ऊना: विश्व हृदय दिवस हर वर्ष 29 सितंबर को मनाया जाता है ताकि उनकी रोकथाम और उनके वैश्विक प्रभाव सहित हृदय रोगों के बारे में लोगों में जागरुकता बढ़े. इस बार की थीम ' विश्व स्तर पर सीवीडी के बारे में जागरुकता, रोकथाम और प्रबंधन में सुधार के लिए डिजिटल स्वास्थ्य की शक्ति का उपयोग करना' है. जिसका उद्देश्य दुनिया भर में जागरूकता बढ़ाना, हृदय रोग को कम करना है.
विश्व हृदय दिवस के मौके पर ऊना जिला मुख्यालय के आईएसबीटी में रोटरी क्लब ऑफ ग्रेट की ओर से मधुमेह की जांच के लिए विशेष कैंप का आयोजन किया गया. मेडिकल कैंप का शुभारंभ जिलाधीश राघव शर्मा द्वारा किया गया. इस दौरान आईएसबीटी में बसों के चालकों-परिचालकों के साथ-साथ टैक्सी और ऑटो रिक्शा चालकों की भी डायबिटीज की जांच की गई है. वहीं, जिन लोगों में डायबिटीज के लक्षण पाए गए, उन्हें फौरन अपने चिकित्सकों से संपर्क करते हुए आगामी उपचार करने की सलाह दी गई है. इस मौके पर डीसी राघव शर्मा ने प्रत्येक व्यक्ति को अपनी दिनचर्या में योग और व्यायाम को शामिल करते हुए डायबिटीज और हृदय रोग को खुद से दूर रखने का आह्वान किया.
वन नेशन, वन डे एंड वन मिलियन टेस्ट की मुहिम के तहत रोटरी क्लब ऑफ ऊना ग्रेटर के पदाधिकारियों द्वारा जिला मुख्यालय के आईएसबीटी में मेडिकल जांच शिविर का आयोजन किया गया. कार्यक्रम में बतौर मुख्यातिथि पहुंचे डीसी राघव शर्मा ने बताया कि रिसर्च सोसायटी फॉर डायबिटीज इन इंडिया द्वारा आज एक विशेष अभियान चलाया गया है. इसी के तहत रोटरी क्लब ऑफ ऊना ग्रेटर द्वारा भी विशेष कैंपिंग की गई है. डायबिटीज हृदय रोग का एक मुख्य कारण है. ऐसे भी डायबिटिक या प्री-डायबिटिक लोगों की जांच करके उन्हें आगामी उपचार की सलाह प्रदान की जा रही है.
उन्होंने कहा कि डायबिटीज की टेस्टिंग हर व्यक्ति को प्रत्येक छह महीने में एक बार करवा लेनी चाहिए. जिससे उन्हें अपने शरीर में ग्लूकोज और डायबिटीज का स्टेटस पता चलता रहे. उन्होंने कहा कि देशभर में फिट इंडिया मुहिम भी चल रही है. ऐसे में हर व्यक्ति को वॉक, योग या व्यायाम को अपनी दिनचर्या में अनिवार्य रूप से शामिल करना चाहिए, इन्हीं के दम पर व्यक्ति डायबिटीज और हृदय रोग से बचा रह सकता है.
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