करसोग: उपमंडल में दो दिन हुई बेमौसमी बारिश और भारी ओलावृष्टि ने कृषि और बागवानी को तो नुकसान पहुंचाया है, लेकिन करसोग में रहने वाली अकेली गरीब महिला पर भी बारिश कहर बनकर टूटी है. नगर पंचायत करसोग के वार्ड नंबर दो जगातखाना में रेहड़ी फड़ी लगाने वाली कौशल्या की रसोई तेज बारिश की वजह से गिर गई है. इसके साथ दो कमरों के कच्चे मकान में भी दरारें पड़ गई हैं.
जर्जर हालत में ये मकान कभी भी गिर सकता है, जिस कारण अब कौशल्या को अनहोनी का भी अंदेशा सता रहा है. रेहड़ी फड़ी लगाकर पेट पाल रही इस महिला का कोई सहारा नहीं है. कौशल्या के पति की मौत हो चुकी है, लेकिन आगे भी कोई संतान भी नहीं है. कोरोना कर्फ्यू में कामकाज भी ठप पड़ गया है. ऐसे में इस महिला के सामने घर की मरम्मत करने के लिए पैसे का भी भारी संकट खड़ा हो गया है. प्रदेश में 1 जून से मानसून सीजन शुरू होने का अनुमान है. इस तरह अभी से कौशल्या को बरसात में मकान के गिरने का भी डर सताने लगा है. इसको देखते हुए कौशल्या देवी ने नगर पंचायत के उपाध्यक्ष बंसीलाल को इसकी सूचना दी है.
नगर पंचायत उपाध्यक्ष ने किया घर का निरीक्षण
कौशल्या देवी की सूचना पर नगर पंचायत उपाध्यक्ष ने शुक्रवार को कौशल्या के घर पहुंच कर स्थिति का जायजा लिया है और साथ ही साथ इस मामले को लेकर नगर पंचायत सचिव को भी अवगत करवा दिया है.
मदद की गुहार
नगर पंचायत के उपाध्यक्ष बंसी लाल ने बताया कि कौशल्या देवी का मकान भारी बारिश की वजह से एक साइड से गिर गया है. मकान बहुत जर्जर हालत में है, जो कभी भी गिर सकता है. कौशल्या देवी ने बताया कि बारिश की वजह से मकान गिर गया है. मेरी कोई संतान भी नहीं है और मैं बहुत गरीब हूं. उन्होंने सरकार और प्रशासन से मदद की गुहार लगाई है.
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