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रेवाड़ी नगर परिषद का EO सस्पेंड, एनडीसी मामले मे गिरी गाज - State Vijilence Bureau Gurugram

नो ड्यूज सर्टिफिकेट के रिश्वतकांड को लेकर सरकार ने रेवाड़ी नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी (ईओ) को निलंबित कर दिया है. जगदीश उर्फ जग्गी ने इसी साल मार्च माह में गुरुग्राम विजिलेंस ब्यूरो को एनडीसी के एवज में 2 लाख रुपये की रिश्वत मांगे जाने की शिकायत की थी

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Published : Sep 1, 2022, 9:27 AM IST

Updated : Sep 1, 2022, 12:02 PM IST

रेवाड़ी: रेवाड़ी नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी अभे सिंह यादव को सरकार ने सस्पेंड कर दिया है. सूत्रों के अनुसार नो-ड्यूज सर्टिफिकेट रिश्वतकांड में उन पर गाज गिरी (NDC Corruption Scandal Case) है. मार्च में रेवाड़ी नगर परिषद (Rewari Municipal Council) में एनडीसी को लेकर 2 लाख रुपए की डिमांड की गई थी इसी के चलते उन पर कार्रवाई हुई है.


यह था पूरा मामला- स्टेट विजिलेंस ब्यूरो गुरुग्राम (State Vijilence Bureau Gurugram) को शिकायत करने वाले रेवाड़ी के रहने वाले जगदीश ने बताया था कि उनके चाचा रविन्द्र ने अपने बेटे के नाम लिए प्लॉट की ट्रांसफर परमिशन के लिए दिसंबर 2021 में आवेदन करना था. इसके लिए नगर परिषद से नो-ड्यूज सर्टिफिकेट की जरूरत थी तो उन्होंने नगर परिषद के बाहर स्थित CSC सेंटर से ऑनलाइन आवेदन किया लेकिन कई दिनों तक उनके पास एनडीसी से संबंधित कोई मैसेज नहीं आया.

इसके बाद ऑनलाइन अप्लाई करने वाले व्यक्ति ने 20 हजार रुपए की डिमांड करते हुए काम कराने की बात की तो उसने 10 हजार रुपए एडवांस भी दे दिए लेकिन काम नहीं होने पर पैसे वापस मिल गए. नगर परिषद के पटवारी से मिलने पर उसने भी 5 हजार मांगे तो उसे 1 हजार रुपये दे दिए. कुछ दिन बाद जब रजिस्टर देखा तो फाइल जेई और उसके बाद एमई, सचिव और ईओ के पास जा चुकी थी, लेकिन काम नहीं हुआ तो वह ईओ अभे सिंह से मिले. ईओ ने कुछ आपत्तियां लगाते हुए फाइल रिजेक्ट कर दी.

शिकायतकर्ता जगदीश ने बताया था कि उन्होंने प्रॉपर्टी आईडी चेक की तो उसमें 1 हजार वर्ग गज प्लॉट की आईडी मिली. जबकि उनके 2 प्लॉट का कुल साइज 1 हजार 44 वर्ग गज था. 24 जनवरी 2022 को प्रॉपर्टी आईडी में रिकॉर्ड दुरुस्त कराने के लिए फाइल लगाई गई. 5 फरवरी 2022 को उसे रिजेक्ट कर दिया गया. इसी तरह 4 बार और लगाई गई फाइल भी रिजेक्ट हो गई. जगदीश की मानें तो एमई सोहन ने 2 लाख रुपए में काम हो जाने की बात कहते हुए घर बुलाया था. जब वे एमई के घर पहुंचे तो वहां पर उनके पिता पब्लिक हेल्थ डिपार्टमेंट रेवाड़ी (Public Health Department Rewari) के एसडीओ नंदलाल मिले. नंदलाल को 2 लाख रुपए में डील हो जाने की बात बताई.

नंदलाल ने फोन पर एमई सोहन से बात की और जगदीश का काम करने की बात कही। साथ ही बताया कि 2 लाख रुपए में एमई, जेई, एक्सईएन, ईओ, बीआई सभी आ गए हैं. नंदलाल से हुई बातचीत की रिकॉर्डिंग विजिलेंस ब्यूरो को दी गई. विजिलेंस ने ईओ अभे सिंह, एमई सोहन, एमई के पिता एसडीओ नंदलाल के खिलाफ करप्शन एक्ट 1988 की धारा 7ए के तहत केस दर्ज किया

मिली जानकारी के मुताबिक रेवाड़ी के रहने वाले जगदीश उर्फ जग्गी नाम के शख्स से 2 लाख रुपए एनडीसी की एवेज में रिश्वत मांगने के मामले में 29 मार्च 2022 को गुरुग्राम विजिलेंस ब्यूरो (Gurugram Vigilance Bureau) ने नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी अभय यादव, एमई सोहन और उनके पिता पब्लिक हेल्थ के एसडीओ नंदलाल के खिलाफ क्रप्शन की 5 नंबर एफआईआर दर्ज की थी. जिसके बाद विजिलेंस ब्यूरों ने रेवाड़ी पहुंचकर रिकॉर्ड भी खंगाला था. इसके बाद से ही मामला ठंडे बस्ते में पड़ा हुआ था. अब सरकार ने EO अभय यादव को सस्पेंड कर दिया है.

