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यमुनानगर: नए कृषि कानूनों के विरोध में यमुनानगर में किसानों ने किया रेलवे ट्रैक जाम - यमुनानगर किसान रेलवे ट्रैक जाम

संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर आज यमुनानगर जगाधरी रेलवे स्टेशन पर सैकड़ों की संख्या में किसानों ने पहुंचकर रेलवे ट्रैक जाम किया. इस दौरान किसानों ने कहा कि जब तक तीनों कृषि कानूनों को वापस नहीं लिया जाता. वे ऐसे ही आंदोलन करते रहेंगे.

farmers jammed Railway tracks  against new agricultural laws in yamunanagar
नए कृषि कानूनों के विरोध में यमुनानगर में किसानों ने किया रेलवे ट्रैक जाम
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Published : Feb 18, 2021, 8:23 PM IST

यमुनानगर: किसान यूनियनों के आह्वान पर आज किसानों ने यमुनानगर में रेलवे ट्रैक जाम किया. यमुनानगर के जगाधरी रेलवे स्टेशन पर सैकड़ों किसान पहुंचे और रेलवे ट्रैक को जाम कर दिया. किसानों ने बताया कि आज का उनका ये आंदोलन दोपहर 12 बजे से शाम 4 बजे तक किया गया. इस दौरान किसानों ने सरकार से कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग की.

रेलवे ट्रैक जाम के दौरान महिलाओं की भागीदारी भी काफी ज्यादा संख्या में रही. इस दौरान महिलाओं ने भी सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और कहा कि सरकार अंधी बहरी हो चुकी है. उनको नहीं पता कि तमाम जो महिलाएं हैं. वो लंबे समय से यहां आंदोलन कर रही हैं. बावजूद इसके सरकार के कानों पर जूं तक नहीं रेंग रही है.

नए कृषि कानूनों के विरोध में यमुनानगर में किसानों ने किया रेलवे ट्रैक जाम

कानून वापसी तक जारी रहेगा आंदोलन: किसान नेता

किसान नेताओं ने कहा कि यहां शांतिपूर्ण ढंग से रेल रोको अभियान चलाया जा रहा है. शांतिपूर्ण ढंग से किसान रेलवे ट्रैक को जाम करके बैठे हैं. किसानों ने बताया कि जब तक नए कृषि कानून वापस नहीं लिए जाते. इसी तरह उनका आंदोलन जारी रहेगा. वही किसानों ने बताया कि आगे संयुक्त किसान मोर्चा जो भी आदेश देगा. उसी आधार पर आगे आंदोलन जारी रहेगा और जब तक केंद्र सरकार नहीं मानती. तब तक यह आंदोलन वापस नहीं लिया जाएगा.

ये भी पढ़ें:हरियाणा में 80 जगह किसानों ने रोकी रेल, ट्रैक पर खाई जलेबी और चलाया लंगर

कृषि कानूनों के विरोध में किसानों का प्रदर्शन

बता दें कि, पिछले 85 दिनों से किसान नए कृषि कानूनों के विरोध में केंद्र सरकार के खिलाफ लगातार आंदोलन कर रहे हैं. 27 नवंबर 2020 से किसान दिल्ली बॉर्डर पर प्रदर्शन कर रहे हैं. कानून लागू होने से पहले जब यो अध्यादेश जारी किए गए थे. उसी दौरान ही किसानों ने इनका विरोध करना शुरू कर दिया था, लेकिन केंद्र सरकार ने इसे कानून बनाकर लागू कर दिया.

