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शिमला डीसी अमित कश्यप ने नवरात्रों को लेकर SDM के साथ की बैठक, दिए ये निर्देश

नवरात्रों के दौरान जिला के विभिन्न धार्मिक स्थानों एवं श्रद्धालुओं को विशेष मानक संचालनों एवं दिशा-निर्देशों की अनुपालना सुनिश्चित करने के डीसी शिमला ने निर्देश दिए हैं. जिसको लेकर उपायुक्त शिमला अमित कश्यप ने मंगलवार को एसडीएम के साथ बैठक की.

DC Shimla Amit Kashyap held a meeting with SDM regarding Navratri
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Published : Oct 13, 2020, 8:24 PM IST

Updated : Oct 13, 2020, 8:29 PM IST

शिमलाः आयुक्त मंदिर एवं उपायुक्त शिमला अमित कश्यप ने नवरात्रों को लेकर मंगलवार को एसडीएम के साथ बैठक की. कोरोना संक्रमण के चलते नवरात्रों के दौरान जिला के विभिन्न धार्मिक स्थानों एवं श्रद्धालुओं को विशेष मानक संचालनों एवं दिशा-निर्देशों की अनुपालना सुनिश्चित करने के डीसी शिमला ने निर्देश दिए हैं.

डीसी ने नवरात्रों के दौरान सामाजिक दूरी बनाए रखने, मास्क का उपयोग करने और निरंतर हाथों को धोने व सेनिटाइज करने की अनिवार्यता का धार्मिक स्थलों में सख्ती से पालन करने को कहा. उन्होंने इस बारे में विभिन्न मंदिर कमेटियों से परिसर में स्कैनर नल और साबुन के लिए फूट पैडल हैंड वॉश की व्यवस्था करने के निर्देश दिए.

मंदिर में जाने के आरोग्य सेतु ऐप डाउनलोड करना जरूरी

डीसी ने बताया कि मंदिर में आने वाले सभी श्रद्धालुओं को आरोग्य सेतु ऐप डाउनलोड करना अनिवार्य होगा. मंदिरों के प्रवेश द्वार पर श्रद्धालुओं के लिए थर्मल स्कैनिंग व्यवस्था की जानी आवश्यक है. किसी भी व्यक्ति को इस दौरान बुखार आने पर मंदिर परिसर में बनाए गए आइसोलेशन रूम में रखा जाएगा, जिसके बाद उनकी कोविड जांच की जाएगी.

वीडियो रिपोर्ट

कोविड पॉजिटिव पाए जाने पर श्रद्धालु को क्वारंटाइन सेंटर भेजा जाएगा. उन्होंने 10 वर्ष से कम आयु के बच्चों, वृद्धों, गर्भवती महिलाओं व बीमारियों से ग्रस्त श्रद्धालुओं को मंदिर आने से परहेज रखने की अपील की.

डीसी ने कहा कि श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए ऑनलाइन आरती व्यवस्था की जाएगी. उन्होंने कहा कि कोई बुजुर्ग यदि मंदिर आना चाहते हैं तो सुबह जल्दी व शाम को देरी से आएं, ताकि भीड़ के संक्रमण से बचा जा सके. मंदिर संचालक सुबह-शाम के अलावा दिन में दो अन्य बार मंदिरों की सेनिटाइजेशन करना सुनिश्चित करें.

डीसी अमित कश्यप ने कहा कि जाखू, तारा देवी, संकटमोचन व कालीबाड़ी मंदिर के पास लगने वाली सभी दुकानें इस दौरान बंद रहेंगी. मंदिर परिसर और इसके बाहर श्रद्धालुओं के लिए उचित दूरी बनाएं रखने के लिए गोल सर्कल की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए.

मंदिर में ये रहेगा वर्जित

मंदिर में किसी प्रकार का प्रसाद व चुन्नी चढ़ाना या लेना, मूर्तियों को छूना, टीका लगाना, हवन, मुंडन कन्या पूजन आदि पर रोक रहेगी. श्रद्धालुओं के मंदिर में प्रवेश व निकासी के लिए मंदिर प्रशासन की ओर से विशेष व्यवस्था की जाएगी. विभिन्न मंदिर कमेटियां श्रद्धालुओं के जूते आदि खोलने और बिना छुए उनकी उचित व्यवस्था के लिए पूर्व में ही प्रबंध सुनिश्चित करें.

उपायुक्त अमित कश्यप ने कहा कि मंदिरों में रखने वाले दान पात्र सीसीटीवी कैमरे की निगरानी में रखे जाएं, जो कि विशेष मानक संचालन नियमों के तहत तीन दिन बाद खोले जाएंगे, जिसमें नकदी की गिनती व बंडलों की पैकिंग में विशेष सेनिटाइजेशन व्यवस्था के तहत की जानी आवश्यक होगी. उन्होंने संचालकों से अतिरिक्त दान पात्रों की व्यवस्था करने के निर्देश दिए, ताकि इसमें किसी प्रकार की बाधा उत्पन्न न हो.

डीसी ने जिला के समस्त उपमंडलाधिकारियों और मंदिर न्यासियों को मंदिर के आसपास कोविड संक्रमण से बचाव के प्रचार-प्रसार की दृष्टि से होर्डिंग्स लगाने, पम्पलेट बांटने और अन्य जन सूचनाओं के माध्यम से इस महामारी से बचने के उपायों के प्रति जानकारी उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए.

