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Child Pornography Case: हरियाणा से कैसे जुड़े इस मामले के तार, किस तरह ये घिनौना काम कर रहे लोग? - Child Pornography

सीबीआई (CBI) ने चाइल्ड पोर्नोग्राफी केस में (Child Pornography CBI raid) मंगलवार को 14 राज्यों में छापेमारी की. इस दौरान हरियाणा के भी 4 जिलों में सीबीआई द्वारा छापेमारी (haryana CBI raid) की गई है. आपको बताते हैं कि चाइल्ड पोर्नोग्राफी के इस मामले के तार हरियाणा (Child Pornography haryana link) से कैसे जुड़े.

Child Pornography haryana link
Child Pornography CBI raid
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Published : Nov 17, 2021, 9:25 PM IST

हिसार: केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) ने मंगलवार को इंटरनेट पर बाल यौन उत्पीड़न सामग्री के प्रसार में कथित तौर पर शामिल, 14 राज्यों के 83 लोगों से संबंधित 76 ठिकानों पर छापेमारी (Child Pornography CBI raid) शुरू की है. अधिकारियों ने बताया कि केन्द्रीय एजेंसी ने ऑनलाइन बाल यौन शोषण एवं उत्पीड़न में कथित रूप से शामिल 83 लोगों के खिलाफ 14 नवंबर को 23 अलग-अलग मामले दर्ज किए थे. सीबीआई ने आंध्र प्रदेश, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, पंजाब, बिहार, ओडिशा, तमिलनाडु, राजस्थान, महाराष्ट्र, गुजरात, हरियाणा, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश और हिमाचल प्रदेश में छापेमारी की.

इस दौरान हरियाणा के भी 4 जिलों में सीबीआई द्वारा छापेमारी (haryana CBI raid) की गई. बच्चों के अश्लील वीडियो बनाने और उन्हें शेयर करने के मामले को लेकर सीबीआई ने हरियाणा के यमुनानगर, पानीपत, सिरसा व हिसार में छापा मारा. सीबीआई ने सर्च के दौरान भारी मात्रा में इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स, मोबाइल, लैपटॉप आदि जब्त किए. सीबीआई ने हिसार के भी कई गांवों में छापेमारी की थी.

ये भी पढ़ें- चाइल्ड पोर्नोग्राफी केस में CBI ने हिसार समेत हरियाणा के 4 जिलों में की छापेमारी

चाइल्ड पोर्नोग्राफी बनाना ही नहीं देखना भी कानूनी अपराध है. चाइल्ड पोर्नोग्राफी का गोरखधंधा भारत समेत कई देशों में बड़े स्तर पर चल रहा है. एनसीआरबी के 2020 के आंकड़ों के मुताबिक हरियाणा राज्य में भी चाइल्ड पोर्नोग्राफी के 16 मामले सामने आए हैं. इसी सिलसिले में हिसार के बासड़ा, सरसाना और नहला गांव में सीबीआई की टीम ने दबिश दी. अब आपको बताते हैं कि चाइल्ड पोर्नोग्राफी के इस मामले के तार हरियाणा से कैसे जुड़े.

ग्रुप्स के जरिये चल रहा चाइल्ड पोर्नोग्राफी का गोरखधंधा- चाइल्ड पोर्नोग्राफी के गोरखधंधे के तार कई देशों से जुड़े हुए हैं. सीबीआई ने इसको लेकर बहुत से इलेक्ट्रॉनिक सबूत जुटाए हैं. देश के अलग-अलग हिस्सों में कई लोग पैसे कमाने के लालच में इस धंधे से जुड़े हुए हैं. इस तरह के नेटवर्क चलाने वाले लोगों ने उन्हें एक लॉग इन आईडी दी है जिस पर उन्हें चाइल्ड पॉर्न के लिंक्स मिलते हैं और उन्हीं लिंक्स को यह लोग ग्रुप में अन्य लोगों तक शेयर करते हैं.

ये भी पढ़ें- बाल यौन उत्पीड़न सामग्री मामला : CBI की 14 राज्यों में छापेमारी

सूत्रों के मुताबिक चाइल्ड पोर्नोग्राफी के इस मामले में सामने आया है कि हर क्षेत्र में एक व्यक्ति लॉग इन आईडी से लिंक कॉपी करके ग्रुप के लोगों तक शेयर करता है. फिर इन वीडियो लिंकस को दूसरों से भी आगे शेयर कराते हैं. दूसरों को भी इसके लिए रुपये तक देते हैं. जितनी ज्यादा शेयरिंग होती है, उतने ज्यादा पैसे मिलते हैं. ये नेटवर्क विदेश तक काम करता है.

