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पूर्व CM धूमल ने गोपाष्टमी पर की गायों की पूजा,जानिए कहां सुनी भागवत

गोपाष्टमी के मौके पर ठाकुरद्वारा गौशाला जमली धाम में गौ पूजन का अनुष्ठान हुआ. इस दौरान पूर्व सीएम प्रेम कुमार धूमल(Former CM Prem Kumar Dhumal) ने गायों की पूजा की.धूमल ने वहां मौजूद संगत के साथ भागवत(Bhagwat) भी सुनी.

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पूर्व CM धूमल ने गोपाष्टमी पर की गायों की पूजा
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Published : Nov 11, 2021, 7:27 PM IST

हमीरपुर:गोपाष्टमी के मौके पर ठाकुरद्वारा गौशाला जमली धाम में गौ पूजन का अनुष्ठान हुआ. इस मौके पर गौ पूजन करने के लिए विशेष रूप से प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री प्रो. प्रेम कुमार धूमल भी पहुंचे. उन्होंने गौ पूजन किया और हवन यज्ञ में आहुति भी डाली. इसके बाद पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल ने वहां मौजूद संगत के साथ भागवत भी सुनी. भागवत के बाद वहां मौजूद संगत से उन्होंने आह्वान किया कि गौ सेवा सबसे बड़ा धर्म है. गौ माता भारतीय संस्कृति का प्रतीक है.

प्रदेश में बड़ी तादाद में गौशालाएं चल रही और सरकार भी गौ सदनों का निर्माण करा रही, ताकि गोधन सड़क पर बेसहारा न घूमे. उन्होंने कहा कि सामर्थ्य अनुसार लोग देसी गाय जरूर पालें. देसी गाय का दूध, घी, गौमूत्र इत्यादि सब स्वास्थ्यवर्धक होता और इससे कई प्रकार की बीमारियां खत्म होती है. पूर्व मुख्यमंत्री ने उपस्थित लोगों से कहा कि वह सभी संकल्प लें कि गोधन को सड़कों पर नहीं छोड़ेंगे और उसकी रक्षा के लिए हमेशा समाज में भागीदारी निभाएंगे.

उन्होंने कहा कि सत्संग व भागवत सुनने से मनुष्य का मन पवित्र हो जाता और धार्मिक आस्था का संचार भी होता है. उन्होंने जामली धाम गौशाला के संस्थापक रसील सिंह मनकोटिया व उनकी पूरी टीम को समय समय पर ऐसे धार्मिक आयोजन कराने के लिए धन्यवाद भी दिया. उन्होंने कहा कि जब प्रदेश में उनकी सरकार थी तो गाय को कोई भी बेसहारा न छोड़े इसके लिए कानून बनाया गया. गाय के कान पर टैग सिस्टम लगाना शरू किया था, लेकिन कुछ लोगों ने गाय के कान काट दिए.

ये भी पढ़ें :शिमला में 'चाइल्ड लाइन से दोस्ती' सप्ताह की शुरुआत, रिज पर चलाया गया हस्ताक्षर अभियान

हमीरपुर:गोपाष्टमी के मौके पर ठाकुरद्वारा गौशाला जमली धाम में गौ पूजन का अनुष्ठान हुआ. इस मौके पर गौ पूजन करने के लिए विशेष रूप से प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री प्रो. प्रेम कुमार धूमल भी पहुंचे. उन्होंने गौ पूजन किया और हवन यज्ञ में आहुति भी डाली. इसके बाद पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल ने वहां मौजूद संगत के साथ भागवत भी सुनी. भागवत के बाद वहां मौजूद संगत से उन्होंने आह्वान किया कि गौ सेवा सबसे बड़ा धर्म है. गौ माता भारतीय संस्कृति का प्रतीक है.

प्रदेश में बड़ी तादाद में गौशालाएं चल रही और सरकार भी गौ सदनों का निर्माण करा रही, ताकि गोधन सड़क पर बेसहारा न घूमे. उन्होंने कहा कि सामर्थ्य अनुसार लोग देसी गाय जरूर पालें. देसी गाय का दूध, घी, गौमूत्र इत्यादि सब स्वास्थ्यवर्धक होता और इससे कई प्रकार की बीमारियां खत्म होती है. पूर्व मुख्यमंत्री ने उपस्थित लोगों से कहा कि वह सभी संकल्प लें कि गोधन को सड़कों पर नहीं छोड़ेंगे और उसकी रक्षा के लिए हमेशा समाज में भागीदारी निभाएंगे.

उन्होंने कहा कि सत्संग व भागवत सुनने से मनुष्य का मन पवित्र हो जाता और धार्मिक आस्था का संचार भी होता है. उन्होंने जामली धाम गौशाला के संस्थापक रसील सिंह मनकोटिया व उनकी पूरी टीम को समय समय पर ऐसे धार्मिक आयोजन कराने के लिए धन्यवाद भी दिया. उन्होंने कहा कि जब प्रदेश में उनकी सरकार थी तो गाय को कोई भी बेसहारा न छोड़े इसके लिए कानून बनाया गया. गाय के कान पर टैग सिस्टम लगाना शरू किया था, लेकिन कुछ लोगों ने गाय के कान काट दिए.

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