मंडी: हिमाचल प्रदेश में एनपीए बंद करने के फैसले पर बवाल जारी है. सुक्खू सरकार के डॉक्टरों का एनपीए बंद करने के फैसले पर पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने बड़ा बयान दिया है. उन्होंने डॉक्टरों का एनपीए बंद होने के लिए आईएएस लॉबी को जिम्मेदार ठहराया है. मंडी दौरे पहुंचे जयराम ठाकुर ने कहा हिमाचल प्रदेश के कुछ आईएएस अधिकारी खुद को सबसे ज्यादा ज्ञानी समझते हैं और अपने से उपर किसी को भी देखना पसंद नहीं करते.
एनपीए बंद करने के पीछे आईएएस लॉबी: डॉक्टरों का एनपीए बंद करने पर जयराम ठाकुर ने कहा पूर्व में हमारी सरकार में भी इन्होंने डॉक्टरों के वेतन पर सीलिंग लगा दी थी. क्योंकि डॉक्टरों का वेतन चीफ सेक्रेटरी के वेतन से भी अधिक हो गया था. चीफ सेक्रेटरी को जहां 2 लाख 25 हजार मिलते थे, वहीं डॉक्टरों का वेतन 2 लाख 24 हजार 100 रूपए कर दिया गया था. इसलिए एनपीए बंद करने के पीछे भी आईएएस लॉबी की ही साजिश है.
'17 तारीख की कैबिनेट की बैठक में एनपीए बंद करने का निर्णय लिया गया और अब इसकी नोटिफिकेशन जारी कर दी गई है, लेकिन विभाग के मंत्री को इसकी कोई जानकारी ही नहीं है. मंत्री का बयान हास्यास्पद है और सरकार की इन्हीं हरकतों की वजह से पूरे प्रदेश में तमाशा बना हुआ है.':- जयराम ठाकुर, पूर्व सीएम एवं नेता प्रतिपक्ष
डॉक्टरों को हरसंभव मदद का दिलाया भरोसा: जयराम ठाकुर ने कहा एनपीए बंद होने से सरकारी क्षेत्र की स्वास्थ्य सेवाएं बूरी तरह से प्रभावित हो जाएंगी. छुट्टी होने के बाद भी डॉक्टर तब तक अस्पताल में बैठा रहता है. जब तक मरीज वहां मौजूद रहते हैं, लेकिन एनपीए बंद होने के बाद ऐसा नहीं होगा. सरकार ने यह भी स्पष्ट नहीं किया है कि क्या डॉक्टर प्राईवेट प्रेक्टिस कर पाएंगे या नहीं. उन्होंने सरकार से अपने निर्णय पर पुर्नविचार करने का अनुरोध किया है और डॉक्टरों की मांग का समर्थन करते हुए भाजपा की तरफ से हरसंभव मदद का भरोसा दिलाया है.
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