ETV Bharat / state

पहले कोरोना ने मारा, अब आंदोलन ने सताया, भयानक परेशानी में हरियाणा के ट्रांसपोर्टर्स - किसान प्रदर्शन असर हरियाणा ट्रांसपोर्ट सेक्टर

पानीपत में ट्रांसपोर्टर्स अभी कोरोना की मार से उभरे नहीं थे कि उन्हें एक और चुनौती का सामना करना पड़ा. उन्हें आय दिन हो रहे सड़क जाम और प्रदर्शनों की वजह से काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है.

haryana Transport sector situation, हरियाणा ट्रांसपोर्ट सेक्टर हालात
जानें क्यों कोरोना की मार से टूट चुके ट्रांसपोर्टर्स किसान आंदोलन से हैं परेशान
author img

By

Published : Apr 2, 2021, 10:27 PM IST

Updated : Apr 3, 2021, 12:00 PM IST

पानीपत: कृषि के बाद देश में परिवहन क्षेत्र यानी ट्रांसपोर्ट सेक्टर रोजगार का प्रमुख स्रोत है, लेकिन आज ये सेक्टर कई मुश्किलों को सामना कर रहा है. इस रिपोर्ट में हम आपको हरियाणा के पानीपत जिले में ट्रांसपोर्ट सेक्टर के सामने खड़ी हुई मुश्किलें और इस सेक्टर में काम करने वाले लोगों को जिन परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है उनके बारे में बताएंगे.

सहारा ढूंढ रहा है ट्रांसपोर्ट सेक्टर

उद्योगनगरी पानीपत में ट्रांसपोर्ट का बहुत बड़ा योगदान रहता है. ट्रांसपोर्ट पानीपत में दिनोदिन फूल रहे हैंडलूम व्यवसाय की रीड की हड्डी है, लेकिन आज यही ट्रांसपोर्ट सेक्टर खुद कोई सहारा ढूंढ रहा है. पहले तो कोरोना के कारण लगे लॉकडाउन में ट्रांसपोर्ट सेक्टर को बेहद नुकसान हुआ. उसके बाद जब काम पटरी पर लौटने लगा था तो पेट्रोल डीजल की बढ़ती कीमतों ने इस व्यवसाय को फिर एक बार घाटे की तरफ मोड़ दिया.

ये पढ़ें- रिपोर्ट: ट्रक ड्राइवरों पर मंडरा रहा आर्थिक संकट, पल्लेदार भी बैठे खाली

पहले कोरोना फिर किसान आंदोलन ने दिया बड़ा झटका

ट्रांसपोर्टरों का कहना है कि पहले कोरोना फिर बढ़ती महंगाई के बाद हरियाणा में चल रहे किसान आंदोलन से भी उन्हें एक बड़ा झटका लगा. आंदोलन के कारण रूट को डाइवर्ट करके माल डिलीवरी करने में बहुत खर्चा जाता है और एग्रीमेंट से अलग किराया भी नहीं वसूल सकते.

जानें क्यों कोरोना की मार से टूट चुके ट्रांसपोर्टर्स किसान आंदोलन से हैं परेशान, देखिए वीडियो

आज तक रजिस्ट्रड नहीं हुआ ट्रांसपोर्ट बिजनेस

यूं तो खेती के बाद ट्रांसपोर्ट को देश का सबसे बड़ा व्यवसाय माना जाता है, लेकिन ट्रांसपोर्टरों का कहना है कि ये व्यवसाय आज तक भी रजिस्टर्ड नहीं है. सबसे ज्यादा टैक्स सरकार को यही लोग देते हैं और दिन पर दिन उनके लिए नई मुसीबत खड़ी होती जा रही है.

ये भी पढे़ं- अनलॉक होने के बावजूद एशिया की सबसे बड़ी मोटर मार्केट पर गहराया आर्थिक संकट

ड्राइवर्स भी रहते हैं परेशान

ट्रांसपोर्टरों के अलावा इस सेक्टर में काम करने वाले ड्राइवर भी खासे परेशान हैं. उन्हें कई कई दिनों तक घर से दूर रहना पड़ता है. सालों तक काम करने के बाद भी कम तनख्वाह है. जोखिम भरे इस काम में ड्राइवर कुछ नहीं बचा पा रहे. ऐसे में नई पीढ़ी भी इस लाइन में नहीं आना चाहती.

