मंडीः मंडी जिला को स्वच्छता के क्षेत्र में बेहतर कार्य करने पर केंद्र सरकार द्वारा सम्मानित किया गया था, लेकिन उसी मंडी जिला का सुंदरनगर उस अवार्ड पर दाग लगा रहा है. क्योंकि यहां हर तरफ गंदगी के अंबार लगे हैं और क्षेत्र में जगह-जगह लगे कूड़ेदान भी गायब हो चुके हैं. इस कारण लोग सड़क के किनारे कूड़े के ढेर लगाने को मजबूर हो गए हैं.
इस दिशा में नगर परिषद सुंदरनगर ठोस कदम उठाने में फेल साबित हुई है. सुंदरनगर के स्थानीय निवासी विनोद स्वरुप ने जिला प्रसाशन और स्थानीय नगर परिषद की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते हुए कहा कि भोजपुर, पुराना बाजार, नरेश चौक और बीएसएल नहर के किनारों के साथ अन्य कई जगहों पर गंदगी के ढेर लगे हैं. जिस पर आवारा कुत्तों सहित बेसहारा पशु मुंह मार रहे हैं. उन्होंने कहा कि जल्द ही गर्मी का मौसम आने वाला है और इस गंदगी के कारण मक्खियों सहित मच्छरों की सख्या बढ़ने का खतरा है. जिससे क्षेत्र में महामारी फैलने का खतरा अधिक है.
वहीं 22 मार्च से सुंदरनगर के राज्य स्तरीय मेले शुरू होने जा रहे हैं, लेकिन उससे पहले क्षेत्र में गंदगी से हाल-बेहाल हैं. स्थानीय लोगों का कहना है कि सरकार द्वारा सुंदरनगर शहर में कूड़े की डंम्पिंग के लिए कूड़ेदान रखे थे, लेकिन अब शहर में एक भी कूड़ादान नजर नहीं आ रहा है.
स्थानीय लोगों ने प्रसाशन से मांग की है कि जिस तरह से शहर का नाम सुंदरनगर है, उसी तरह से इसे सुंदर बनाया जाए और जल्द शहर में जगह-जगह पड़ी गंदगी को हटाया जाए. इसके साथ ही कूड़ेदान की उचित व्यवस्था की जाए. वहीं अब देखना होगा कि 22 मार्च से शुरू होने जा रहे राज्य स्तरीय नलवाड़ मेला से पहले स्थानीय प्रशासन और नगर परिषद इस तरफ ध्यान देता है या इसी तरह स्थानीय लोगों सहित मेले में आए मेहमानों को गंदगी का सामना करना पड़ेगा.
वहीं इस बारे नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी अशोक शर्मा ने कहा कि क्षेत्र को कूड़ादान मुक्त किया जा रहा है और हर रोज नप का कूड़ादान वाहन सभी वार्डों में डोर टू डोर जाकर कूड़ा इकट्ठा करता है, लेकिन बावजूद इसके लोग सड़क किनारे कूड़ा फैंक रहे हैं.