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Kharmas 2023: जानिए कब से शुरू हो रहा है खरमास और खरमास के दिनों में क्यों नहीं होते हैं मांगलिक कार्य

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Published : Mar 13, 2023, 8:02 PM IST

हिंदू धर्म में खरमास में कोई भी शुभ कार्य नहीं किया जाता है. आखिर खरमास में कोई भी शुभ कार्य क्यों नहीं किया जाता है और इस साल खरमास कब से शुरू हो रहा है जानने के लिए पढ़ें पूरी खबर...(Kharmas 2023 Date)

Kharmas 2023
खरमास 2023
पंडित विश्वनाथ

करनाल: हिंदू धर्म में हिंदू पंचांग के आधार पर ही दिनों की गणना की जाती है और उन दिनों की महत्वता पंचांग के आधार पर ही बढ़ती है. पंचांग से ही हमें पता लगता है कि कौन से दिन क्या हिंदू तिथि पड़ रही है. हर त्योहार पंचांग के आधार पर ही निर्धारित किए जाते हैं. 2023 मार्च महीने में हिंदू पंचांग के आधार पर खरमास शुरू हो रहा है. खरमास की शुरुआत 15 मार्च से शुरू होगी जबकि 14 अप्रैल तक यह खरमास रहेंगे. शास्त्रों में बताया गया है कि हिंदू पंचांग के अनुसार जब सूर्य, भगवान बृहस्पति की धनु एवं मीन राशि में प्रवेश करता है, तब खरमास लगता है. ज्योतिषाचार्य के अनुसार साल में दो बार खरमास लगता है. खरमास के दिन को काफी अशुभ माना जाता है. इसलिए इन दिनों के दौरान कोई भी मांगलिक कार्य नहीं किया जाता तो आइए जानते हैं कि खरमास के दिनों में क्या करें और क्या ना करें.

कब से शरू हो रहा खरमास?: पंडित विश्वनाथ ने बताया कि मार्च 2023 के खरमास 15 मार्च को सुबह 6:33 बजे से शुरू होगा जो 14 अप्रैल 2023 को दोपहर 2:59 मिनट तक रहेगा. शास्त्रों के अनुसार जब सूर्य देव बृहस्पति की राशि धनु और मीन में प्रवेश करते हैं, उस दौरान खरमास लगता है.

खरमास में क्या न करें?: शास्त्रों में बताया गया है कि खरमास के दिनों में सूर्य अपने तेज को बृहस्पति के घर पहुंचते ही कम कर लेते हैं. इसलिए पृथ्वी पर सूर्य का प्रकाश कम हो जाता है. इसलिए इन दिनों के दौरान किसी भी प्रकार के मांगलिक कार्य नहीं किए जाते, क्योंकि सूर्य इस दौरान खुश नहीं होता. शास्त्रों में बताया गया है कि खरमास के दिनों में किसी भी प्रकार का मुंडन, संस्कार, विवाह, गृह प्रवेश या कोई भी शुभ कार्य की शुरुआत नहीं की जाती. इन दिनों के दौरान अगर इंसान धार्मिक कार्य करें तो उसको सुख समृद्धि और पुण्य की प्राप्ति होती है.

खरमास के दिनों में करें ये काम: शास्त्रों के अनुसार खरमास के दिन शुरू होते ही मनुष्य सुबह उठकर स्नान कर लेने चाहिए. उसके बाद भगवान की पूजा अर्चना करनी चाहिए. माना जाता है कि खरमास के दिनों में भगवान विष्णु की पूजा करने से पुण्य की प्राप्ति होती है. भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना करने के दौरान पीले वस्त्र धारण करके पूजा अर्चना करते हैं तो उसका और महत्व बढ़ जाता है. मान्यता है कि ऐसा करने से मनुष्य पर आए हुए सारे संकट दूर हो जाते हैं और घर में सुख समृद्धि बनी रहती है.

वहीं, शास्त्रों में बताया गया है कि खरमास के दिनों में भगवान सूर्य की पूजा करने से जातकों की कुंडली में सूर्य देव की स्थिति पहले से ज्यादा मजबूत हो जाती है. खरमास के दिनों में ब्राह्मणों को भोजन कराने और दान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है. शास्त्रों में बताया गया है कि खरमास के दिनों में तुलसी पूजन करना चाहिए और घर में घी का दीपक जलाना चाहिए. समाज के दिनों में भगवान शिव की पूजा करने एवं पवित्र नदियों में स्नान करने के बाद दान करने से मनुष्य के कई दोष दूर हो जाते हैं. इन दिनों में आपको भगवान के पाठ या मंत्र जाप करना चाहिए.

