धर्मशाला: धर्मशाला के मैक्लोडगंज (Tibetans in Mcleodganj) में रह रहे शरणार्थी तिब्बतियों द्वारा रविवार के दिन मैक्लोडगंज के निजी होटल में तिब्बती स्वतंत्र दिवस मनाया (Tibetans celebrated their Independence Day) गया. इस मौके पर स्पीकर नागा सांगे टेंडर ने कार्यक्रम के दौरान युवा तिब्बतियों को तिब्बत के इतिहास से जुड़ी जानकारी भी विस्तार से बताई. उन्होंने बताया कि किस तरह से चीन ने तिब्बत पर अपना कब्जा जमाया और किस तरह से चीन द्वारा तिब्बतियों पर दमनकारी नीतियों को लागू किया गया.
स्पीकर नागा सांगे टेंडर ने बताया कि आज भी तिब्बती अपने हक की लड़ाई जारी रखे हुए है और चीन की दमनकारी नीतियों को दुनिया के सामने लाने की कोशिश कर रहे हैं. तिब्बत आजाद छात्र संघ की नेशनल डायरेक्टर रीनझीन ने कहा कि आज का दिन हर तिब्बती के लिए के लिए काफी महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह तिब्बत की 109वीं स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया जा रहा है.
उन्होंने बताया कि तिब्बतियों द्वारा हर वर्ष इस दिवस को धूमधाम से मनाया जाता है. वर्ष 1913 में तिब्बतियों के 13वें धर्म गुरु दलाईलामा द्वारा यह घोषित किया गया था कि तिब्बत एक स्वतंत्र देश है. तब से लेकर तिब्बतियों द्वारा इस दिन को तिब्बत स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया जाता है. उन्होंने बताया कि इस मौके पर चाइनीस कॉमिनिस्ट पार्टी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन (Tibetans protested against china) भी किया गया.
तिब्बत आजाद छात्र संघ की नेशनल डायरेक्टर रीनझीन ने बताया कि बताया कि तिब्बत अभी भी चीन के कब्जे में है, लेकिन तिब्बत का अपना झंडा और अपना राष्ट्र गान भी है. इन्ही सभी चीजों के मध्य से तिब्बती दुनिया के सामने यह संदेश देना चाहते है कि तिब्बत एक आजाद देश है और आजाद देश रहेगा. उन्होंने कहा कि चीन चाहे जितने भी हथकंडे अपना ले, लेकिन इतिहास को मिटाया नही जा सकता. उन्होंने कहा कि तिब्बत एक आजाद देश था, लेकिन चीन ने अवैध रूप से तिब्बत पर अपना कब्जा जमा लिया.
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