आईपी एड्रेस ट्रेस कर हिसार पहुंची सीबीआई- हिसार के बासड़ा गांव का निवासी सत्कार सिंह भी इसी की एक कड़ी से जुड़ा हुआ था. सीबीआई ने इसी सिलसिले में सत्कार सिंह के आईपी एड्रेस को ट्रेस करते हुए उससे पूछताछ की और उसके लैपटॉप, मोबाइल व अन्य कई इलेक्ट्रॉनिक्स गेजेट्स को कब्जे में लिया. सीबीआई पूछताछ में सत्कार सिंह ने कबूल किया कि उसे एक लॉग इन आईडी दी गई थी और उसी आईडी पर उसे लिंक मिलते थे. उन्हीं लिंक को वह ग्रुप्स में शेयर करता था.

ये भी पढ़ें- आपत्तिजनक इंटरनेट सामग्री से निपटने के लिए कानूनी तंत्र जरूरी : जस्टिस ललित

ग्रुप से जुड़े एक अन्य युवक से भी पूछताछ के लिए सीबीआई सत्कार सिंह को पास के ही गांव सरसाना में उसके घर लेकर गई और उसके पास से फोन और सिम कार्ड जब्त किए. दोनों से पूछताछ के बाद सीबीआई ने सत्कार सिंह को छोड़ दिया. इसके बाद सीबीआई टीम ने हिसार की सीमा पर लगते गांव नहला में भी एक युवक परवीन के घर पर छापेमारी की. सीबीआई टीम ने बंद कमरे में उक्त युवक से पूछताछ की और उसके मोबाइल फोन और कंप्यूटर को कब्जे में लिया. सीबीआई टीम ने हिसार के बासड़ा गांव के सत्कार व नहला गांव के प्रवीण पर 120बी व आईटी एक्ट की धारा 67बी के तहत एफआईआर भी दर्ज की है.

सीबीआई जांच में ये बात भी सामने आई है कि चाइल्ड सेक्सुअल एक्सप्लॉयटेशन मैटेरियल (CSEM) की ट्रेडिंग में बहुत से व्यक्तिगत लोग शामिल हैं. जांच में सामने आया है कि 50 से ज्यादा ग्रुप और हजारों अपराधी चाइल्ड सेक्सुअल मैटेरियल शेयर करने में संलिप्त हैं. इन ग्रुपों में से अधिकतर में विदेशी नागरिक भी शामिल हैं. पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट ने भी इंटरनेट के जरिए तेजी से फैल रहे चाइल्ड पोर्नोग्राफी के कारोबार पर चिंता जताई थी. हालांकि भारत में पोर्न वेबसाइट को बैन किया गया है, लेकिन फिर भी VPN समेत अनेकों ऐसे तरीके हैं जिनके जरिए यह वेबसाइट चलाई जा सकती हैं.

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हिसार: केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) ने मंगलवार को इंटरनेट पर बाल यौन उत्पीड़न सामग्री के प्रसार में कथित तौर पर शामिल, 14 राज्यों के 83 लोगों से संबंधित 76 ठिकानों पर छापेमारी (Child Pornography CBI raid) शुरू की है. अधिकारियों ने बताया कि केन्द्रीय एजेंसी ने ऑनलाइन बाल यौन शोषण एवं उत्पीड़न में कथित रूप से शामिल 83 लोगों के खिलाफ 14 नवंबर को 23 अलग-अलग मामले दर्ज किए थे. सीबीआई ने आंध्र प्रदेश, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, पंजाब, बिहार, ओडिशा, तमिलनाडु, राजस्थान, महाराष्ट्र, गुजरात, हरियाणा, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश और हिमाचल प्रदेश में छापेमारी की.

इस दौरान हरियाणा के भी 4 जिलों में सीबीआई द्वारा छापेमारी (haryana CBI raid) की गई. बच्चों के अश्लील वीडियो बनाने और उन्हें शेयर करने के मामले को लेकर सीबीआई ने हरियाणा के यमुनानगर, पानीपत, सिरसा व हिसार में छापा मारा. सीबीआई ने सर्च के दौरान भारी मात्रा में इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स, मोबाइल, लैपटॉप आदि जब्त किए. सीबीआई ने हिसार के भी कई गांवों में छापेमारी की थी.