ये भी पढ़ें: Weekly Horoscope : जानिए कैसा बीतेगा सप्ताह, साप्ताहिक राशिफल के विशेष उपाय से बनेगी बिगड़ी बात

पंडित विश्वनाथ

करनाल: हिंदू धर्म में हिंदू पंचांग के आधार पर ही दिनों की गणना की जाती है और उन दिनों की महत्वता पंचांग के आधार पर ही बढ़ती है. पंचांग से ही हमें पता लगता है कि कौन से दिन क्या हिंदू तिथि पड़ रही है. हर त्योहार पंचांग के आधार पर ही निर्धारित किए जाते हैं. 2023 मार्च महीने में हिंदू पंचांग के आधार पर खरमास शुरू हो रहा है. खरमास की शुरुआत 15 मार्च से शुरू होगी जबकि 14 अप्रैल तक यह खरमास रहेंगे. शास्त्रों में बताया गया है कि हिंदू पंचांग के अनुसार जब सूर्य, भगवान बृहस्पति की धनु एवं मीन राशि में प्रवेश करता है, तब खरमास लगता है. ज्योतिषाचार्य के अनुसार साल में दो बार खरमास लगता है. खरमास के दिन को काफी अशुभ माना जाता है. इसलिए इन दिनों के दौरान कोई भी मांगलिक कार्य नहीं किया जाता तो आइए जानते हैं कि खरमास के दिनों में क्या करें और क्या ना करें.

कब से शरू हो रहा खरमास?: पंडित विश्वनाथ ने बताया कि मार्च 2023 के खरमास 15 मार्च को सुबह 6:33 बजे से शुरू होगा जो 14 अप्रैल 2023 को दोपहर 2:59 मिनट तक रहेगा. शास्त्रों के अनुसार जब सूर्य देव बृहस्पति की राशि धनु और मीन में प्रवेश करते हैं, उस दौरान खरमास लगता है.

खरमास में क्या न करें?: शास्त्रों में बताया गया है कि खरमास के दिनों में सूर्य अपने तेज को बृहस्पति के घर पहुंचते ही कम कर लेते हैं. इसलिए पृथ्वी पर सूर्य का प्रकाश कम हो जाता है. इसलिए इन दिनों के दौरान किसी भी प्रकार के मांगलिक कार्य नहीं किए जाते, क्योंकि सूर्य इस दौरान खुश नहीं होता. शास्त्रों में बताया गया है कि खरमास के दिनों में किसी भी प्रकार का मुंडन, संस्कार, विवाह, गृह प्रवेश या कोई भी शुभ कार्य की शुरुआत नहीं की जाती. इन दिनों के दौरान अगर इंसान धार्मिक कार्य करें तो उसको सुख समृद्धि और पुण्य की प्राप्ति होती है.

खरमास के दिनों में करें ये काम: शास्त्रों के अनुसार खरमास के दिन शुरू होते ही मनुष्य सुबह उठकर स्नान कर लेने चाहिए. उसके बाद भगवान की पूजा अर्चना करनी चाहिए. माना जाता है कि खरमास के दिनों में भगवान विष्णु की पूजा करने से पुण्य की प्राप्ति होती है. भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना करने के दौरान पीले वस्त्र धारण करके पूजा अर्चना करते हैं तो उसका और महत्व बढ़ जाता है. मान्यता है कि ऐसा करने से मनुष्य पर आए हुए सारे संकट दूर हो जाते हैं और घर में सुख समृद्धि बनी रहती है.

वहीं, शास्त्रों में बताया गया है कि खरमास के दिनों में भगवान सूर्य की पूजा करने से जातकों की कुंडली में सूर्य देव की स्थिति पहले से ज्यादा मजबूत हो जाती है. खरमास के दिनों में ब्राह्मणों को भोजन कराने और दान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है. शास्त्रों में बताया गया है कि खरमास के दिनों में तुलसी पूजन करना चाहिए और घर में घी का दीपक जलाना चाहिए. समाज के दिनों में भगवान शिव की पूजा करने एवं पवित्र नदियों में स्नान करने के बाद दान करने से मनुष्य के कई दोष दूर हो जाते हैं. इन दिनों में आपको भगवान के पाठ या मंत्र जाप करना चाहिए.

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