करसोग/मंडी: करसोग में पिछले ढाई महीने से सूखे की मार झेल रहे किसानों के लिए राहत भरी खबर है. मौसम विभाग ने रविवार को प्रदेश के कई स्थानों पर बारिश और बर्फबारी की संभावना जताई है. ऐसे में रबी सीजन में बिजाई के लिए इंतजार कर रहे किसानों के लिए बारिश वरदान साबित होगी.
करसोग में कई महीनों से बारिश न होने से जमीन पूरी तरह से सूखे की वजह से सख्त पड़ गई है, जिस कारण उपमंडल में इस बार अभी तक किसान गेहूं की बिजाई नहीं कर पाए हैं. ऐसे में किसान बेसब्री से बारिश का इंतजार कर रहे हैं. मौसम विभाग ने निचले क्षेत्रों में कुछ एक स्थानों पर बारिश की संभावना जताई है. वहीं मध्यम ऊंचाई में गर्जना के साथ बारिश की संभावना है.
हिमाचल प्रदेश के अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में अधिकांश स्थानों पर बारिश और बर्फबारी हो सकती है. वहीं, सोमवार को भी मध्यम ऊंचाई और अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में कुछ स्थानों पर बारिश का क्रम जारी रहने के आसार है. पोस्ट मानसून सीजन पर गौर करें तो एक अक्तूबर से 14 नवंबर तक प्रदेश में मात्र 4.8 मिलीमीटर बारिश हुई है, जोकि सामान्य से 86 फीसदी कम है. इस दौरान सामान्य बारिश का आंकड़ा 34.6 मिलीमीटर बारिश का है.
वहीं, मानसून सीजन के आंकड़े पर गौर करें तो एक जून से 30 सितबंर तक प्रदेश में 567.2 मिलीमीटर बारिश हुई है. इस अवधि में सामान्य बारिश का आंकड़ा 763.5 मिलीमीटर बारिश का है. इस तरह से मानसून सीजन में भी बादल सामान्य से 26 फीसदी कम बरसे हैं. करसोग में अगर फसलों की बात की जाए तो पारंपरिक खरीफ सीजन में मक्की की फसल के बाद रबी सीजन में गेंहू प्रमुख फसल है. करसोग में करीब 650 हेक्टेयर भूमि पर गेहूं की बिजाई की जाती है.
मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक डॉ. मनमोहन सिंह का कहना है कि पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय होने से प्रदेश में कई स्थानों पर गर्जना के साथ बारिश के आसार है. इस दौरान ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी की भी संभावना है. उन्होंने कहा कि प्रदेशभर में 70 से 75 फीसदी बारिश का पूर्वानुमान है.
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