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लॉकडाउन को हुआ एक साल, आम आदमी की जिंदगी में आए ये बड़े बदलाव - जनता कर्फ्यू एक साल

देश में लगे लॉकडाउन की वजह से लोगों को काफी तकलीफें झेलनी पड़ी. कुरुक्षेत्र में लोगों ने बताया कि लॉकडाउन की वजह से ना सिर्फ मजदूरों को बल्कि बच्चों और खिलाड़ियों को भी काफी तकलीफें झेलनी पड़ी.

kurukshetra people opinion on one year of lockdown in country
कुरुक्षेत्र लोग लॉकडाउन एक साल
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Published : Mar 23, 2021, 12:06 PM IST

कुरुक्षेत्र: करोना के चलते लगे गए लॉकडाउन को एक साल बीत चुका है. एक साल पहले आज ही के दिन देश के प्रधानमंत्री ने पूरे देश में संपूर्ण लॉकडाउन की घोषणा की थी. जिसके बाद सब कुछ बदल गया. जिनके पास अपने साधन-संसाधन थे. उनके जीवन तो चलता रहा, लेकिन गरीब वर्ग और मजदूर वर्ग को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा.

ये भी पढ़ें: 'मैं लॉकडाउन के पक्ष में नहीं, लेकिन सख्ती से लागू होंगे कोरोना के नियम'

देश में लगे संपूर्ण लॉकडाउन की वजह से एक तरफ जहां लोगों के काम धंधे चौपट हो गए. वहीं उद्योग-धंधे भी खत्म हो गए. कई लाख लोगों को अपनी नौकरी गंवानी पड़ी. इसी को लेकर ईटीवी भारत की टीम ने लोगों से बात की कि उन्हें लॉक डाउन के बाद क्या-क्या बदलाव नजर आए.

लॉकडाउन को हुए एक साल, आम आदमी की जिंदगी में आए ये बड़े बदलाव

लोगों ने बताया जिस तरह से एक साल पहले शादी-विवाह में सब इकठ्ठे हो जाते थे. अब वो चलन नहीं रहा. अब शादी विवाह और दूसरे कार्यक्रमों में लोग जाने से परहेज करने लगे हैं और जो माहौल एक साल पहले था. आज वो बिल्कुल विपरीत है.

ये भी पढ़ें: लॉकडाउन में 50 फीसदी ही सिलेबस हुआ पूरा, छात्र परेशान, कैसे दें परीक्षा ?

अगर धार्मिक दृष्टि से अगर बात करें तो धर्म से जुड़े जो संस्थान थे. लॉक डाउन के चलते वहां भी श्रद्धालुओं की संख्या घटी है और लोगों का आना जाना कम हो गया है. वहीं खिलाड़ी और खेल जगत भी लॉग डाउन से बुरी तरह प्रभावित हुआ है. खिलाड़ियों ने बताया कि इस लॉक डाउन के चलते ना ही तो स्टेडियम खुले ओर न नर्सरी खुली. जिसके कारण वो अपने रेगुलर प्रैक्टिस नहीं कर पाए और उनका खेल बुरी तरह से प्रभावित हुआ है.

कुरुक्षेत्र: करोना के चलते लगे गए लॉकडाउन को एक साल बीत चुका है. एक साल पहले आज ही के दिन देश के प्रधानमंत्री ने पूरे देश में संपूर्ण लॉकडाउन की घोषणा की थी. जिसके बाद सब कुछ बदल गया. जिनके पास अपने साधन-संसाधन थे. उनके जीवन तो चलता रहा, लेकिन गरीब वर्ग और मजदूर वर्ग को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा.

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देश में लगे संपूर्ण लॉकडाउन की वजह से एक तरफ जहां लोगों के काम धंधे चौपट हो गए. वहीं उद्योग-धंधे भी खत्म हो गए. कई लाख लोगों को अपनी नौकरी गंवानी पड़ी. इसी को लेकर ईटीवी भारत की टीम ने लोगों से बात की कि उन्हें लॉक डाउन के बाद क्या-क्या बदलाव नजर आए.

लॉकडाउन को हुए एक साल, आम आदमी की जिंदगी में आए ये बड़े बदलाव

लोगों ने बताया जिस तरह से एक साल पहले शादी-विवाह में सब इकठ्ठे हो जाते थे. अब वो चलन नहीं रहा. अब शादी विवाह और दूसरे कार्यक्रमों में लोग जाने से परहेज करने लगे हैं और जो माहौल एक साल पहले था. आज वो बिल्कुल विपरीत है.

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अगर धार्मिक दृष्टि से अगर बात करें तो धर्म से जुड़े जो संस्थान थे. लॉक डाउन के चलते वहां भी श्रद्धालुओं की संख्या घटी है और लोगों का आना जाना कम हो गया है. वहीं खिलाड़ी और खेल जगत भी लॉग डाउन से बुरी तरह प्रभावित हुआ है. खिलाड़ियों ने बताया कि इस लॉक डाउन के चलते ना ही तो स्टेडियम खुले ओर न नर्सरी खुली. जिसके कारण वो अपने रेगुलर प्रैक्टिस नहीं कर पाए और उनका खेल बुरी तरह से प्रभावित हुआ है.

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