फरीदाबाद: निकिता के 21वें जन्मदिन पर परिजनों ने शनिवार रात को प्रार्थना सभा का आयोजन किया. साथ ही एक कैंडल मार्च भी निकाला. सभा और मार्च में सर्व समाज के लोग जुटे, जिन्होंने पीड़िता के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करते हुए हत्या आरोपियों को फांसी देने की मांग की. इस मौके पर परिजनों ने कहा कि हत्या आरोपियों के कारण उनकी बहादुर बेटी इस दुनिया में नहीं है.
हत्यारों ने उनके सारे सपने चकनाचूर कर दिए. हत्यारों को फांसी की सजा मिलनी चाहिए. निकिता के पिता मूलचंद तोमर ने कहा कि हत्यारों ने उनकी बहादुर बेटी को मौत के घाट उतारकर अपनी हैवानियत का परिचय दिया. ऐसे हत्यारों को समाज में जीने का कोई हक नहीं है. भाई नवीन तोमर, मामा एदल सिंह रावत एडवोकेट, हुकुम सिंह तोमर समेत परिवार के अन्य सदस्यों ने हत्यारों के खिलाफ नारेबाजी करते हुए उन्हें फांसी दिए जाने की मांग की.
निकिता तोमर हत्याकांड
फरीदाबाद में रह रहे मूल रूप से उत्तर प्रदेश के हापुड़ निवासी परिवार की 21 साल की बेटी निकिता बी.कॉम थर्ड ईयर की छात्रा थी. 26 अक्टूबर को बल्लभगढ़ के अग्रवाल कॉलेज से पेपर देकर जब वो बाहर निकली तो गोली मारकर उसकी हत्या कर दी गई.
मामले के अनुसार, इकतरफा प्यार में नूंह से कांग्रेस विधायक आफताब अहमद का चचेरा भाई तौसीफ निकिता का अपहरण करना चाहता था. दोस्त रेहान की मदद से उसके कॉलेज के बाहर से निकिता का अपहरण करने की कोशिश की, लेकिन निकिता ने विरोध किया तो तौसीफ ने उसे गोली मार दी.
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हत्याकांड की जांच के लिए सरकार ने स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम गठित की. एसआईटी ने 11 दिनों में जांच प्रक्रिया पूरी करके चार्जशीट कोर्ट में पेश कर दी. अब अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश सरताज बासवाना की कोर्ट में मामला का ट्रायल चल रहा है.