ये भी पढ़ें:गुरुग्राम में किसानों ने अडानी लॉजिस्टिक रेलवे ट्रैक किया जाम

27 नवंबर से किसान कर रहे आंदोलन

जिसके बाद किसानों ने 27 नवंबर से दिल्ली कूच करना शुरू किया और इस आंदोलन के दौरान किसानों ने जहां पंजाब के सभी टोल फ्री करवाए. तो हरियाणा में भी सभी टोल फ्री करवाए गए और विधायकों से लेकर मंत्रियों के आवास का घेराव किया गया, रोड जाम किए गए, जिला मुख्यालयों का घेराव किया गया. वहीं संयुक्त किसान मोर्चा के साथ सरकार की कई दौर की वार्ता हुई, लेकिन वो विफल रही. वहीं जहां कुछ दिन पहले किसानों ने नेशनल हाईवे जाम किए थे. तो आज रेलवे ट्रैक को जाम करने का आह्वान किया गया था.

ये भी पढ़ें:गांव-गांव राकेश टिकैत की महापंचायत, हिसार में सरकार को दे डाली ये 'चेतावनी'

यमुनानगर: किसान यूनियनों के आह्वान पर आज किसानों ने यमुनानगर में रेलवे ट्रैक जाम किया. यमुनानगर के जगाधरी रेलवे स्टेशन पर सैकड़ों किसान पहुंचे और रेलवे ट्रैक को जाम कर दिया. किसानों ने बताया कि आज का उनका ये आंदोलन दोपहर 12 बजे से शाम 4 बजे तक किया गया. इस दौरान किसानों ने सरकार से कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग की.

रेलवे ट्रैक जाम के दौरान महिलाओं की भागीदारी भी काफी ज्यादा संख्या में रही. इस दौरान महिलाओं ने भी सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और कहा कि सरकार अंधी बहरी हो चुकी है. उनको नहीं पता कि तमाम जो महिलाएं हैं. वो लंबे समय से यहां आंदोलन कर रही हैं. बावजूद इसके सरकार के कानों पर जूं तक नहीं रेंग रही है.

नए कृषि कानूनों के विरोध में यमुनानगर में किसानों ने किया रेलवे ट्रैक जाम

कानून वापसी तक जारी रहेगा आंदोलन: किसान नेता

किसान नेताओं ने कहा कि यहां शांतिपूर्ण ढंग से रेल रोको अभियान चलाया जा रहा है. शांतिपूर्ण ढंग से किसान रेलवे ट्रैक को जाम करके बैठे हैं. किसानों ने बताया कि जब तक नए कृषि कानून वापस नहीं लिए जाते. इसी तरह उनका आंदोलन जारी रहेगा. वही किसानों ने बताया कि आगे संयुक्त किसान मोर्चा जो भी आदेश देगा. उसी आधार पर आगे आंदोलन जारी रहेगा और जब तक केंद्र सरकार नहीं मानती. तब तक यह आंदोलन वापस नहीं लिया जाएगा.

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कृषि कानूनों के विरोध में किसानों का प्रदर्शन

बता दें कि, पिछले 85 दिनों से किसान नए कृषि कानूनों के विरोध में केंद्र सरकार के खिलाफ लगातार आंदोलन कर रहे हैं. 27 नवंबर 2020 से किसान दिल्ली बॉर्डर पर प्रदर्शन कर रहे हैं. कानून लागू होने से पहले जब यो अध्यादेश जारी किए गए थे. उसी दौरान ही किसानों ने इनका विरोध करना शुरू कर दिया था, लेकिन केंद्र सरकार ने इसे कानून बनाकर लागू कर दिया.

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27 नवंबर से किसान कर रहे आंदोलन

जिसके बाद किसानों ने 27 नवंबर से दिल्ली कूच करना शुरू किया और इस आंदोलन के दौरान किसानों ने जहां पंजाब के सभी टोल फ्री करवाए. तो हरियाणा में भी सभी टोल फ्री करवाए गए और विधायकों से लेकर मंत्रियों के आवास का घेराव किया गया, रोड जाम किए गए, जिला मुख्यालयों का घेराव किया गया. वहीं संयुक्त किसान मोर्चा के साथ सरकार की कई दौर की वार्ता हुई, लेकिन वो विफल रही. वहीं जहां कुछ दिन पहले किसानों ने नेशनल हाईवे जाम किए थे. तो आज रेलवे ट्रैक को जाम करने का आह्वान किया गया था.

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