मंडी: उपायुक्त ऋग्वेद ठाकुर की अध्यक्षता में 'बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ' योजना के तहत गठित जिला टास्क फोर्स की बैठक का आयोजन किया गया है. इसी बीच डीसी ऋग्वेद ठाकुर ने बताया कि इस योजना के माध्यम से समाज में बेटी-बेटे में भेदभाव की मानसिकता में सकारात्मक बदलाव लाने में लोगों का सहयोग भी मिला है और 'बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ' योजना न केवल कन्या भ्रूण हत्या को रोकने के लिए, बल्कि बेटियों की सुरक्षा, शिक्षा और सर्वांगीण विकास को समर्पित है.
डीसी ने कहा कि प्रतिभाशाली बालिकाओं के उत्थान के लिए कन्या वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला मंडी में ‘प्रज्ञा’ (प्रतिभाशाली बालिकाओं के लिए ज्ञानवर्धक कक्षाएं) पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया गया है, जिसके तहत 10वीं में 75 प्रतिशत से अधिक अंक प्राप्त करने वाली मेधावी छात्राओं को प्रशासन द्वारा जेईई और एनईईटी की निशुल्क कोचिंग प्रदान की जा रही है. वहीं, इस प्रोजेक्ट के सार्थक परिणाम रहे, तो इसे जिला के अन्य स्कूलों में भी चलाया जाएगा.
उपायुक्त ऋग्वेद ठाकुर ने कहा कि प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना के तहत जिला में 22 हजार 866 गर्भवती व धात्री महिलाएं पंजीकृत हुई हैं, जिन्हें वित्तिय सहायता के तौर पर लगभग 10 करोड़ की राशि वितरित की जा चुकी है. उन्होंने कहा कि आईसीडीएस के अधिकारियों को निर्देश दिए गए है कि वो शिक्षा विभाग के साथ समन्वय स्थापित करके 12वीं कक्षा में उतीर्ण करने वाली छात्राओं को उच्च शिक्षा के लिए शत-प्रतिशत एडमिशन लेने पर बल दें.
बैठक में जिला कार्यक्रम अधिकारी, महिला एवं बाल विकास विभाग, बलबीर तेगटा ने जिला में इस अभियान के तहत चलाई जा रही विभिन्न गतिविधियों की विस्तृत जानकारी डीसी के समक्ष रखी. मीटिंग में जिला परिषद अध्यक्ष सरला ठाकुर, अतिरिक्त उपायुक्त जतिन लाल, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक आशीष शर्मा, जिला स्वास्थ्य अधिकारी दिनेश ठाकुर, परियोजना अधिकारी डीआरडीए नवीन शर्मा मौजूद रहे.
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