमत पर वेंटिलेटर खरीदे. हरियाणा सरकार ने भी 16 अप्रैल को करीब उसी कीमत पर खरीद की. ऐसे में शरारतपूर्ण तरीके से सरकार को बदनाम करने की कोशिश की गई.

पत्रकार वार्ता में मौजूद अतिरिक्त मुख्य सचिव आरडी धीमान ने तथ्यों सहित बताया कि वेंटिलेटर्स की खरीद किस प्रक्रिया से की गई. बाद में सीएम जयराम ठाकुर ने कहा कि पीपीई किट्स को लेकर टेंडर किए गए. सरकार ने टेंडर जरूर किया है, लेकिन अभी वहां से किट नहीं ली जा रही.

अब सरकारी उपक्रम एचएलएल से नि:शुल्क सप्लाई मिल रही. सीएम ने कहा कि विपक्ष को दिमाग से काम लेना चाहिए. जयराम ठाकुर ने कहा कि जब उनकी सरकार जनता के बीच सच्चाई रखेगी तो इस तरह बिना सोचे-समझे आरोप लगाने पर विपक्ष की जगहंसाई होगी.

डॉ. राजीव बिंदल को इस्तीफे के लिए हमने नहीं कहा: CM

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने पत्रकार वार्ता में कहा कि ऑडियो वायरल होने के बाद डॉ. राजीव बिंदल ने नैतिकता के आधार पर इस्तीफा दिया. डॉ. बिंदल को इस्तीफे के लिए हमने नहीं कहा. उन्होंने स्वयं नैतिकता के आधार पर पद छोड़ा, क्योंकि वायरल ऑडियो में स्वास्थ्य निदेशक (निलंबित) के अलावा जिस व्यक्ति की आवाज है, उनका संबंध डॉ. बिंदल से जोड़ा जा रहा था. सीएम ने कहा कि हाईकमान के संज्ञान में सारा मामला है.

ये भी पढ़ें: CM जयराम का कांग्रेस पर जुबानी हमला, बोले- कोरोना की लड़ाई में कहां खर्च किए 12 करोड़ रुपये

Last Updated : Jun 5, 2020, 11:47 AM IST
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