मंडी: जिले मंडी में मौसम तो साफ हो गया है, लेकिन लोगों की परेशानियां कम नहीं हुई हैं. बर्फबारी से प्रभावित इलाकों में अभी भी लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. हालांकि प्रशासन जेसीबी और टिप्पर की मदद से सड़कों को बहाल करने में लगा है.
जानकारी के मुताबिक 79 सड़कों में से 27 सड़कों पर आवाजाही बहाल हो गई. 54 जेसीबी, 12 टिप्पर से सड़कों को बहाल करने का काम किया जा रहा है. कोहरा पड़ने से सड़कों पर जमी बर्फ शीशे के समान हो गई. सराज, चौहारघाटी और नाचन के कई क्षेत्र कटे रहे. सड़कों पर जमी बर्फ के कारण सड़कें बहाल करने के कार्य में भी परेशानी हो रही है. जबकि पानी की पाइपें जाम होने से अधिकांश क्षेत्रों में पानी की सप्लाई प्रभावित रही. पारा माइनस में जाने से बड़ा देव कमरुनाग की पवित्र झील जम गई .सीएम के गृह क्षेत्र सराज में 42, करसोग में 11, मंडी में 12, सुंदरनगर में 9, गोहर में पांच सड़कें अवरुद्ध हो गईं .
सड़कों को खोलने के लिए 54 जेसीबी मशीनें लगाई गई हैं जबकि 12 से अधिक टिप्पर को भी बर्फ हटाने में लगाया गया है. मजदूरों की बात की जाए तो बड़ी संख्या में इस काम में लगे हैं. कोहरे और शीशा बन चुकी बर्फ को हटाने में भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.
गांवों में अंधेरा, 443 ट्रांसफार्मर ठप
भारी बर्फबारी और बारिश से सैकड़ों गांवों की बिजली आपूर्ति ठप है. कड़ाके की सर्दियों में लोग अंधेरे में बिना हीटर और गीजर और अन्य बिजली के उपकरणों के बगैर रहना पड़ रहा है.बर्फबारी से बुधवार को 722 ट्रांसफार्मर बंद थे,लेकिन वीरवार को मौसम खुलने के बाद 283 ट्रांसफार्मर बहाल हो सके हैं जबकि 443 ट्रांसफार्मर बंद पड़े है.
146 पेयजल योजनाएं प्रभावित
भारी बर्फबारी के चलते सराज, नाचन और चौहारघाटी में करीब 367 पेयजल योजनाएं प्रभावित हुई . जिसमें 221को वीरवार को बहाल कर दिया गया 146 पेयजल योजनाएं अभी भी प्रभावित हैं. लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.
एडीएम मंडी श्रवण मांटा ने बताया बर्फबारी से निपटने के लिए सभी विभागों और उपमंडल स्तर के अधिकारियों को दिशा निर्देश दिए गए हैं. हालात पर काबू पाने के लिए प्रशासनिक अधिकारी मुस्तैदी से काम मे जुटे हैं. उन्होंने कहा कि मौसम साफ होने के बाद राहत कार्य तेज कर दिए गए हैं.
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