भरमौर: केंद्र सरकार द्वारा पारित कृषि बिलों के विरोध में उतरे किसानों के समर्थन में सीटू संबंधित प्रोजेक्ट वर्कर्स यूनियनों ने होली में शुक्रवार को प्रदर्शन किया. इस दौरान यूनियनों के वर्कर्स ने कृषि बिलों को निरस्त करने की मांग प्रमुखता के साथ उठाई.
यूनियन वर्कर्स ने होली बाजार में विरोध रैली निकाल कर केंद्र सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की, जिसके बाद सीटू जिला महासचिव की अगुवाई में यूनियन के पदाधिकारियों ने संयुक्त रूप से एक ज्ञापन नायब तहसीलदार होली के माध्यम से महामहिम राष्ट्रपति को भी भेजा.
जानकारी के अनुसार शुक्रवार को सीटू संबंधित बजोली होली और कुठेहड़ प्रोजेक्ट वर्कर यूनियनों ने उपतहसील मुख्यालय होली में कृषि बिलों के विरोध में प्रदर्शन किया. इस दौरान मजदूरों ने होली बाजार में रैली भी निकाली. यूनियनों की ओर से कृषि बिलों को निरस्त करने की मांग को लेकर सौंपे ज्ञापन में कहा है कि आवश्यक वस्तु अध्याधेश 2020 खाद्य वस्तुओं की जमाखोरी और कालाबाजारी को बढ़ावा और वैधता प्रदान करता है.
इस विधेयक के जरिए दलहन, तिलहन, आलू, प्याज को मुक्त कर बाजार के हवाले कर दिया है. इसके चलते मुनाफाखोर अथवा कॉरपोरेट घराने इन वस्तुओं को असीमित मात्रा में भंडारण करके बाजार में इनकी झूठी कमी दर्शा कर उंचे दामों पर बेच सकते है. उन्होंने कहा कि केंद्र ने जल्दबाजी करते हुए किसान और इससे संबंधित संगठनों से चर्चा किए बिना आनन फानन में पारित कर दिया और विपक्षी दलों व आपने सहयोगियों की भी सहमति नहीं ली. इसलिए केंद्र की ओर से पारित बिल किसानों के हित में नहीं है.
उधर, सीटू जिला महासचिव सुदेश ठाकुर ने कहा कि देश व्यापी आंदोलन के तहत शुक्रवार को बजोली होली और कुठेहड़ प्रोजेक्ट वर्कर यूनियनों ने किसानों के सयर्थन में विरोध प्रदर्शन किया है और एक ज्ञापन महामहिम राष्ट्रपति को प्रेषित किया.
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