फतेहाबाद: कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों ने आगामी 26 नवंबर को दिल्ली कूच करने का फैसला लिया है. किसानों का ये आंदोलन को अभी से दबाने के लिए पुलिस ने किसान नेताओं के घर पर दबिश देना शुरू कर दिया है. फतेहाबाद में किसानों के दिल्ली कूच से पहले हरियाणा पुलिस ने देर रात किसान नेताओं के घर पर दबिश दी.
किसान नेता के घर पर पुलिस की दबिश
फतेहाबाद में किसान संघर्ष समिति के संयोजक मनदीप नथवान के घर पर पुलिस ने छापेमारी छापेमारी की. इस दौरान किसान नेता अपने घर पर नहीं थे. किसान नेता मनदीप नथवान ने पुलिस कार्रवाई को लेकर एक वीडियो भी जारी किया है. इसमें उन्होंने कहा है कि किसानों के दिल्ली कूच को कमजोर करने के लिए पुलिस किसान नेताओं को गिरफ्तार कर रही है. इसके विरोध में किसान सीएम और पीएम का पुतला जलाए.
देर रात की छापेमारी
बता दें कि 26 नवंबर को दिल्ली घेराव से पहले देर रात पुलिस ने किसान नेताओं के घर पर छापेमारी की. फतेहाबाद में किसान संघर्ष समिति के संयोजक मनदीप नथवान के घर पर रात 1 बजे पुलिस ने छापेमारी की. हालांकि मनदीप नथवान घर पर नहीं मिले. इसके बाद अब किसान नेता के द्वारा वीडियो जारी कर पुलिस की इस कार्रवाई को लेकर सभी गांव के किसानों से पीएम और सीएम के पुतले जलाने की अपील की गई है.
किसान नेता ने की ये अपील
वीडियो जारी कर मनदीप नथवान ने कहा कि दिल्ली कूच से पहले पुलिस के द्वारा सभी किसान नेताओं को हिरासत में लिया जा रहा है. रात 1 बजे उनके घर पर भी पुलिस ने छापेमारी की है. आज यानी 24 नवंबर को दिल्ली कूच के लिए किसानों की मीटिंग होनी थी. इसी के चलते पुलिस द्वारा ये कार्रवाई की गई है. इस कार्रवाई के विरोध में किसान नेता ने गांव स्तर पर सभी लोगों से पीएम और सीएम के पुतले जलाने की अपील की. किसान नेता ने कहा कि दिल्ली का घेराव जरूर होगा.
इससे पहले किसान संघर्ष समिति के संयोजक मनदीप नथवान ने कहा था कि 100 से अधिक ट्रैक्टर ट्रॉली सवार किसान दिल्ली की तरफ कूच करेंगे. रास्ते में अगर सरकार ने रोकने की कोशिश की तो वहीं पर मेन हाईवे को जाम कर दिया जाएगा. उन्होंने कहा था कि ये आंदोलन आर-पार की लड़ाई का होगी. वहीं सोनीपत के गोहाना में पुलिस ने बीकेयू के बड़े किसानों को गिरफ्तार किया है.
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चढूनी ने दिया था ये संदेश
गौरतलब है कि इससे पहले भारतीय किसान यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढूनी ने भी एक वीडियो जारी किया था. इस दौरान उन्होंने कहा था कि सरकार और पुलिस चाहे कितान भी किसानों के आंदोलन को दबाने की कोशिश करे हमें हार नहीं माननी है. सरकार आंदोलन को कमजोर करने के लिए कुछ भी करे हमें डटे रहना है. उन्होंने कहा था कि किसी भी हालात में आंदोलन कमजोर नहीं होना चाहिए. हर किसान प्रधान की भूमिका निभाएगा.