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लावारिस पशु बन रहे दुर्घटना का कारण, सरकार मुहैया नहीं करवा पाई शेल्टर

किन्नौर में बेसहारा पशु सड़कों व गलियों में घूमते नजर आ रहे हैं. सड़कों पर घूम रहे आवारा पशुओं को अब तक सरकार न तो कोई शेल्टर मुहैया करवा पाई है. पशु चारे के लिए भी यहां वहां भटक रहे हैं.

लावारिस पशु बन रहे दुर्घटना का कारण, जानवरों के पास न रहने का घर और न ही खाने के लिए घास
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Published : Nov 11, 2019, 8:16 PM IST

किन्नौर: जनजातीय जिला किन्नौर में पिछले दो वर्षों से बेसहारा पशुओं की संख्या दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है. वाहनों की चपेट में आने से कई पशुओं की मौत भी हो रही है. बेसहारा पशुओं की अधिक संख्या को देखते हुए प्रदेश सरकार ने गऊशाला निर्माण के लिए कई वायदे किए थे, लेकिन अभी तक एक भी गऊशाला के निर्माण का काम शुरू नहीं हो पाया है.

बता दें कि इन दिनों बेसहारा पशु सड़कों व गलियों में घूमते नजर आ रहे हैं. सड़कों पर घूम रहे आवारा पशुओं को अब तक सरकार न तो कोई शेल्टर मुहैया करवा पाई है. पशु चारे के लिए भी यहां वहां भटक रहे हैं. दिनभर कई आवारा पशु सड़कों के किनारे लगे कूड़े के ढेर में मुंह मारते नजर आते हैं. वहीं, सड़कों पर घूम रहे ये जानवर हादसों का कारण भी बन सकते हैं.

वीडियो

पशुपालन विभाग किन्नौर के कार्यकारी उपनिदेशक डॉक्टर अजय नेगी ने कहा कि बेसहारा पशुओं के लिए जिला किन्नौर के रल्ली व सांगला में गऊशाला का निर्माण किया जा रहा है और जल्द ही पंचायती राज के सभी प्रतिनिधियों व सदस्यों को निर्देश दिए जाएंगे कि बेसहारा पशुओ की देखरेख व इनके आश्रय का इंतजाम किया जाए.

किन्नौर: जनजातीय जिला किन्नौर में पिछले दो वर्षों से बेसहारा पशुओं की संख्या दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है. वाहनों की चपेट में आने से कई पशुओं की मौत भी हो रही है. बेसहारा पशुओं की अधिक संख्या को देखते हुए प्रदेश सरकार ने गऊशाला निर्माण के लिए कई वायदे किए थे, लेकिन अभी तक एक भी गऊशाला के निर्माण का काम शुरू नहीं हो पाया है.

बता दें कि इन दिनों बेसहारा पशु सड़कों व गलियों में घूमते नजर आ रहे हैं. सड़कों पर घूम रहे आवारा पशुओं को अब तक सरकार न तो कोई शेल्टर मुहैया करवा पाई है. पशु चारे के लिए भी यहां वहां भटक रहे हैं. दिनभर कई आवारा पशु सड़कों के किनारे लगे कूड़े के ढेर में मुंह मारते नजर आते हैं. वहीं, सड़कों पर घूम रहे ये जानवर हादसों का कारण भी बन सकते हैं.

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पशुपालन विभाग किन्नौर के कार्यकारी उपनिदेशक डॉक्टर अजय नेगी ने कहा कि बेसहारा पशुओं के लिए जिला किन्नौर के रल्ली व सांगला में गऊशाला का निर्माण किया जा रहा है और जल्द ही पंचायती राज के सभी प्रतिनिधियों व सदस्यों को निर्देश दिए जाएंगे कि बेसहारा पशुओ की देखरेख व इनके आश्रय का इंतजाम किया जाए.

Intro:किन्नौर में बेसहारा पशुओ पर पशुपालन विभाग किन्नौर के कार्यकारी उपनिदेशक ने कहा,जल्द बनेंगे किन्नौर में गऊशाला,किन्नौर में सभी पंचायती राज को गऊशाला व उनकी देखरेख के दिये जायेंगे निर्देश।



जनजातीय जिला किंन्नौर में पिछले दो वर्षों से बेसहारा पशुओं की संख्या दिन प्रतिदिन बढ़ने लगी है जिसकारण सड़को पर कई पशु ठंड,व दुर्घटना के दौरान मृत भी पाए जाते है।
जिला किंन्नौर में बेसहारा पशुओ की अधिक संख्या को देखते हुए प्रदेश सरकार ने प्रदेश के अंदर गऊशाला निर्माण के लिए कई वादे किए थे लेकिन अभी तक बेसहारा पशुओ को आजतक छत नही मिला है।



Body:किन्नौर में इन दिनों बेसहारा पशु सड़को व गलियों में घूमते नज़र आ रहे है उनके पास न तो रहने के लिए आश्रय है न ही खाने के लिए घास किन्नौर में बढ़ते ठंड से इन पशुओ को रहने के लिए गऊशाला नही होने से इन्हें रहने के लिए सड़क या लोगो के घरों की गलियों का सहारा लेना पड़ रहा है।



Conclusion:इस बारे में पशुपालन विभाग किन्नौर के कार्यकारी उपनिदेशक डाक्टर अजय नेगी ने कहा कि बेसहारा पशुओ के लिए जिला किंन्नौर के रल्ली,व सांगला में गऊशाला का निर्माण किया जा रहा है और जल्द ही पंचायती राज के सभी प्रतिनिधियों व सदस्यों को निर्देश दिए जाएंगे कि बेसहारा पशुओ की देखरेख व इनके आश्रय का इंतज़ाम करे जैसे ही गऊशाला बन जाए तो इन पशुओ को गऊशाला में भेज दे जहाँ इन पशुओ का ख्याल रखा जाएगा।




बाईट-----डाक्टर अजय नेगी (कार्यकारी उपनिदेशक पशुपालन विभाग किंन्नौर)
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