मनाली: जिला में खनन माफियाओं ने सारी हदें पार कर दी हैं. खनन माफिया को न पुलिस का डर है न कानून का. खनन माफिया ने अपने फायदे के लिये ब्यास की बहाव का रुख मोड़कर लोगों की निजी जमीन तक मोड़ दिया है.
खेत खलियान को उजड़ता देख स्थानीय महिलाओं ने मोर्चा संभाल लिया है. मंगलवार को महिलाओं ने महिली विहाल में अवैध खनन कर चोरी छिपे रेत और पत्थरों को ले जा रहे टिप्पर को रोका और वहीं खाली करवा दिया.
हालांकि खनन माफियाओं ने महिलाओं से बहस करने की कोशिश की, लेकिन महिलाओं का आगे उनकी एक नहीं चली. टिप्पर खाली करवाने वाली की स्थानीय महिला मंडल की उप अध्यक्ष नीमा देवी महासचिव चंद कला सहित मोके पर मौजूद समस्त महिलाओं का कहना है कि अवैध खनन के चलते उनके कई बीघा जमीन खराब हो गई है.
अवैध खनन के पीछे बाढ़ से बचने के लिये क्रेटवाल लगाई जाने की बड़ी-बड़ी बातें की जा रही हैं, लेकिन सवाल यह है कि पिछले साल आई बाढ़ के बाद इस से बचने के लिये समय रहते गर्मियों के मौसम के कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया. बरसात आने वाली है जिससे लगातार पानी का स्तर बढ़ता जा रहा है. उनका कहना है कि खनन से ब्यास का रुख उनके बगीचों की ओर मुड़ रहा है.
उधर, अवैध खनन रोको कमेटी के अध्यक्ष लाल चंद नेगी का कहना है कि अवैध खनन को अंजाम देने वाले लोगों की शिकायत जहां प्रशासन व पुलिस के पास की गई है, वहीं अब इस मामले को एनजीटी के समक्ष भी रखने की पूरी तैयारी कर ली गई है.
उन्होंने बताया कि मंगलवार को भी ग्रामीणों ने जब अवैध खनन को रोकने का प्रयास किया गया तो खनन को अंजाम देने वाले लोगों ने ग्रामीणों के साथ जमकर कहासुनी की. माहिली महिला मंडल की उपाध्यक्ष नीमा देवी ने बताया कि ग्रामीण किसी भी सूरत में नदी में अवैध खनन नहीं होने देंगे. जिला खनन अधिकारी सुरेश का कहना है कि अवैध रूप से खनन करने वालों के खिलाफ नियम अनुसार कारवाई अमल में लाई जा रही है.
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