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अटल बिहारी वाजपेयी की प्रतिमा पर CM ने अर्पित की पुष्पांजलि, कहा- हिमाचल को मानते थे दूसरा घर

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Published : Aug 16, 2021, 4:27 PM IST

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की तीसरी पुण्यतिथि पर उन्हें याद किया. प्रधानमंत्री रहते अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा दी गई सौगातों को याद करते हुए जयराम ठाकुर ने कहा कि अटल रोहतांग टनल (Atal Rohtang tunnel) हिमाचल के लिए उनकी सबसे बड़ी सौगात है. इस टनल के बनने से प्रदेश के जनजातीय क्षेत्र के लोगों को तो सुविधा हुई है.

भारत रत्न पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की प्रतिमा
पूर्व PM अटल बिहारी वाजपेयी की प्रतिमा पर सीएम ने श्रद्धा सुमन अर्पित किए

शिमला: भारत रत्न एवं पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की तीसरी पुण्यतिथि पर मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर सहित भाजपा नेताओं ने रिज मैदान पर लगी उनकी प्रतिमा पर श्रद्धासुमन अर्पित किए. साथ ही हिमाचल के लिए वाजपेयी द्वारा दी गई सौगातों का जिक्र भी किया.


भारत रत्न पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को याद करते हुए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि अटल बिहारी वाजपेयी हिमाचल को अपना घर मानते थे. वो साल में कम से कम एक बार हिमाचल जरूर आते थे. यहां विश्राम करते थे. जयराम ठाकुर ने कहा कि कुल्लू के प्रीणी में उनके द्वारा बिताया वक्त अभी भी हिमाचल वासियों को याद है. प्रधानमंत्री रहते अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा दी गई सौगातों को याद करते हुए जयराम ठाकुर ने कहा कि अटल रोहतांग टनल हिमाचल के लिए उनकी सबसे बड़ी सौगात है. इस टनल के बनने से प्रदेश के जनजातीय क्षेत्र के लोगों को तो सुविधा हुई है. सेना को भी बॉर्डर तक समान पहुंचने में आसानी होगी. इसके अलावा हिमाचल के पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा. मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री रहते हिमाचल के लिए औद्योगिक पैकेज बहुत बड़ी देन है. इससे हिमाचल में सैकड़ों लोगों को रोजगार के द्वार खुले हैं.

वीडियो.
अटल बिहारी वाजपेयी 1968 में पहली बार मनाली आए थे. मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि मनाली की वादियों से अटल बिहारी वाजपेयी इतना प्रभावित हुए कि उन्होंने मनाली को अपना दूसरा घर बना लिया. जीवनभर राजनीति में सक्रिय रहने वाले अटल 1992 के बाद मनाली के ही होकर रह गए. 19 मार्च 1999 से 22 मई 2004 तक भारत के प्रधानमंत्री रहे अटल बिहारी वाजपेयी हर साल जून महीने में एक सप्ताह तक मनाली से ही देश का संचालन करते थे. प्रीणी एक सप्ताह तक प्रधानमंत्री के कार्यालय में तब्दील हो जाता था. पूर्व प्रधानमंत्री अटल टनल रोहतांग के रूप में हमेशा कुल्लू-मनाली वासियों के बीच मौजूद रहेंगे. रोहतांग टनल का सपना जो वाजपेयी ने अपने लाहौली दोस्त अर्जुन गोपाल संग देखा था, वो तीन अक्टूबर 2020 को पूरा हो गया है. इस दिन भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने टनल का लोकार्पण कर देश को समर्पित किया था. हिमाचल सरकार ने 25 दिसंबर 2019 को उनकी स्मृति में रोहतांग टनल का नामकरण अटल टनल रोहतांग के रूप में करने की घोषणा की.

ये भी पढ़ें- हिमाचल को अपना दूसरा घर मानते थे अटल बिहारी वाजपेयी, अटल रोहतांग टनल हिमाचल के लिए बड़ी सौगात

शिमला: भारत रत्न एवं पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की तीसरी पुण्यतिथि पर मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर सहित भाजपा नेताओं ने रिज मैदान पर लगी उनकी प्रतिमा पर श्रद्धासुमन अर्पित किए. साथ ही हिमाचल के लिए वाजपेयी द्वारा दी गई सौगातों का जिक्र भी किया.


भारत रत्न पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को याद करते हुए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि अटल बिहारी वाजपेयी हिमाचल को अपना घर मानते थे. वो साल में कम से कम एक बार हिमाचल जरूर आते थे. यहां विश्राम करते थे. जयराम ठाकुर ने कहा कि कुल्लू के प्रीणी में उनके द्वारा बिताया वक्त अभी भी हिमाचल वासियों को याद है. प्रधानमंत्री रहते अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा दी गई सौगातों को याद करते हुए जयराम ठाकुर ने कहा कि अटल रोहतांग टनल हिमाचल के लिए उनकी सबसे बड़ी सौगात है. इस टनल के बनने से प्रदेश के जनजातीय क्षेत्र के लोगों को तो सुविधा हुई है. सेना को भी बॉर्डर तक समान पहुंचने में आसानी होगी. इसके अलावा हिमाचल के पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा. मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री रहते हिमाचल के लिए औद्योगिक पैकेज बहुत बड़ी देन है. इससे हिमाचल में सैकड़ों लोगों को रोजगार के द्वार खुले हैं.

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अटल बिहारी वाजपेयी 1968 में पहली बार मनाली आए थे. मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि मनाली की वादियों से अटल बिहारी वाजपेयी इतना प्रभावित हुए कि उन्होंने मनाली को अपना दूसरा घर बना लिया. जीवनभर राजनीति में सक्रिय रहने वाले अटल 1992 के बाद मनाली के ही होकर रह गए. 19 मार्च 1999 से 22 मई 2004 तक भारत के प्रधानमंत्री रहे अटल बिहारी वाजपेयी हर साल जून महीने में एक सप्ताह तक मनाली से ही देश का संचालन करते थे. प्रीणी एक सप्ताह तक प्रधानमंत्री के कार्यालय में तब्दील हो जाता था. पूर्व प्रधानमंत्री अटल टनल रोहतांग के रूप में हमेशा कुल्लू-मनाली वासियों के बीच मौजूद रहेंगे. रोहतांग टनल का सपना जो वाजपेयी ने अपने लाहौली दोस्त अर्जुन गोपाल संग देखा था, वो तीन अक्टूबर 2020 को पूरा हो गया है. इस दिन भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने टनल का लोकार्पण कर देश को समर्पित किया था. हिमाचल सरकार ने 25 दिसंबर 2019 को उनकी स्मृति में रोहतांग टनल का नामकरण अटल टनल रोहतांग के रूप में करने की घोषणा की.

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