नूंह: मेवात स्वास्थ्य विभाग की टीम ने आगरा के प्रिया हॉस्पिटल पर छापा (PCPNDT raids at Priya Hospital in Agra) मार कर गर्भपात कराने वाली महिला चिकित्सा सहित 5 लोगों को गिरफ्तार किया, जबकि दो आरोपी फरार हो गए. मेवात स्वास्थ विभाग को आगरा के अस्पताल में कन्या भ्रूण भी मिला है. यह जानकारी डॉक्टर अरविंद कुमार नोडल अधिकारी पीसीएनडीटी ने दी. उन्होंने बताया कि उन्हें गुप्त सूचना मिली थी कि आगरा के ट्रांस यमुना कॉलोनी स्थित प्रिया हॉस्पिटल संचालक डॉ. राजीव कुमार गर्भवती महिलाओं का गर्भपात कराता है, जिसके बाद नूंह स्वास्थ्य विभाग ने डमी गर्भवती महिला के साथ एक टीम तैयार कर अस्पताल में छापेमारी की.
डिप्टी सिविल सर्जन डॉ. अरविंद ने कहा कि गर्भवती के गर्भस्थ में शिशु बेटा है या बेटी यह बताने के लिए 40 हजार रुपये में बात बन गई. दलाल ने पहले ही ₹20000 ऑनलाइन पेमेंट कराई, उसके बाद अस्पताल पहुंचने पर ₹20000 कैश ले लिए. स्वास्थ्य विभाग की डमी गर्भवती महिला का लिंग परीक्षण कराने पर लड़का बताया गया. आगरा पुलिस की मौजूदगी में स्वास्थ विभाग की टीम और आगरा स्वास्थ्य विभाग की टीम मौजूद थी. जांच के दौरान ₹10000 दलाल से मौके पर बरामद कर लिए गए.
इसके साथ ही दलाल द्वारा डॉक्टर को दिए गए 10 हजार रुपये भी बाथरूम से बरामद कर लिए गए. वहीं, पीएनडीटी ने अस्पताल में जांच पड़ताल की तो पहले से ही मौजूद गर्भवती महिला का डस्टबिन में कन्या भ्रूण मिला. कार्रवाई के दौरान यूपी-हरियाणा की टीम के साथ स्थानीय पुलिस की टीम मौजूद रही. पुलिस ने 7 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है.
बता दें कि यह पहला मामला नहीं है जब इस अस्पताल प्रबंधन के खिलाफ कार्रवाई की गई है. दरअसल इससे पहले 2016 में भी प्रिया हॉस्पिटल में पीसीपीएनडीटी की टीम (PCPNDT team at Priya Hospital) ने डमी को साथ ले जाकर छापा मारा था. प्रिया हास्पिटल के संचालक डॉ. राजीव कुमार सहित तीन को लिंग परीक्षण करते हुए पकड़ा था.
बता दें कि, एत्माद्दौला थाना क्षेत्र के ट्रांस यमुना कॉलोनी फेस टू में स्थित प्रिया हॉस्पिटल पर हरियाणा की स्वास्थ्य विभाग की टीम ने गर्भपात की सूचना पर छापा मारा. टीम को पहले से ही अस्पताल में गर्भपात कराए जाने की सूचनाएं मिल रही थी. हरियाणा के जिला नूंह के डिप्टी सिविल सर्जन डॉ. अरविंद और डॉ. आशीष सिंगला के नेतृत्व में टीम ने डमी मरीज के अस्पताल में स्टिंग के लिए भेजा. जहां डॉक्टर से गर्भपात की बात की गई. डॉ राजीव कुमार ने डमी मरीज को गर्भपात के लिए 40,000 रुपये बताए. जैसे ही मरीज ने डॉक्टर को पैसे मुहैया कराए, वैसे बाहर इंतजार में खड़ी टीम ने पैसे के साथ डॉक्टर को धर दबोचा.
डॉक्टर को जैसे ही पता चला कि यह पेशेंट नहीं बल्कि हरियाणा की टीम है और स्टिंग ऑपरेशन करने आई है. डॉक्टर के हाथ पांव फूल गए और अपने हाथ में पकड़े हुए 10,000 रुपये डॉक्टर ने वॉशबेसिन के पाइप में डालने की कोशिश की. लेकिन टीम के साथ मौजूद पुलिस ने वह पैसे अपने कब्जे में ले लिए.
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