पानीपत: सरकारी अस्पताल के सभी डॉक्टर आज अपनी मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं. पानीपत सिविल अस्पताल में भी अपनी मांगों के समर्थन में इमरजेंसी के बाहर टेंट लगाकर विरोध प्रदर्शन किया. डॉक्टरों के हड़ताल पर रहने के कारण ओपीडी सेवा बंद रही. मरीज और उनके परिजन दिन भर परेशान रहे.
मरीज रहे परेशान: सरकारी अस्पताल में ओपीडी सेवा बंद रहने के कारण मरीज दिन भर परेशान रहे. इलाज के लिए वे भटकते रहे. इलाज के लिए अस्पताल आयी आरती ने बताया कि उसे पेट दर्द है और बुखार है लेकिन इलाज नही हो रहा है. कल भी वह आयी थी और उसे लौटना पड़ा था. अस्पताल पहुंचने पर बताया गया कि सारे डॉक्टर चले गये हैं. चार पांच दिन से उसे बुखार है. उसकी हालत इतनी खराब थी कि वह अस्पताल में लगे कुर्सियों पर ही किसी तरह लेट गयी. मरीज के परिजन भी परेशान रहे. शकुंतला नाम की महिला ने बताया कि वह अपने परिजन के लिए दवाई लेने के लिए आई थी लेकिन दवाई नहीं मिली. उन्हें बताया गया कि दो दिन के बाद आना. कई मरीज इस उम्मीद में बैठे रहे कि कहीं डॉक्टर देखेंगे. कृष्णा नाम की मरीज ने बताया कि वह सुबह नौ बजे से बैठी है. सर्दी बुखार से शरीर तप रहा है लेकिन इलाज नहीं हो पा रहा है. डॉक्टरों के हड़ताल पर रहने की जानकारी नहीं मिलने के कारण भी मरीज दूरदराज के इलाके से अस्पताल आ गये थे. अस्पताल पहुंचने पर उन्हें जानकारी मिली की डॉक्टर हड़ताल पर हैं आज डॉक्टर नहीं देखेंगे. सोनिया देवी नाम की मरीज को हड़ताल की जानकारी नहीं थी. अस्पताल आने पर उन्हें पता चला.
डॉक्टरों का क्या कहना है?: डॉक्टरों का कहना है कि अगर आज सरकार ने डॉक्टरों की मांगे नहीं मानी तो वे 29 दिसंबर से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाएंगे. ओपीडी के साथ-साथ इमरजेंसी सेवा भी बंद कर दी जाएगी. इसकी पूरी जिम्मेदारी सरकार की होगी.