शिमला: मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर का ड्रीम प्रोजेक्ट अब धरातल पर उतरेगा. मंडी में ग्रीनफील्ड हवाई अड्डे को विकसित (Greenfield airport in Mandi) करने के लिए दिल्ली में संयुक्त उपक्रम समझौते पर हस्ताक्षर हुए हैं. सोमवार को नई दिल्ली में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर और केन्द्रीय नागरिक विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य एम. सिंधिया की उपस्थिति में भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (ए.ए.आई) तथा प्रदेश सरकार के मध्य संयुक्त उपक्रम समझौते पर हस्ताक्षर किए गए.
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा कि इस हवाई अड्डे से प्रदेश में हवाई यातायात (Agreement signed for Greenfield airport Mandi) की सुविधा बढ़ेगी. साथ ही पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा और स्थानीय युवाओं को भी रोजगार के अवसर (MoU Sign Greenfield Airport Project) प्राप्त होंगे. यह हवाई अड्डा वाईड बॉडिड विमानों के उतरने के लिए उपयुक्त होगा, जिसमें अन्तरराष्ट्रीय उड़ानें भी शामिल हैं.
मण्डी जिले में ग्रीनफील्ड हवाई अड्डे में 3150 मीटर का रन-वे विकसित किया जाएगा तथा इसके लिए 2840 बीघा भूमि चिन्हित की गई है. भारतीय हवाई अड्डा प्राधिकरण ने इसके लिए ऑबस्टेकल लिमिटेशन सरफेस (ओ.एल.एस.) तथा लीडार (लाइट डिटेक्शन एंड रेजिंग) सर्वेक्षण भी करवाए हैं. जयराम ठाकुर ने कहा कि ओएलएस और लीडार सर्वेक्षण रिपोर्ट के अनुसार, मण्डी में हवाई अड्डा रात में लैंडिंग और वर्षभर संचालन के साथ-साथ एबी-320 प्रकार के विमानों के संचालन के लिए व्यवहार्य और उपयुक्त है.
मुख्यमंत्री ने एटीआर 42-600 को शिमला हवाई अड्डे पर उतारने (development of airport in Mandi) और उड़ान-2 के तहत शिमला-कुल्लू-धर्मशाला के लिए उड़ान संचालन को प्राथमिकता क्षेत्र रूट बनाने का आग्रह किया. मुख्यमंत्री ने उड़ान-2 के अन्तर्गत चंडीगढ़-धर्मशाला रूट को चम्बा तक और शिमला-रामपुर रूट का विस्तार किन्नौर तक करने का आग्रह किया. वहीं, केंद्रीय मंत्री ने राज्य को हर संभव सहायता प्रदान करने का आश्वासन दिया. इस दौरान मुख्य सचिव राम सुभग सिंह ने इस अवसर पर अपने बहुमूल्य सुझाव दिए. ए.ए.आई. के अध्यक्ष, संजीव कुमार, सचिव, नागरिक उड्डयन, राजीव बंसल, प्रधान सचिव पर्यटन एवं नागरिक उड्डयन देवेश कुमार, एएआई और राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारी इस अवसर पर उपस्थित थे.
ये भी पढ़ें: EXCLUSIVE: हिमाचल में यूनिफॉर्म सिविल कोड पर CM जयराम ठाकुर ने बड़ी बात कह दी