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हमीरपुर अस्पताल को मिली 2 कार्डियो टोकोग्राफ मशीनें, गर्भवती महिलाओं को होगा ये फायदा

मेडिकल कॉलेज हमीरपुर में स्त्री रोग विभाग में दो अत्याधुनिक कार्डियो टोकोग्राफ मशीनें स्थापित की गई हैं. चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अनिल वर्मा ने बताया कि बिना तार वाली ये मशीनें गर्भवती महिलाओं के गर्भ में पल रहे शिशु के हृदय की गति का पता लगाती हैं.

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Published : Sep 10, 2020, 8:48 PM IST

हमीरपुर: मेडिकल कॉलेज हमीरपुर में स्त्री रोग विभाग में दो अत्याधुनिक कार्डियो टोकोग्राफ मशीनें स्थापित की गई हैं. चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अनिल वर्मा ने बताया कि बिना तार वाली ये मशीनें गर्भवती महिलाओं के गर्भ में पल रहे शिशु के हृदय की गति का पता लगाती हैं.

कोरोना संकट के बावजूद प्रदेश सरकार के विशेष प्रयासों के कारण इन मशीनों का ब्रिटेन से आयात संभव हो पाया है. हिमाचल प्रदेश में पहली बार इस तरह की अत्याधुनिक मशीनें लाई गई हैं और ये अधिक जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं के लिए वरदान साबित होंगी.

डॉ. अनिल वर्मा ने बताया कि इस समय टांडा और शिमला के बाद हमीरपुर के मेडिकल कालेज अस्पताल में सबसे ज्यादा प्रसव करवाए जा रहे हैं. यहां चिकित्सक और स्वास्थ्य कर्मी बहुत ही सराहनीय सेवाएं प्रदान कर रहे हैं. हमीरपुर के अलावा कांगड़ा, मंडी, बिलासपुर और ऊना जिले के क्षेत्रों से भी गर्भवती महिलाएं यहां प्रसव के लिए आ रही हैं.

चिकित्सा अधीक्षक ने बताया कि प्रदेश सरकार आने वाले समय में मेडिकल कालेज अस्पताल हमीरपुर में मातृ-शिशु अस्पताल खोलने पर भी विचार कर रही है, ताकि यहां गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं को बेहतर चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध हो सके और स्त्री रोग विभाग की क्षमता बढ़ सके.

गुरुवार को महाविद्यालय के प्रधानाचार्य डॉ. अनिल चौहान, मेडिकल कॉलेज अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अनिल वर्मा, स्त्री रोग विभाग के अध्यक्ष डॉ. अनुराग शर्मा, सहायक प्रोफैसर डॉ. मोनिका ठाकुर और अन्य चिकित्सकों की उपस्थिति में इन अत्याधुनिक कार्डियो टोकोग्राफ मशीनों को स्थापित किया.

पढ़ें: इस तरह हर पंचायत में खुल सकती है पब्लिक लाइब्रेरी, SDM सलूणी ने पेश की मिसाल

हमीरपुर: मेडिकल कॉलेज हमीरपुर में स्त्री रोग विभाग में दो अत्याधुनिक कार्डियो टोकोग्राफ मशीनें स्थापित की गई हैं. चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अनिल वर्मा ने बताया कि बिना तार वाली ये मशीनें गर्भवती महिलाओं के गर्भ में पल रहे शिशु के हृदय की गति का पता लगाती हैं.

कोरोना संकट के बावजूद प्रदेश सरकार के विशेष प्रयासों के कारण इन मशीनों का ब्रिटेन से आयात संभव हो पाया है. हिमाचल प्रदेश में पहली बार इस तरह की अत्याधुनिक मशीनें लाई गई हैं और ये अधिक जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं के लिए वरदान साबित होंगी.

डॉ. अनिल वर्मा ने बताया कि इस समय टांडा और शिमला के बाद हमीरपुर के मेडिकल कालेज अस्पताल में सबसे ज्यादा प्रसव करवाए जा रहे हैं. यहां चिकित्सक और स्वास्थ्य कर्मी बहुत ही सराहनीय सेवाएं प्रदान कर रहे हैं. हमीरपुर के अलावा कांगड़ा, मंडी, बिलासपुर और ऊना जिले के क्षेत्रों से भी गर्भवती महिलाएं यहां प्रसव के लिए आ रही हैं.

चिकित्सा अधीक्षक ने बताया कि प्रदेश सरकार आने वाले समय में मेडिकल कालेज अस्पताल हमीरपुर में मातृ-शिशु अस्पताल खोलने पर भी विचार कर रही है, ताकि यहां गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं को बेहतर चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध हो सके और स्त्री रोग विभाग की क्षमता बढ़ सके.

गुरुवार को महाविद्यालय के प्रधानाचार्य डॉ. अनिल चौहान, मेडिकल कॉलेज अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अनिल वर्मा, स्त्री रोग विभाग के अध्यक्ष डॉ. अनुराग शर्मा, सहायक प्रोफैसर डॉ. मोनिका ठाकुर और अन्य चिकित्सकों की उपस्थिति में इन अत्याधुनिक कार्डियो टोकोग्राफ मशीनों को स्थापित किया.

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