करनालः घरौंडा का सरकारी स्कूल इन दिनों नशे के अड्डे में बदल गया है. नशेड़ियों ने राजकीय विद्यालय में बनाई जा रही एलीमेंट्री विंग की बिल्डिंग को अपना सुरक्षित ठिकाना बना लिया है.
मेडिकल उपकरणों से नशा कर रहे युवा
स्कूल में निर्माणाधीन कमरों और खेल में मैदान में पड़े जहां-तहां नशे के इंजेक्शन और दूसरी दवाईयां इसकी गवाही दे रहे हैं और इस बात की भी तस्दीक कर रहे हैं कि युवा वर्ग किस तहर से नशे की गिरफ्त में है और कैसे मेडिकल उपकरणों और दवाईयों को नशे का जरिया बना रहे हैं.
स्कूल परिसर में इंजेक्शन और दवाईयों का ढेर
स्कूल की एलीमेंट्री विंग की बिल्डिंग नशेड़ियों का अड्डा बन गई है. जहां नशे के शिकार युवा अपने शरीर में इंजेक्शन गोदते है. कुछ ऐसा ही हाल स्कूल के प्ले ग्राउंड का भी है. जहां सैकड़ों की तादाद में इस्तेमाल किए गए सीरिंज और मेडिसन की खाली शीशियां हर तरफ बिखरी पड़ी है. स्कूल परिसर के ऐसे हालात बेहद चिंताजनक हैं, बावजूद इसके नशे के इस खेल पर रोक लगाने के लिए न तो स्कूल प्रबन्धन ने कोई कदम उठाया है और न ही प्रशासन की तरफ से कोई कार्रवाई की जा रही है.
आसानी से उपलब्ध है मेडिकल नशा
सस्ता और सुलभ होने के चलते युवा वर्ग मेडिकल नशे की तरफ बढ़ रहा है. नशे के लिए युवा आसानी से दवाईयों को मेडिकल स्टोर से खरीद लेते है. डॉक्टरों के मुताबिक इन दवाओं का इस्तेमाल एलर्जी, ड्रग रैशेज, खांसी के ईलाज व नीम बिहोशी के लिए किया जाता है. लेकिन युवा नशे के लिए इस डोज का प्रयोग कर रहे हैं और ऐसा करना उनके लिए घातक साबित हो सकता है. ऐसे में अब नगर पालिका पार्षद अब इसके लिए जागरुकता अभियान चलाने की बात कर रहे हैं.
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