रोहतक: निकाले गए पीटीआई टीचरो को समर्थन देने पहुंची कांग्रेस विधायक ने पत्रकारों पर भड़ गईं. जब पत्रकार ने कांग्रेस विधायिक शकुंतला से ये सवाल किया कि पीटीआई टीचरों की ये भर्ती कांग्रेस के कार्यकाल में हुई थी, इस सवाल के जवाब में विधायक गुस्सा हो गई और सवाल का जवाब दिए बिना ही निकल गई.
इसके बाद कोविड-19 महामारी में कांग्रेस विधायक शकुंतला ने इशारों ही इशारों में सरकार की सराहना की. उन्होंने कहा कि उसके हल्के में स्वास्थ्य सेवाएं बेहतर हैं और हल्के में आने वाली तमाम सीएचसी और पीएचसी में पर्याप्त दवा मौजूद है. उन्होंने कहा कि मेरे क्षेत्र में डॉक्टर और नर्स बेहतर काम कर रहे हैं.
यहीं नहीं कांग्रेस सरकार में भर्ती हुए 1983 पीटीआई टीचर जो खामियों के चलते सुप्रीम कोर्ट द्वारा बर्ख़ास्त हो चुके है. उन्हें समर्थन देने पहुंची थी. जब उनसे पूछा गया कि पीटीआई टीचर उस समय की मौजूदा सरकार की ही गलती बता रहे हैं, तो विधायक को कोई जवाब ही नहीं सूझा और कांग्रेस विधायक चुपचाप बिना जवाब दिए ही निकलने लगी.
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दरसल बर्खास्त 1983 पीटीआई टीचर सरकार के खिलाफ कई दिनों से धरना दे रहे है और उन्हें समर्थन देने के लिए कांग्रेस नेता पहुंच रहे है, जबकि ये पीटीआई टीचर कांग्रेस सरकार में भर्ती हुए थे जो खामियों के चलते सुप्रीम कोर्ट ने बर्ख़ास्त किए है. उन्होंने कहा कि बर्ख़ास्त पीटीआई टीचरों को सरकार को कोई न कोई रास्ता निकाल कर वापस नौकरी पर रखना चाहिए.