कुल्लू: अंतरराष्ट्रीय दशहरा पर्व के आयोजन को लेकर जिला प्रशासन ने प्रदेश सरकार को पत्र लिखकर गाइडलाइंस मांगी हैं. जिला प्रशासन ने उत्सव कैसे मनाया जाएगा और इसके स्वरूप को लेकर भी सरकार की मदद मांगी है. दशहरा पर्व 25 अक्तूबर से शुरू होगा, लेकिन कोरोना के चलते इसके आयोजन को लेकर अभी तैयारियां शुरू नहीं हो पाई हैं. ऐसे में अब जिला प्रशासन ने सरकार को पत्र लिखा है. हालांकि, भगवान रघुनाथ के मुख्य छड़ीबरदार महेश्वर सिंह ने दो माह पहले ही दशहरा में देव परंपराओं का निर्वहन करने के संकेत दिए हैं, लेकिन अभी दशहरा के आयोजन को लेकर कोई भी खुलकर नहीं बोल रहा है.
कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए भगवान रघुनाथ की अगुवाई में मनाए जाने वाले उत्सव में इस बार न लोगों और व्यापारियों की भीड़ नहीं लगेगी साथ ही ढालपुर में ढोल-नगाड़ों की थाप पर देवी-देवताओं के रथ दशहरा की शान नहीं बन पाएंगे.
जिला देवी-देवता कारदार संघ के अध्यक्ष जयचंद ठाकुर ने कहा कि दशहरे के लिए सरकार के जो आदेश होंगे, देव समाज उसका पालन करेगा. अभी किसी तरह की विशेष तैयारियां नहीं हैं. भगवान रघुनाथ के मुख्य छड़ीबरदार महेश्वर सिंह ने कहा कि दशहरा में रघुनाथ की रथयात्रा भी होगी और परंपराओं को भी निभाया जाएगा. दशहरा का क्या स्वरूप होगा, वह सरकार व प्रशासन तय करेगा.
कुल्लू डीसी ऋचा वर्मा ने कहा कि दशहरा बड़े स्तर पर नहीं हो सकता है. दशहरा किस स्वरूप में होना चाहिए, इसको लेकर सरकार से गाइडलाइंस मांगी गई हैं.
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