हिसार: भले ही बीजेपी सरकार उकलाना हल्के में करोड़ों रुपये के विकास का दावा कर रही हो, लेकिन सच्चाई तो ये है कि उकलाना गांव लगातार सरकार और प्रशासन की अनदेखी का शिकार रहा है. गुरुवार को गांव के लोगों ने पानी की निकासी ना होने को लेकर प्रदर्शन किया.
गांव के हाई स्कूल के सामने के मुख्य रास्ते में भरे गंदे पानी की निकासी को लेकर ग्रामीणों ने प्रदर्शन किया और सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की.
ग्रामीणों ने कहा कि पहले उकलाना गांव के लोग पीने के पानी को लेकर धरना प्रदर्शन कर चुके हैं. अब वो गंदे पानी की निकासी की समस्या से जूझ रहे हैं. ग्रामीणों ने कहा कि इस को लेकर वो मुख्यमंत्री और प्रधानमंत्री को ट्वीट कर चुके हैं. इतना ही नहीं प्रशासनिक अधिकारियों को भी इस बारे में अवगत करवाया जा चुका है, लेकिन कोई समाधान नहीं हुआ.
ग्रामीण महिला ने कहा कि वहां से निकलते हुए उसकी सास को चोट लगी और उसकी बाजू टूट गई. उन्होंने सरकार से मांग की है कि इस रास्ते को ठीक करवाते हुए गंदे पानी की निकासी का प्रबंध करवाया जाए और नगर पालिका के कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाए.
ये भी पढ़ें- हरियाणा में नगर निकाय चुनाव की घोषणा, 27 दिसंबर को होगी वोटिंग
उकलाना गांव उकलाना नगर पालिका के क्षेत्र में आता है और नगर पालिका के अधिकारियों का मुख्य ध्यान उकलाना शहर तक ही सीमित है. आसपास नगर पालिका की सीमा में आने वाले गांव में सरकारी विकास कार्यों पर बहुत ही कम ध्यान दिया जाता है. जिस कारण ग्रामीण रोष में है.