शिमला: शिमला नगर निगम चुनाव में कांग्रेस नगर निगम पर काबिज हो चुकी है. जीते हुए उम्मीदवार जीत का जश्न मना रहे हैं. वहीं, छोटा शिमला से पार्षद सुरेंद्र चौहान जो मेयर पद के सबसे प्रबल दावेदार माने जा रहे हैं. उन्होंने शुक्रवार से अपने वार्ड में लगाए गए झंडे बैनर हटाने का अभियान शुरू कर दिया.सुरेंद्र चौहान ने अपनी टीम के साथ छोटा शिमला में दुकानों के बाहर लगे झंडे बैनर और पोस्टर हटाए. इस दौरान खलीनी कनलोग के पार्षद भी उनके साथ मौजूद रहे.
शहर को साफ रखना हमारी जिम्मेदारी: सुरेंद्र चौहान ने कहा कि जब हम लोगों ने चुनाव लड़ा. शहर के कारोबारियों से लेकर घर के लोगों ने उनका बहुत सहयोग किया. इस दौरान जहां भी उन्होंने या उनके समर्थकों में झंडे बैनर लगाने के लिए कहा लोगों ने इसका विरोध नहीं किया. अब शहर को चलाना कांग्रेस के पार्षदों की जिम्मेदारी है. शहर को साफ रखना भी कांग्रेस के पार्षदों की जिम्मेदारी है. राजधानी के लोगों ने इसके लिए कांग्रेस पर विश्ववास जताया, इसलिए उन्होंने अपने वार्ड से यह मुहिम शुरू की, इसमें साथ लगते वार्डों के पार्षदों ने अपनाते हुए उनका सहयोग करना शुरू कर दिया.
सफाई रखना निगम का मुख्य काम: सुरेंद्र चौहान ने कहा कि शहर में सफाई रखना नगर निगम का मुख्य काम है. जब तक हम शहर को साफ करने के लिए हम खुद अपना काम नहीं करेंगे तो लोग भी अपनी जिम्मेदारी नहीं समझेंगे. जब सभी मिलकर अपनी जिम्मेदारी समझेंगे तो ही शहर को साफ रखा जा सकता है.
सीएम के वार्ड से जीते सुरेंद्र चौहान: छोटा शिमला से पार्षद का चुनाव जीते प्रत्याशी सुरेंद्र चौहान मेयर पद के प्रबल दावेदार माने जा रहे हैं. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की पहली पसंद सुरेंद्र चौहान ही होंगे. वह उनके वार्ड के प्रत्याशी भी है और जब मुख्यमंत्री पार्षद का चुनाव लड़ रहे थे तो वे उनके समर्थक भी रहे है. ऐसे में नगर निगम मेयर पद सुरेंद्र चौहान की ताजपोशी हो सकती है. सुरेंद्र चौहान लंबे समय से शिमला शहर में जनहित को मुद्दों को भी उठाते रहे हैं और मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के भी काफी करीबी माने जाते हैं. ऐसे में यह माना जा रहा है कि मुख्यमंत्री सुरेंद्र चौहान को नगर निगम की कमान सौंप सकते है.
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