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रोक के बावजूद पॉलिथीन के उपयोग पर प्रशासन सख्त, 9 दुकानदारों पर लगा 20 हजार रुपये का जुर्माना

हिमाचल में पॉलिथीन पर लगे प्रतिबंध के बाद इसके उपयोग करने वाले के खिलाफ जिला प्रशासन ने सख्ती से कार्रवाई की है. एसडीएम नीरज चांदला ने गुरुवार को खाद्य निरीक्षक के साथ सब्जीमंडी में छापेमारी की है.

प्लास्टिक के उपयोग पर प्रशासन सख्त
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Published : Apr 18, 2019, 10:11 PM IST

शिमला: हिमाचल में पॉलिथीन पर लगे प्रतिबंध के बाद इसके उपयोग करने वाले के खिलाफ जिला प्रशासन ने सख्ती से कार्रवाई की है. एसडीएम नीरज चांदला ने गुरुवार को खाद्य निरीक्षक के साथ सब्जीमंडी में छापेमारी की है. इस दौरान जिला प्रशासन ने पाया कि प्रदेश में पॉलिथीन बैन होने के बावजूद भी सब्जियां इसी में पैक कर के लाई जा रही हैं.

9 shopkeepers fined
पॉलिथीन के उपयोग पर प्रशासन सख्त

एसडीएम ने पॉलिथीन के बैग उपयोग करने पर 9 दुकानदारों का चालान काटा और 20 हजार रुपये का जुर्माना लगाया. एसडीएम ने बताया कि 12 से 20 अप्रैल तक पॉलिथीन हटाओ अभियान के तहत यह कार्रवाई की गई है और जो दुकानदार पॉलिथीन के बैग उपयोग कर रहे थे, उनका चालान काटा गया है.

9 shopkeepers fined
पॉलिथीन के उपयोग पर प्रशासन सख्त

शिमला: हिमाचल में पॉलिथीन पर लगे प्रतिबंध के बाद इसके उपयोग करने वाले के खिलाफ जिला प्रशासन ने सख्ती से कार्रवाई की है. एसडीएम नीरज चांदला ने गुरुवार को खाद्य निरीक्षक के साथ सब्जीमंडी में छापेमारी की है. इस दौरान जिला प्रशासन ने पाया कि प्रदेश में पॉलिथीन बैन होने के बावजूद भी सब्जियां इसी में पैक कर के लाई जा रही हैं.

9 shopkeepers fined
पॉलिथीन के उपयोग पर प्रशासन सख्त

एसडीएम ने पॉलिथीन के बैग उपयोग करने पर 9 दुकानदारों का चालान काटा और 20 हजार रुपये का जुर्माना लगाया. एसडीएम ने बताया कि 12 से 20 अप्रैल तक पॉलिथीन हटाओ अभियान के तहत यह कार्रवाई की गई है और जो दुकानदार पॉलिथीन के बैग उपयोग कर रहे थे, उनका चालान काटा गया है.

9 shopkeepers fined
पॉलिथीन के उपयोग पर प्रशासन सख्त
डीडब्ल्यू नेगी को मिली हाई कोर्ट से मिली जमानत।
17 महीने के अंतराल के बाद मिली जमानत।

शिमला के पूर्व एसपी डीडब्ल्यू नेगी को 17 महीने की लम्बी हिरासत के बाद हाईकोर्ट से जमानत मिल गई है। आई पी एस अधिकारी जहूर जैदी, डी डब्ल्यू नेगी व सात पुलिस कर्मियों के खिलाफ शिमला के बहुचर्चित गुड़ियाकांड के कथित आरोपी सूरज को पुलिस हिरासत में जान से मारने का आरोप है।
न्यायाधीश सुरेश्वर ठाकुर ने नेगी द्वारा दायर जमानत याचिका  की सुनवाई के पश्चात तीन लाख रुपये के निजी  व उतनी ही राशि के दो जमानती द्वारा मुचलके पेश करने की स्थिति में नेगी को रिहा करने के आदेश पारित कर दिए हैं। पूर्व एसपी फिलहाल शिमला की कंडा जेल में बंद है। गौरतलब है कि ठियोग पुलिस लॉकअप में गुडिय़ा के साथ दुष्कर्म व हत्या के कथित आरोपी सूरज की पुलिस हिरासत में हुई मौत के मामले में सीबीआई ने पूर्व आईजी जहूर जैदी समेत आठ पुलिस कर्मचारियों को इनसे पहले 29 अगस्त 2017 को गिरफ्तार किया था। जहूर जैदी को गत 5 अप्रैल को सर्वोच्च न्यायालय से जमानत मिल गयी है। अब जहूर जैदी को छोड़कर सीबीआई की ओर से गिरफ्तार सात पुलिस कर्मी न्यायिक हिरासत में हैं। पुलिस लॉकअप में हुई मौत मामले में ठियोग के पूर्व डीएसपी मनोज जोशी, एसआई राजेंद्र सिंह, एएसआई दीपचंद, एचएससी सूरत सिंह, मोहन लाल, रफीक अली, रंजीत सरेटा अभी तक सलाखों के पीछे हैं। सीबीआई ने इसी मामले में 16 नवंबर 2017 को शिमला के पूर्व एसपी शिमला डीडब्ल्यू नेगी को गिरफ्तार किया था।
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