रेवाड़ी: रेवाड़ी नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी अभे सिंह यादव को सरकार ने सस्पेंड कर दिया है. सूत्रों के अनुसार नो-ड्यूज सर्टिफिकेट रिश्वतकांड में उन पर गाज गिरी (NDC Corruption Scandal Case) है. मार्च में रेवाड़ी नगर परिषद (Rewari Municipal Council) में एनडीसी को लेकर 2 लाख रुपए की डिमांड की गई थी इसी के चलते उन पर कार्रवाई हुई है.


यह था पूरा मामला- स्टेट विजिलेंस ब्यूरो गुरुग्राम (State Vijilence Bureau Gurugram) को शिकायत करने वाले रेवाड़ी के रहने वाले जगदीश ने बताया था कि उनके चाचा रविन्द्र ने अपने बेटे के नाम लिए प्लॉट की ट्रांसफर परमिशन के लिए दिसंबर 2021 में आवेदन करना था. इसके लिए नगर परिषद से नो-ड्यूज सर्टिफिकेट की जरूरत थी तो उन्होंने नगर परिषद के बाहर स्थित CSC सेंटर से ऑनलाइन आवेदन किया लेकिन कई दिनों तक उनके पास एनडीसी से संबंधित कोई मैसेज नहीं आया.

इसके बाद ऑनलाइन अप्लाई करने वाले व्यक्ति ने 20 हजार रुपए की डिमांड करते हुए काम कराने की बात की तो उसने 10 हजार रुपए एडवांस भी दे दिए लेकिन काम नहीं होने पर पैसे वापस मिल गए. नगर परिषद के पटवारी से मिलने पर उसने भी 5 हजार मांगे तो उसे 1 हजार रुपये दे दिए. कुछ दिन बाद जब रजिस्टर देखा तो फाइल जेई और उसके बाद एमई, सचिव और ईओ के पास जा चुकी थी, लेकिन काम नहीं हुआ तो वह ईओ अभे सिंह से मिले. ईओ ने कुछ आपत्तियां लगाते हुए फाइल रिजेक्ट कर दी.

शिकायतकर्ता जगदीश ने बताया था कि उन्होंने प्रॉपर्टी आईडी चेक की तो उसमें 1 हजार वर्ग गज प्लॉट की आईडी मिली. जबकि उनके 2 प्लॉट का कुल साइज 1 हजार 44 वर्ग गज था. 24 जनवरी 2022 को प्रॉपर्टी आईडी में रिकॉर्ड दुरुस्त कराने के लिए फाइल लगाई गई. 5 फरवरी 2022 को उसे रिजेक्ट कर दिया गया. इसी तरह 4 बार और लगाई गई फाइल भी रिजेक्ट हो गई. जगदीश की मानें तो एमई सोहन ने 2 लाख रुपए में काम हो जाने की बात कहते हुए घर बुलाया था. जब वे एमई के घर पहुंचे तो वहां पर उनके पिता पब्लिक हेल्थ डिपार्टमेंट रेवाड़ी (Public Health Department Rewari) के एसडीओ नंदलाल मिले. नंदलाल को 2 लाख रुपए में डील हो जाने की बात बताई.

नंदलाल ने फोन पर एमई सोहन से बात की और जगदीश का काम करने की बात कही। साथ ही बताया कि 2 लाख रुपए में एमई, जेई, एक्सईएन, ईओ, बीआई सभी आ गए हैं. नंदलाल से हुई बातचीत की रिकॉर्डिंग विजिलेंस ब्यूरो को दी गई. विजिलेंस ने ईओ अभे सिंह, एमई सोहन, एमई के पिता एसडीओ नंदलाल के खिलाफ करप्शन एक्ट 1988 की धारा 7ए के तहत केस दर्ज किया

मिली जानकारी के मुताबिक रेवाड़ी के रहने वाले जगदीश उर्फ जग्गी नाम के शख्स से 2 लाख रुपए एनडीसी की एवेज में रिश्वत मांगने के मामले में 29 मार्च 2022 को गुरुग्राम विजिलेंस ब्यूरो (Gurugram Vigilance Bureau) ने नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी अभय यादव, एमई सोहन और उनके पिता पब्लिक हेल्थ के एसडीओ नंदलाल के खिलाफ क्रप्शन की 5 नंबर एफआईआर दर्ज की थी. जिसके बाद विजिलेंस ब्यूरों ने रेवाड़ी पहुंचकर रिकॉर्ड भी खंगाला था. इसके बाद से ही मामला ठंडे बस्ते में पड़ा हुआ था. अब सरकार ने EO अभय यादव को सस्पेंड कर दिया है.

Last Updated : Sep 1, 2022, 12:02 PM IST
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