कैथल: हरियाणा विधानसभा का मानसून सत्र 26 अगस्त से शुरू होने वाला है. इस सत्र को लेकर विपक्ष तो तैयारी कर ही रहा है, इसके साथ ही कर्मचारी संगठन भी इस सत्र को लेकर अपनी तैयारी कर रहे हैं. इस सत्र से पहले हरियाणा कर्मचारी महासंघ ने सरकार से कई मांगे की है.
बता दें कि प्रदेश कर्मचारी महासंघ के महासचिव वीरेंद्र धनखड़ ने विपक्ष से उनकी मांगों को उठाने के लिए कहा है. उन्होंने कहा कि उनकी मांगों की तरफ सरकार तो बिल्कुल भी गंभीर नहीं है. साथ ही विपक्ष भी कर्मचारियों की मांगों की तरफ ध्यान नहीं दे रहा है.
वीरेंद्र धनखड़ ने कहा कि होने वाले मानसून सत्र के दौरान जिन ज्वलंत मांगों को लेकर हरियाणा सरकार का कर्मचारी लगातार आंदोलन करते आ रहे हैं. उन मांगों को पूरा करने के लिए हरियाणा सरकार विधानसभा में बिल लाये और उसे पास करें.
महासचिव वीरेद्र धनखड़ ने कहा कि हरियाणा का कर्मचारी वर्ग पुरानी पेंशन बहाली की मांग को लेकर लगातार संघर्ष कर रहा है. गठबधन सरकार में शामिल जननायक जनता पार्टी ने भी नई पेंशन स्कीम को कर्मचारी विरोधी बताया है. इसके अलावा उन्होंने कहा कि प्रदेश में बर्खास्त पीटीआई टीचरों की भी मांगे मानी जाए. महासंघ ने कहा कि सरकार कई विभागों का निजीकरण कर रही इससे कर्मचारियों में भय का माहौल है.
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इसको लेकर सरकार विधानसभा सत्र के दौरान बिल लाए और उसे पास करके कर्मचारियों का रोजगार और सरकारी विभागों को सुरक्षित करें. उन्होंने कहा कि रोडवेज विभाग के जो यूनियन है. उसके पदाधिकारी 2 सितंबर को परिवहन मंत्री से मिलेंगे और उसमें वे अपनी मांगों को रखेंगे. इन मांगों में हरियाणा रोडवेज में यात्री की संख्या को आधा करने को लेकर अपनी बात को रखेंगे, ताकि बस में सोशल डिस्टेंसिंग बना रहे.