शिमला: जिला के दीनदयाल अस्पताल को प्रदेश सरकार द्वारा सोलन, शिमला, किन्नौर और सिरमौर के लिए कोविड-19 का अस्पताल बनाने पर शिमला ग्रामीण विधायक विक्रमादित्य सिंह ने अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की है.
शिमला ग्रामीण विधायक विक्रमादित्य सिंह ने राज्य सरकार द्वारा लिए गए इस फैसले को गलत करार दिया है, क्योंकि वो एक जोनल अस्पताल है. ऐसे में उन्होंने सरकार से इस निर्णय को वापस लेने की मांग की है.
शिमला ग्रामीण विधायक विक्रमादित्य सिंह ने आरोप लगाया है कि सरकार ने बिना सुविधाओं के रिपन अस्पताल पर चार जिलों का बोझ डाल दिया है. जबकि पहले से ही वो दो जिलों का कोविड-19 अस्पताल था. उन्होंने कहा कि उक्त जोनल अस्तपाल को शिमला, सिरमौर, किन्नौर और सोलन जिला कोविड-19 का अस्पताल बना दिया गया है, लेकिन यहां मूलभूत तक सुविधाएं नहीं हैं.
विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि नाहन में बने मेडिकल कॉलेज और सोलन में बने प्राइवेट मेडिकल कॉलेज को कोविड-19 का सेंटर बनाया जा सकता था, लेकिन सरकार ने जोनल अस्पताल पर बोझ डाल दिया है. उन्होंने कहा कि दीनदयाल अस्पताल में मरीजों के लिए वेंटिलेटर की व्यवस्था भी नहीं हैं और स्टाफ की कमी है.
शिमला ग्रामीण विधायक ने कहा कि कोरोना योद्धाओं को कोविड-19 से लड़ने के लिए आगे कर दिया है, लेकिन उनको हथियार नहीं दिए हैं. उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा लिया गया ये फैसला तर्क संगत नहीं है.
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