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यमुनानगर: राधा स्वामी सत्संग भवन बना मजदूरों का आश्रय केंद्र

यमुनानगर में कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए प्रवासी मजदूरों के लिए सरकार के दिशा निर्देशों के बाद रिलीफ कैंप लगाए गए हैं.

Yamunanagar: Workers' shelter center for Radha Swami Satsang Bhawan
यमुनानगर : राधा स्वामी सत्संग भवन बना मजदूरों का आश्रय केंद्र
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Published : Mar 30, 2020, 11:52 PM IST

यमुनानगर : कोरोना वायरस के डर के चलते अलग-अलग राज्यों से पैदल आ रहे प्रवासी मजदूरों के लिए यमुनानगर से राहत की खबर है. सरकार के दिशा निर्देशों के बाद बड़े-बड़े शेल्टर होम रिलीफ कैंप लगाए गए हैं. प्रवासी मजदूरों को इन रिलीफ कैंपों में पूरी सुरक्षा के बीच ठहराया जा रहा है. यहाँ स्वास्थ्य सेवाओं से लेकर उनके रहने खाने की सभी व्यवस्था की गई है.

बसों की मदद से इन प्रवासी मजदूरों को यहाँ लाया जा रहा है. इसी व्यवस्था को लेकर देर रात तक डीसी मुकुल कुमार और एसपी यमुनानगर के साथ सभी अधिकारी जुटे रहे. वहीं जिले के सभी बॉर्डर्स को सील किया गया है. इन रिलीफ कैंपों में सोशल डिस्टेंस का भी पूरा ध्यान रखा जा रहा है.

मजदूर न हों मजबूर

एक साथ अपने घरों की तरफ जाने के लिए हिमाचल,पंजाब और अन्य राज्यों से पैदल ही निकल कर यमुनानगर से यूपी बार्डर की तरफ जा रहें प्रवासी मजदूरों को रोक दिया गया है. इन सभी के एक साथ जाने को लेकर एक दूसरो को कोरोना का खतरा होने की आशंका जताई जा रही थी. ये प्रवासी मजदूर भी बिना कुछ सोचे पैदल ही निकल पड़े हैं. लॉकडाउन के दौरान एक साथ भीड़ देखने बाद सरकार हरकत में आई. और सभी प्रभासी मजदूरों के लिए खाने और रहने की व्यवस्था की गई है.

राधा स्वामी सत्संग भवन बना मजदूरों का आश्रय केंद्र

दिन रात प्रवासी मजदूरों की व्यवस्था करने वाले डीसी यमुनानगर मुकुल कुमार ने प्रशासन की तरफ से राधा स्वामी सत्संग भवन के लोगों का शुक्रिया अदा किया. डीसी ने कहा कि उन्होंने इस विपदा की स्थिति में हमारा बहुत सहयोग किया है. और जितने भी प्रवासी आए हुए हैं . ज्यादातर इसमें उत्तर प्रदेश, हिमाचल, पंजाब से हैं.

ये खबर भी पढिए : चंडीगढ़ में 5 नए कोरोना पॉजिटिव मरीज आए सामने

प्रभासी मजदूरों को रिलीफ कैंप में पूरी सहूलियत देने का आश्वासन दिया गया है. डीसी मुकुल कुमार ने बताया कि अभी 92 लोग आए हैं और भी लोग आ रहे हैं. उनके स्वास्थ्य की जांच की जा रही है. इन सभी के लिए कैंप में भोजन और सोने का इंतजाम किया गया है. डीसी ने प्रभासी मजदूरों से लॉकडाउन के दौरान कैंप में ही रूकने की अपील की है.

यमुनानगर : कोरोना वायरस के डर के चलते अलग-अलग राज्यों से पैदल आ रहे प्रवासी मजदूरों के लिए यमुनानगर से राहत की खबर है. सरकार के दिशा निर्देशों के बाद बड़े-बड़े शेल्टर होम रिलीफ कैंप लगाए गए हैं. प्रवासी मजदूरों को इन रिलीफ कैंपों में पूरी सुरक्षा के बीच ठहराया जा रहा है. यहाँ स्वास्थ्य सेवाओं से लेकर उनके रहने खाने की सभी व्यवस्था की गई है.

बसों की मदद से इन प्रवासी मजदूरों को यहाँ लाया जा रहा है. इसी व्यवस्था को लेकर देर रात तक डीसी मुकुल कुमार और एसपी यमुनानगर के साथ सभी अधिकारी जुटे रहे. वहीं जिले के सभी बॉर्डर्स को सील किया गया है. इन रिलीफ कैंपों में सोशल डिस्टेंस का भी पूरा ध्यान रखा जा रहा है.

मजदूर न हों मजबूर

एक साथ अपने घरों की तरफ जाने के लिए हिमाचल,पंजाब और अन्य राज्यों से पैदल ही निकल कर यमुनानगर से यूपी बार्डर की तरफ जा रहें प्रवासी मजदूरों को रोक दिया गया है. इन सभी के एक साथ जाने को लेकर एक दूसरो को कोरोना का खतरा होने की आशंका जताई जा रही थी. ये प्रवासी मजदूर भी बिना कुछ सोचे पैदल ही निकल पड़े हैं. लॉकडाउन के दौरान एक साथ भीड़ देखने बाद सरकार हरकत में आई. और सभी प्रभासी मजदूरों के लिए खाने और रहने की व्यवस्था की गई है.

राधा स्वामी सत्संग भवन बना मजदूरों का आश्रय केंद्र

दिन रात प्रवासी मजदूरों की व्यवस्था करने वाले डीसी यमुनानगर मुकुल कुमार ने प्रशासन की तरफ से राधा स्वामी सत्संग भवन के लोगों का शुक्रिया अदा किया. डीसी ने कहा कि उन्होंने इस विपदा की स्थिति में हमारा बहुत सहयोग किया है. और जितने भी प्रवासी आए हुए हैं . ज्यादातर इसमें उत्तर प्रदेश, हिमाचल, पंजाब से हैं.

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प्रभासी मजदूरों को रिलीफ कैंप में पूरी सहूलियत देने का आश्वासन दिया गया है. डीसी मुकुल कुमार ने बताया कि अभी 92 लोग आए हैं और भी लोग आ रहे हैं. उनके स्वास्थ्य की जांच की जा रही है. इन सभी के लिए कैंप में भोजन और सोने का इंतजाम किया गया है. डीसी ने प्रभासी मजदूरों से लॉकडाउन के दौरान कैंप में ही रूकने की अपील की है.

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