उन्होंने बताया कि नवरात्रों के दौरान मंदिर परिसर पर ड्यूटी पर तैनात पुलिस, हिमाचल पथ परिवहन निगम और अन्य कर्मचारियों के खाने-पीने की व्यवस्था मंदिर कमेटी की ओर से की जाएगी. उन्होंने बताया कि इस दौरान मंदिरों को बंद करने की अवधि आधा से एक घंटे तक बढ़ाई जाएगी, ताकि किसी प्रकार की भीड़-भाड़ से श्रद्धालुओं को बचाया जा सके.

शिमलाः आयुक्त मंदिर एवं उपायुक्त शिमला अमित कश्यप ने नवरात्रों को लेकर मंगलवार को एसडीएम के साथ बैठक की. कोरोना संक्रमण के चलते नवरात्रों के दौरान जिला के विभिन्न धार्मिक स्थानों एवं श्रद्धालुओं को विशेष मानक संचालनों एवं दिशा-निर्देशों की अनुपालना सुनिश्चित करने के डीसी शिमला ने निर्देश दिए हैं.

डीसी ने नवरात्रों के दौरान सामाजिक दूरी बनाए रखने, मास्क का उपयोग करने और निरंतर हाथों को धोने व सेनिटाइज करने की अनिवार्यता का धार्मिक स्थलों में सख्ती से पालन करने को कहा. उन्होंने इस बारे में विभिन्न मंदिर कमेटियों से परिसर में स्कैनर नल और साबुन के लिए फूट पैडल हैंड वॉश की व्यवस्था करने के निर्देश दिए.

मंदिर में जाने के आरोग्य सेतु ऐप डाउनलोड करना जरूरी

डीसी ने बताया कि मंदिर में आने वाले सभी श्रद्धालुओं को आरोग्य सेतु ऐप डाउनलोड करना अनिवार्य होगा. मंदिरों के प्रवेश द्वार पर श्रद्धालुओं के लिए थर्मल स्कैनिंग व्यवस्था की जानी आवश्यक है. किसी भी व्यक्ति को इस दौरान बुखार आने पर मंदिर परिसर में बनाए गए आइसोलेशन रूम में रखा जाएगा, जिसके बाद उनकी कोविड जांच की जाएगी.

वीडियो रिपोर्ट

कोविड पॉजिटिव पाए जाने पर श्रद्धालु को क्वारंटाइन सेंटर भेजा जाएगा. उन्होंने 10 वर्ष से कम आयु के बच्चों, वृद्धों, गर्भवती महिलाओं व बीमारियों से ग्रस्त श्रद्धालुओं को मंदिर आने से परहेज रखने की अपील की.

डीसी ने कहा कि श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए ऑनलाइन आरती व्यवस्था की जाएगी. उन्होंने कहा कि कोई बुजुर्ग यदि मंदिर आना चाहते हैं तो सुबह जल्दी व शाम को देरी से आएं, ताकि भीड़ के संक्रमण से बचा जा सके. मंदिर संचालक सुबह-शाम के अलावा दिन में दो अन्य बार मंदिरों की सेनिटाइजेशन करना सुनिश्चित करें.

डीसी अमित कश्यप ने कहा कि जाखू, तारा देवी, संकटमोचन व कालीबाड़ी मंदिर के पास लगने वाली सभी दुकानें इस दौरान बंद रहेंगी. मंदिर परिसर और इसके बाहर श्रद्धालुओं के लिए उचित दूरी बनाएं रखने के लिए गोल सर्कल की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए.

मंदिर में ये रहेगा वर्जित

मंदिर में किसी प्रकार का प्रसाद व चुन्नी चढ़ाना या लेना, मूर्तियों को छूना, टीका लगाना, हवन, मुंडन कन्या पूजन आदि पर रोक रहेगी. श्रद्धालुओं के मंदिर में प्रवेश व निकासी के लिए मंदिर प्रशासन की ओर से विशेष व्यवस्था की जाएगी. विभिन्न मंदिर कमेटियां श्रद्धालुओं के जूते आदि खोलने और बिना छुए उनकी उचित व्यवस्था के लिए पूर्व में ही प्रबंध सुनिश्चित करें.

उपायुक्त अमित कश्यप ने कहा कि मंदिरों में रखने वाले दान पात्र सीसीटीवी कैमरे की निगरानी में रखे जाएं, जो कि विशेष मानक संचालन नियमों के तहत तीन दिन बाद खोले जाएंगे, जिसमें नकदी की गिनती व बंडलों की पैकिंग में विशेष सेनिटाइजेशन व्यवस्था के तहत की जानी आवश्यक होगी. उन्होंने संचालकों से अतिरिक्त दान पात्रों की व्यवस्था करने के निर्देश दिए, ताकि इसमें किसी प्रकार की बाधा उत्पन्न न हो.

डीसी ने जिला के समस्त उपमंडलाधिकारियों और मंदिर न्यासियों को मंदिर के आसपास कोविड संक्रमण से बचाव के प्रचार-प्रसार की दृष्टि से होर्डिंग्स लगाने, पम्पलेट बांटने और अन्य जन सूचनाओं के माध्यम से इस महामारी से बचने के उपायों के प्रति जानकारी उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए.

उन्होंने बताया कि नवरात्रों के दौरान मंदिर परिसर पर ड्यूटी पर तैनात पुलिस, हिमाचल पथ परिवहन निगम और अन्य कर्मचारियों के खाने-पीने की व्यवस्था मंदिर कमेटी की ओर से की जाएगी. उन्होंने बताया कि इस दौरान मंदिरों को बंद करने की अवधि आधा से एक घंटे तक बढ़ाई जाएगी, ताकि किसी प्रकार की भीड़-भाड़ से श्रद्धालुओं को बचाया जा सके.

Last Updated : Oct 13, 2020, 8:29 PM IST
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