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गुरमीत राम रहीम को मिली 21 दिन की फरलो, जेल से आया बाहर

डेरा सच्चा सौदा प्रमुख राम रहीम पंजाब विधानसभा चुनावों से ठीक पहले 21 दिन के लिए जेल से बाहर आ गया है. दुष्कर्म और हत्या के आरोपों में सजा काट रहे राम रहीम को 21 दिन की फरलो मिली है.

PUNJAB ASSEMBLY ELECTION
राम रहीम को 21 दिन की पैरोल मिली है.
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Published : Feb 7, 2022, 2:30 PM IST

Updated : Feb 7, 2022, 5:16 PM IST

रोहतक: पंजाब चुनाव से 13 दिन पहले डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को 21 दिन की फरलो मिल गई (Ram Rahim Get Furlough) है. जिसके बाद वो जेल से बाहर आ गया है. राम रहीम के जेल से बाहर आने से पहले ही सुरक्षा व्यवस्था कड़ी की गई थी. जेल की ओर जाने वाले सभी वाहनों की तलाशी ली जा रही थी. बिना किसी ठोस कारण के किसी भी व्यक्ति को जेल की ओर जाने की इजाजत नहीं थी. बता दें कि पंजाब चुनावों को देखते हुए इसके कई सियासी मायने भी लगाए जा रहे हैं.

क्या होती है फरलो- गौरतलब है कि फरलो एक तरह की छुट्टी होती है जिसमें सजायाफ्ता बंदियों को तय समय के लिए छुट्टी मिलती है जिसमें वे अपने घर जा सकते हैं लेकिन वे बताई गई जगह के अलावा कहीं भी नहीं आ जा सकते हैं.

सीएम खट्टर बोले- ये महज संयोग -दरअसल राज्य सरकार ने डेरा प्रमुख को तीन सप्ताह के लिए जेल से छुट्टी दी है. जब इस मामले को लेकर सीएम खट्टर से सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि राम रहीम की फरलो का चुनावों के साथ कोई संबंध नहीं है. ये महज संयोग है. राम रहीम को पैरोल प्रशासनिक प्रक्रिया के तहत मिली है. सीएम खट्टर ने कहा कि कोई भी कैदी 3 साल बाद फरलो ले सकता है.

कई बार मिल चुकी है पैरोल- बता दें कि राम रहीम को अब तक कई बार पैरोल मिल चुकी है. पिछले साल 12 मई को डेरा प्रमुख को इलाज के लिए हॉस्पिटल में एडमिट किया गया था. उस दौरान राम रहीम को 48 घंटे की पैरोल मिली थी. तब उसने गुरूग्राम में अपनी बीमार मां से मुलाकात की थी. इसके बाद 3 जून 2021 को जांच के लिए दोबारा पीजीआईएमएस लाया गया था जबकि 6 जून को इलाज के लिए गुरूग्राम के मेदांता मेडिसिटी में भर्ती किया गया था.

क्या है पूरा मामला- डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को 25 अगस्त 2017 को रोहतक की सुनारिया जेल में लाया गया था. पंचकूला की सीबीआई कोर्ट में पेशी के दौरान व्यापक पैमाने पर हिंसा हुई थी. इसके बाद हेलीकॉप्टर के जरिए उसे सुनारिया जेल लाया गया. 28 अगस्त को जेल परिसर में ही सीबीआई की विशेष कोर्ट लगी. सीबीआई जज जगदीप सिंह ने राम रहीम को दो साध्वियों से यौन शोषण मामले में 10-10 साल की सजा सुनाई थी. वहीं साल 2019 के जनवरी महीने में सीबीआई की विशेष अदालत ने पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्याकांड में राम रहीम को उम्रकैद की सजा सुनाई थी. अक्टूबर 2021 में डेरा के पूर्व प्रबंधक रणजीत सिंह हत्याकांड में भी राम रहीम को उम्रकैद की सजा हुई थी.

ये भी पढ़ें- मंत्री रणजीत सिंह चौटाला बोले- राम रहीम को भी है दूसरे कैदियों की तरह पैरोल मांगने का अधिकार


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रोहतक: पंजाब चुनाव से 13 दिन पहले डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को 21 दिन की फरलो मिल गई (Ram Rahim Get Furlough) है. जिसके बाद वो जेल से बाहर आ गया है. राम रहीम के जेल से बाहर आने से पहले ही सुरक्षा व्यवस्था कड़ी की गई थी. जेल की ओर जाने वाले सभी वाहनों की तलाशी ली जा रही थी. बिना किसी ठोस कारण के किसी भी व्यक्ति को जेल की ओर जाने की इजाजत नहीं थी. बता दें कि पंजाब चुनावों को देखते हुए इसके कई सियासी मायने भी लगाए जा रहे हैं.

क्या होती है फरलो- गौरतलब है कि फरलो एक तरह की छुट्टी होती है जिसमें सजायाफ्ता बंदियों को तय समय के लिए छुट्टी मिलती है जिसमें वे अपने घर जा सकते हैं लेकिन वे बताई गई जगह के अलावा कहीं भी नहीं आ जा सकते हैं.

सीएम खट्टर बोले- ये महज संयोग -दरअसल राज्य सरकार ने डेरा प्रमुख को तीन सप्ताह के लिए जेल से छुट्टी दी है. जब इस मामले को लेकर सीएम खट्टर से सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि राम रहीम की फरलो का चुनावों के साथ कोई संबंध नहीं है. ये महज संयोग है. राम रहीम को पैरोल प्रशासनिक प्रक्रिया के तहत मिली है. सीएम खट्टर ने कहा कि कोई भी कैदी 3 साल बाद फरलो ले सकता है.

कई बार मिल चुकी है पैरोल- बता दें कि राम रहीम को अब तक कई बार पैरोल मिल चुकी है. पिछले साल 12 मई को डेरा प्रमुख को इलाज के लिए हॉस्पिटल में एडमिट किया गया था. उस दौरान राम रहीम को 48 घंटे की पैरोल मिली थी. तब उसने गुरूग्राम में अपनी बीमार मां से मुलाकात की थी. इसके बाद 3 जून 2021 को जांच के लिए दोबारा पीजीआईएमएस लाया गया था जबकि 6 जून को इलाज के लिए गुरूग्राम के मेदांता मेडिसिटी में भर्ती किया गया था.

क्या है पूरा मामला- डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को 25 अगस्त 2017 को रोहतक की सुनारिया जेल में लाया गया था. पंचकूला की सीबीआई कोर्ट में पेशी के दौरान व्यापक पैमाने पर हिंसा हुई थी. इसके बाद हेलीकॉप्टर के जरिए उसे सुनारिया जेल लाया गया. 28 अगस्त को जेल परिसर में ही सीबीआई की विशेष कोर्ट लगी. सीबीआई जज जगदीप सिंह ने राम रहीम को दो साध्वियों से यौन शोषण मामले में 10-10 साल की सजा सुनाई थी. वहीं साल 2019 के जनवरी महीने में सीबीआई की विशेष अदालत ने पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्याकांड में राम रहीम को उम्रकैद की सजा सुनाई थी. अक्टूबर 2021 में डेरा के पूर्व प्रबंधक रणजीत सिंह हत्याकांड में भी राम रहीम को उम्रकैद की सजा हुई थी.

ये भी पढ़ें- मंत्री रणजीत सिंह चौटाला बोले- राम रहीम को भी है दूसरे कैदियों की तरह पैरोल मांगने का अधिकार


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Last Updated : Feb 7, 2022, 5:16 PM IST
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