शिमला: निष्ठा (नेशनल इनिशिएटिव फॉर स्कूल हेड्स एंड टीसर्च होलिस्टिक एडवांसमेंट) योजना के तहत प्रदेश के 354 टीचर्स को नए तरीकों की पठन-पाठन प्रक्रिया से के लिए प्रशिक्षण दिया गया है. प्रदेश में 2 चरणों में एनसीईआरटी के विशेषज्ञों ने इन टीचर्स को रिसोर्स मास्टर की ट्रेनिंग दी है.
दूसरे चरण की ट्रेनिंग में 150 टीचर्स को ट्रेनिंग दी गई है. अब ये प्रशिक्षित टीचर स्कूलों में अन्य टीचर्स को भी टीचिंग के नए मेथड के बारे में बताएंगे. ट्रेनिंग में टीचर्स को स्कूलों में बच्चों को पढ़ाने के लिए अधिक से अधिक प्रैक्टिकल को बढ़ावा देने की बात कही है.
प्रैक्टिकल से छात्रों की पढ़ाई में जिज्ञासा बढ़ेगी और उनको चीजों को समझने में भी आसानी होगी. यही इस ट्रेनिंग का उद्देश्य है.15 अलग-अलग मॉड्यूल के तहत टीचर्स को ये ट्रेनिंग दी गई है. किया गया. इसके साथ ही शिक्षकों को ट्रेनिंग के लिए स्टडी मटेरियल भी एनसीईआरटी की ओर से उपलब्ध करवाया गया है.
इस ट्रेनिंग की खास बात ये है कि देशभर में एक ही पैटर्न पर शिक्षकों को ये ट्रेनिंग दी जा रही है. देश में 45 लाख शिक्षकों को एनसीईआरटी के विशेषज्ञ ये ट्रेनिंग दे रहे हैं. बता दें कि 354 टीचर्स प्रदेश के अन्य 41000 शिक्षकों ये ट्रेनिंग देंगे.
शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि आज आवश्यकता है कि अंतरराष्ट्रीय देशों के साथ हम अपनी शिक्षा पद्धति को सामान्तर लाएं. इसके लिए एनसीईआरटी की ओर से शिक्षा में लर्निंग आउटकम पर फोकस करने के लिए शिक्षकों को ये ट्रेनिंग दी जा रही है. कार्यक्रम के समापन समारोह में शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज ने सभी टीचर्स को ट्रेनिंग के सर्टिफिकेट देकर स्कूलों में टीचींग के नए मेथड को अपनाने की सलाह दी है.