गुरुग्राम: साइबर सिटी में ऑक्सीजन सप्लाई नहीं होने के चलते निजी अस्पताल को अपने कोविड सेंटर को बंद करने की नौबत आन पड़ी. इसी के चलते अस्पताल प्रवंधन ने संक्रमित मरीजों को कही और चले जाने जैसा फरमान सुना डाला.
जरूरत से कम मिले रहा ऑक्सीजन- डॉक्टर कथूरिया
अस्पताल संचालक डॉक्टर अशोक कथूरिया की माने तो ऑक्सीजन की सप्लाई उनके लिए चुनौती बनती जा रही है. उनके यहां तकरीबन 18 कोरोना संक्रमित मरीज भर्ती हैं. इनके लिए हर रोज तकरीबन 40 ऑक्सीजन सिलेंडर की जरूरत पड़ती है, लेकिन उन्हें 25 से 30 सिलेंडर मिल रहे हैं. जिससे यहां भर्ती मरीजों की जान पर फिर से खतरा मंडराने लगा है.
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बता दें कि, यह वही कथूरिया अस्पताल है जिसमे बीती 25 अप्रैल को ऑक्सीजन सप्लाई खत्म होने के चलते 4 मरीजों की मौत के बाद जिला प्रशासन को फजीहत झेलनी पड़ी थी. प्रशासन ने अस्पताल के खिलाफ मजिस्ट्रेट जांच के आदेश भी जारी कर दिए गए थे.
हर अस्पताल का एक ही हाल
ऐसा नहीं है कि सिर्फ कथूरिया अस्पताल को ही ऑक्सीजन सप्लाई की कमी का खामियाजा भुगतना पड़ रहा हो, शहर के कई और अस्पताल जिसमें सिविल लाइन्स का पुष्पांजलि अस्पताल भी शामिल है जहां सुबह ऑक्सीजन सप्लाई खत्म होने से कुछ देर पहले ही अस्पताल प्रबंधन ने संक्रमित मरीजों के परिजनों पर मरीजों को किसी और जगह ले जाने का दबाव डालना शुरू कर दिया.
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पुलिस लेकर पहुंची ऑक्सीजन सिलेंडर, खुलवाया जाम
पुष्पांजलि अस्पताल के बाहर भी मरीजों के गुस्साए परिजनों ने जाम लगा धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया. नाराज परिजनों ने नगर निगम कमिश्नर के सरकारी आवास का घेराव कर खूब विरोध जताया. जिसके बाद गुरुग्राम पुलिस अस्पताल में तकरीबन 12/14 ऑक्सीजन सिलेंडर लेकर पहुंची और जाम खुलवाया. ऐसी ही कमोबेश स्थिति तीरथराम अस्पताल की भी बनी हुई है, जहां महज कुछ घंटे की ऑक्सीजन बची है और यहां भर्ती मरीजों की जान सांसत में आई हुई है.
बदहाल व्यवस्था, मौतों का आंकड़ा बढ़ा
वहीं शहर को बदहाल स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर जहां लोगों में गुस्सा बढ़ता जा रहा है तो वहीं अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी, बेड नहीं मिलने के चलते मौतों का आंकड़ा भी लगातार बढ़ता जा रहा है. ऐसे में जिला प्रशासन कब तक अस्पतालों में ऑक्सीजन की सप्लाई को सुनिश्चित कर पाता है देखने वाली बात होगी.
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