कुल्लूः विश्व प्रसिद्ध पर्यटन नगरी मनाली का राष्ट्र स्तरीय विंटर कार्निवाल और लोक संस्कृति का एक अनूठा संगम है. 2 से 6 जनवरी तक मनाया जाने वाला मनाली का राष्ट्र स्तरीय शरदोत्सव इस बार नए स्वरूप में नजर आएगा.
इसमें सांस्कृतिक, पर्यटन और विंटर स्पोर्ट्स से संबंधित गतिविधियों के अलावा आम लोगों व पर्यटकों को स्वच्छता, पर्यावरण संरक्षण और मोटर वाहन अधिनियम के प्रति जागरूक करने पर भी विशेष बल दिया जाएगा. हर दिन के लिए एक थीम चयनित की जाएगी.
जिससे लोगों को नशे से दूर रहने, स्वच्छता बनाए रखने, बेटी बचाने और पर्यावरण संरक्षण जैसे महत्वपूर्ण विषयों के बारे में जागरूक किया जाएगा. इस बार कार्निवाल के दौरान पांच हजार पौधे लगाने की भी तैयारी वन विभाग ने की है.
वन मंत्री गोविंद सिंह ने कि शरदोत्सव के दौरान स्वच्छता पर विशेष ध्यान दिया जाएगा तथा उत्सव को पूरी तरह प्लास्टिक मुक्त बनाने पर जोर दिया जाएगा. कुल्लू-मनाली अपने प्राकृतिक सौंदर्य के लिए देश-विदेश में मशहूर है.
विश्व पर्यटन मानचित्र में मनाली घाटी ने अपनी एक अलग पहचान बनाई है. नैसर्गिक सौंदर्य से ओत-प्रोत मनाली की वादियां पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करती हैं. घाटी की हिमाच्छादित गगनचुंबी चोटियां, देवदार के हरे-भरे जंगल, कल-कल बहती ब्यास नदी और दूर-दूर तक फैली सुंदर घाटी अनायास ही देश-विदेश के पर्यटकों को अपनी ओर खींच लेती है.
मैदानों की तपती गर्मी से निजात पाने और ठंडी वादियों में समय बिताने के लिए प्रतिवर्ष लाखों पर्यटक मनाली का रुख करते हैं. यही नहीं, सर्दियों में भी चांदी सी चमकती बर्फ में अठखेलियां करने के लिए सैलानी मनाली के आसपास बड़ी संख्या में उमड़ते हैं. क्रिसमस और नए साल की पूर्व संध्या पर एकाएक मनाली पर्यटकों से पैक हो जाती है.
इसी दौरान नए वर्ष के आगमन के बाद विंटर कार्निवल का आयोजन देश-विदेश के पर्यटकों, स्थानीय व देश के विभिन्न राज्यों के लोक कलाकारों के लिए आकर्षण का केंद्र बन जाता है.