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चाइल्ड पोर्नोग्राफी बनाना ही नहीं देखना भी कानूनी अपराध है. चाइल्ड पोर्नोग्राफी का गोरखधंधा भारत समेत कई देशों में बड़े स्तर पर चल रहा है. एनसीआरबी के 2020 के आंकड़ों के मुताबिक हरियाणा राज्य में भी चाइल्ड पोर्नोग्राफी के 16 मामले सामने आए हैं. इसी सिलसिले में हिसार के बासड़ा, सरसाना और नहला गांव में सीबीआई की टीम ने दबिश दी. अब आपको बताते हैं कि चाइल्ड पोर्नोग्राफी के इस मामले के तार हरियाणा से कैसे जुड़े.

ग्रुप्स के जरिये चल रहा चाइल्ड पोर्नोग्राफी का गोरखधंधा- चाइल्ड पोर्नोग्राफी के गोरखधंधे के तार कई देशों से जुड़े हुए हैं. सीबीआई ने इसको लेकर बहुत से इलेक्ट्रॉनिक सबूत जुटाए हैं. देश के अलग-अलग हिस्सों में कई लोग पैसे कमाने के लालच में इस धंधे से जुड़े हुए हैं. इस तरह के नेटवर्क चलाने वाले लोगों ने उन्हें एक लॉग इन आईडी दी है जिस पर उन्हें चाइल्ड पॉर्न के लिंक्स मिलते हैं और उन्हीं लिंक्स को यह लोग ग्रुप में अन्य लोगों तक शेयर करते हैं.

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सूत्रों के मुताबिक चाइल्ड पोर्नोग्राफी के इस मामले में सामने आया है कि हर क्षेत्र में एक व्यक्ति लॉग इन आईडी से लिंक कॉपी करके ग्रुप के लोगों तक शेयर करता है. फिर इन वीडियो लिंकस को दूसरों से भी आगे शेयर कराते हैं. दूसरों को भी इसके लिए रुपये तक देते हैं. जितनी ज्यादा शेयरिंग होती है, उतने ज्यादा पैसे मिलते हैं. ये नेटवर्क विदेश तक काम करता है.

आईपी एड्रेस ट्रेस कर हिसार पहुंची सीबीआई- हिसार के बासड़ा गांव का निवासी सत्कार सिंह भी इसी की एक कड़ी से जुड़ा हुआ था. सीबीआई ने इसी सिलसिले में सत्कार सिंह के आईपी एड्रेस को ट्रेस करते हुए उससे पूछताछ की और उसके लैपटॉप, मोबाइल व अन्य कई इलेक्ट्रॉनिक्स गेजेट्स को कब्जे में लिया. सीबीआई पूछताछ में सत्कार सिंह ने कबूल किया कि उसे एक लॉग इन आईडी दी गई थी और उसी आईडी पर उसे लिंक मिलते थे. उन्हीं लिंक को वह ग्रुप्स में शेयर करता था.

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ग्रुप से जुड़े एक अन्य युवक से भी पूछताछ के लिए सीबीआई सत्कार सिंह को पास के ही गांव सरसाना में उसके घर लेकर गई और उसके पास से फोन और सिम कार्ड जब्त किए. दोनों से पूछताछ के बाद सीबीआई ने सत्कार सिंह को छोड़ दिया. इसके बाद सीबीआई टीम ने हिसार की सीमा पर लगते गांव नहला में भी एक युवक परवीन के घर पर छापेमारी की. सीबीआई टीम ने बंद कमरे में उक्त युवक से पूछताछ की और उसके मोबाइल फोन और कंप्यूटर को कब्जे में लिया. सीबीआई टीम ने हिसार के बासड़ा गांव के सत्कार व नहला गांव के प्रवीण पर 120बी व आईटी एक्ट की धारा 67बी के तहत एफआईआर भी दर्ज की है.

सीबीआई जांच में ये बात भी सामने आई है कि चाइल्ड सेक्सुअल एक्सप्लॉयटेशन मैटेरियल (CSEM) की ट्रेडिंग में बहुत से व्यक्तिगत लोग शामिल हैं. जांच में सामने आया है कि 50 से ज्यादा ग्रुप और हजारों अपराधी चाइल्ड सेक्सुअल मैटेरियल शेयर करने में संलिप्त हैं. इन ग्रुपों में से अधिकतर में विदेशी नागरिक भी शामिल हैं. पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट ने भी इंटरनेट के जरिए तेजी से फैल रहे चाइल्ड पोर्नोग्राफी के कारोबार पर चिंता जताई थी. हालांकि भारत में पोर्न वेबसाइट को बैन किया गया है, लेकिन फिर भी VPN समेत अनेकों ऐसे तरीके हैं जिनके जरिए यह वेबसाइट चलाई जा सकती हैं.

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