बहरहाल ट्रांसपोर्ट सेक्टर के जिस तरीके के हालात देखने को मिल रहे हैं, उसे देख कर तो यही कहा जा सकता है इन लोगों को अगर जल्द सरकार की तरफ कोई मदद या छूट नहीं मिली तो एक बड़ा तबका बेरोजगारी के आगोश में समा जाएगा.

पानीपत: कृषि के बाद देश में परिवहन क्षेत्र यानी ट्रांसपोर्ट सेक्टर रोजगार का प्रमुख स्रोत है, लेकिन आज ये सेक्टर कई मुश्किलों को सामना कर रहा है. इस रिपोर्ट में हम आपको हरियाणा के पानीपत जिले में ट्रांसपोर्ट सेक्टर के सामने खड़ी हुई मुश्किलें और इस सेक्टर में काम करने वाले लोगों को जिन परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है उनके बारे में बताएंगे.

सहारा ढूंढ रहा है ट्रांसपोर्ट सेक्टर

उद्योगनगरी पानीपत में ट्रांसपोर्ट का बहुत बड़ा योगदान रहता है. ट्रांसपोर्ट पानीपत में दिनोदिन फूल रहे हैंडलूम व्यवसाय की रीड की हड्डी है, लेकिन आज यही ट्रांसपोर्ट सेक्टर खुद कोई सहारा ढूंढ रहा है. पहले तो कोरोना के कारण लगे लॉकडाउन में ट्रांसपोर्ट सेक्टर को बेहद नुकसान हुआ. उसके बाद जब काम पटरी पर लौटने लगा था तो पेट्रोल डीजल की बढ़ती कीमतों ने इस व्यवसाय को फिर एक बार घाटे की तरफ मोड़ दिया.

ये पढ़ें- रिपोर्ट: ट्रक ड्राइवरों पर मंडरा रहा आर्थिक संकट, पल्लेदार भी बैठे खाली

पहले कोरोना फिर किसान आंदोलन ने दिया बड़ा झटका

ट्रांसपोर्टरों का कहना है कि पहले कोरोना फिर बढ़ती महंगाई के बाद हरियाणा में चल रहे किसान आंदोलन से भी उन्हें एक बड़ा झटका लगा. आंदोलन के कारण रूट को डाइवर्ट करके माल डिलीवरी करने में बहुत खर्चा जाता है और एग्रीमेंट से अलग किराया भी नहीं वसूल सकते.

जानें क्यों कोरोना की मार से टूट चुके ट्रांसपोर्टर्स किसान आंदोलन से हैं परेशान, देखिए वीडियो

आज तक रजिस्ट्रड नहीं हुआ ट्रांसपोर्ट बिजनेस

यूं तो खेती के बाद ट्रांसपोर्ट को देश का सबसे बड़ा व्यवसाय माना जाता है, लेकिन ट्रांसपोर्टरों का कहना है कि ये व्यवसाय आज तक भी रजिस्टर्ड नहीं है. सबसे ज्यादा टैक्स सरकार को यही लोग देते हैं और दिन पर दिन उनके लिए नई मुसीबत खड़ी होती जा रही है.

ये भी पढे़ं- अनलॉक होने के बावजूद एशिया की सबसे बड़ी मोटर मार्केट पर गहराया आर्थिक संकट

ड्राइवर्स भी रहते हैं परेशान

ट्रांसपोर्टरों के अलावा इस सेक्टर में काम करने वाले ड्राइवर भी खासे परेशान हैं. उन्हें कई कई दिनों तक घर से दूर रहना पड़ता है. सालों तक काम करने के बाद भी कम तनख्वाह है. जोखिम भरे इस काम में ड्राइवर कुछ नहीं बचा पा रहे. ऐसे में नई पीढ़ी भी इस लाइन में नहीं आना चाहती.

बहरहाल ट्रांसपोर्ट सेक्टर के जिस तरीके के हालात देखने को मिल रहे हैं, उसे देख कर तो यही कहा जा सकता है इन लोगों को अगर जल्द सरकार की तरफ कोई मदद या छूट नहीं मिली तो एक बड़ा तबका बेरोजगारी के आगोश में समा जाएगा.

Last Updated : Apr 3, 2021, 12:00 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.