मंडी:14 जुलाई को दिल्ली से कारगिल के लिए रवाना हुई कारगिल विजय ज्योति शुक्रवार को छोटी काशी (मंडी) शहर पहुंची. मंडी शहर के ऐतिहासिक सेरी मंच पर सीएम जयराम ठाकुर ने विजय ज्योति का स्वागत किया. उनके साथ अन्य मंत्री, विधायक व प्रशासनिक अधिकारी भी मौजूद रहे. सीएम ने कारगिल विजय ज्योति को अपने हाथ में थामा और दोबारा से उसे सेना के जवानों के हवाले कर दिया.
इस मौके पर सीएम जयराम ठाकुर ने कहा कि कारगिल युद्ध सेना के अदम्य साहस की याद दिलाता है. किस तरह से सेना के वीरों ने अपने प्राणों की आहूति देकर इस युद्ध को जीता था. उन्होंने कहा कि इस युद्ध के दौरान देश के चार वीरों को सेना के सर्वोच्च सम्मान परमवीर चक्र से सम्मानित किया गया था, जिसमें से 2 परमवीर चक्र हिमाचल के वीरों को मिले थे जो अपने आप में गर्व की बात है. उन्होंने कहा कि देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने दिल्ली से कारगिल ज्योति को 14 जुलाई को रवाना किया था और आज इसका मंडी में स्वागत करके एक अलग अनुभूति हो रही है. उन्होंने कहा कि यह समय सेना के वीरों को याद करके उन्हें नमन करने का है.
कारगिल युद्ध के दौरान हिमाचल प्रदेश के 52 रणबांकुरों ने अपने प्राणों की आहूति दी थी जिसमें मंडी जिला के 12 जवान शामिल थे. कैप्टन विक्रम बत्रा और हवलदार संजय कुमार को सेना के सर्वोच्च सम्मान परमवीर चक्र से सम्मानित किया गया था. इस युद्ध का टर्निंग प्वाईंट तोलोलिंग की चोटी को फतेह करना था और इस चोटी को ब्रिगेडियर खुशहाल ठाकुर के नेतृत्व में फतेह किया गया था, जोकि मंडी जिला के पनारसा गांव के रहने वाले हैं.