भिवानी: हरियाणा के भिवानी जिले के सिवानी मंडी में अवैध पटाखा फैक्ट्री (Bhiwani Illegal Cracker Blast) में हुए हादसे के चौथे दिन भी प्रशासन और मृतक व्यक्ति के परिजनों के बीच अंतिम संस्कार के लिए सहमति नहीं बनी. परिजनों की मांग है कि मृतक मोनू की पत्नी को सरकारी नौकरी दी जाए और एक करोड़ रुपये की मुआवजा राशि दी जाए. जिसके चलते प्रशासन और मोनू के परिजनों में अभी तक कोई सहमति नहीं बनी है. वहीं, मृतक मोनू का पार्थिव शरीर अभी तक सिवानी मंडी के अंची देवी नागरिक अस्पताल में रखा हुआ है.
परिजनों का कहना है कि जब तक उनकी मांगों को पूरा नहीं किया जाता, तब तक वे न तो पोस्टमार्टम करवाएंगे और न ही अंतिम संस्कार. शनिवार को धरना स्थल पर कांग्रेस के पूर्व विधायक सोमवीर सिंह भी मृतक मोनू की मृत्यु पर शोक जताने के लिए पहुंचे. उन्होंने कहा कि वे सरकार से मांग करते हैं कि मृतक व्यक्ति की पत्नी को कम से कम फोर्थ क्लास की सरकारी नौकरी और 50 लाख रुपये की मुआवजा राशि दी जाए.(Siwani Blast Case).
वहीं, मृतक के भाई सोनू का कहना है कि अगर इस हादसे में बम निरोधक दस्ता टीम के किसी कर्मचारी की मौत हो जाती, तो सरकार उसके परिवार को दो करोड़ की राशि देती. उनके भाई की पत्नी को कम से कम एक करोड़ रुपए की मौआवजा राशि दी जाना चाहिए. उन्होंने मांग उठाई की मृतक की पत्नी को सरकारी नौकरी दी जाए और दोषी अधिकारियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाए. उसके बाद ही वे अपने भाई का अंतिम संस्कार करेंगे. उन्होंने कहा कि इस हादसे में ट्रैक्टर ट्रॉली का मुआवजा भी उन्हें दिया जाए.
क्या है पूरा मामला: बता दें कि सिवानी उपमंडल के रुपाड़ा गांव (Siwani sub division rupada village) के नजदीक प्रशासन ने पिछले दिनों अवैध रूप से जब्त किए गए पटाखों को रखा था. जिन्हें नष्ट करते समय बड़ा धमाका (Blast in Bhiwani) हो गया था. इस धमाके में एक नगरपालिका कर्मचारी की मौत हो गई थी. जबकि ड्यूटी मजिस्ट्रेट सहित 8 कर्मचारी घायल हुए थे. धमाका इतना जबरदस्त था कि दो ट्रैक्टर के परखच्चे उड़ गए थे और कई गाड़ियों के शीटे भी टूट गए थे.
ये भी पढ़ें: हार कर भी 'जीता' सरपंच प्रत्याशी: मात्र एक वोट से हारने के बाद ग्रामीणों ने दिए 11 लाख, जमीन और गाड़ी