पलवल: पूर्व गवर्नर सत्यपाल मलिक को लेकर मामला लगातार तूल पकड़ता जा रहा है. पानीपत के गांव उग्रा खेड़ी में पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक के प्रकरण को लेकर मलिक खाप की पंचायत हुई. मालिक गोत्र बहुलय इस गांव में मलिक गोत्र के गांव उग्रा खेड़ी, नांगल खेड़ी व कुराड़ गांव राजाखेड़ी, रिसालू, निंबरी, कुटानी व के पदाधिकारी शामिल हुए. खाप पंचायत की अध्यक्षता सात गांव के प्रधान राजकुमार मलिक ने की. इस पंचायत में सभी गांव से 40 पदाधिकारी शामिल हुए. पंचायत में सत्यपाल मलिक प्रकरण पर बताया कि आज सभी गांवों से एक एक कमेटी गठित की गई है.
कमेटियों के मेंबर द्वारा निर्णय लिया गया कि वह कल दिल्ली जाकर सत्यपाल मलिक से मुलाकात करेंगे और आगामी रणनीति को तैयार किया जाएगा. हरियाणा समेत देश के अन्य राज्यों की खापें सत्यपाल मलिक से मीटिंग करने पहुंची थी. जहां पुलिस की परमिशन न होने पर मीटिंग करने से रोक दिया था. सत्यपाल मलिक ने पदाधिकारियों के साथ मिलकर खुद की गिरफ्तारी देने की बात कही थी. जिसके बाद सभी को वहां से डिटेन किया गया. कुछ समर्थकों को अलग-अलग थाने में भी ले जाया गया. करीब 3 घंटे बाद उन्हें छोड़ा गया था.
मामला सत्यपाल मलिक की टिप्पणी के बाद सामने आए CBI की चिट्ठी से जुड़ा हुआ है. पानीपत के उग्रा खेड़ी गांव में हुई इस मलिक खाप पंचायत में मलिक गोत्र के सभी पदाधिकारियों ने यह निर्णय लिया कि सत्यपाल मलिक से मीटिंग के बाद स्पष्ट किया जाएगा कि अगली रणनीति क्या है और उन्हें हम हर तरीके से समर्थन देने के लिए तैयार हैं. सीबीआई द्वारा भेजा गया पत्र सिर्फ उन्हें एक चुप कराने का तरीका है. आगामी कार्रवाई मालिक खाप की सत्यपाल मलिक से मीटिंग के बाद की जाएगी.
क्या है पूरा मामला: गौरतलब है कि जम्मू कश्मीर के पूर्व राज्यपाल सत्य्पाल मलिक ने पुलवामा हमले पर विवादित बयान दिया था. उन्होंने कहा था कि बीजेपी ने सत्ता में बने रहने के लिए पुलवामा हमले का सहारा लिया है. पुलवामा हमले के दौरान जम्मू कश्मीर के राज्यपाल रहे सत्यपाल मलिक ने पुलवामा हमले को लेकर उस समय के गृह मंत्री राजनाथ सिंह को लेकर सवाल उठाए और पीएम मोदी का भी जिक्र किया था. सत्यपाल ने कहा था कि इतना बड़ा काफिल का सड़क मार्ग से कभी नहीं जाता. इसलिए सीआरपीएफ ने गृह मंत्रालय से एयरक्राफ्ट की मांग भी की थी.
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जिसको गृह मंत्रालय की ओर से स्वीकार नहीं किया गया. सत्यपाल ने कहा था कि उस समय सेना को जरूरत थी एयक्राफ्ट की लेकिन सरकार ने नहीं दिए. साथ ही पीएम मोदी का जिक्र करते हुए कहा था कि पीएम ने जब फोन कॉल पर मुझसे बात की तो उन्होंने भी माना की हमारी ही गलती है जो ये सब हुआ. इतना ही नहीं सत्यपाल ने ये भी कहा कि पीएम ने उनसे किसी से भी इस विषय के बारे में कुछ ना कहने के लिए कहा था. सत्यपाल ने कहा कि तभी मुझे समझ में आ गया था कि अब पुलवामा हादसे का पूरा ठीकरा पाकिस्तान पर ही फोड़ दिया जाएगा. जिससे लोकसभा चुनाव में फायदा लिया जाएगा.