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चरखी दादरी: गांव दातोली के ग्रामीणों ने मतदान का किया बहिष्कार, खाली पड़े हैं बूथ

चरखी दादरी जिले के गांव दातोली में ग्रामीणों ने चुनाव बहिष्कार किया है. गांव में बने बूथ पूरी तरह से खाली पड़े हैं. कोई भी ग्रामीण वोट डालने नहीं गया है. जानिए क्या है वजह ?

चरखी दादरी
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Published : Oct 21, 2019, 3:24 PM IST

चरखी दादरी: जिले के दातोली गांव में पिछले 35 वर्षों से पेयजल संकट झेल रहे ग्रामीणों ने पंचायत कर मतदान बहिष्कार करने का फैसला लिया है. गांव में पोलिंग पार्टियां पहुंची, अधिकारी पहुंचे लेकिन अब तक कोई भी ग्रामीण मतदान करने नहीं गया. हालांकि प्रशासनिक अधिकारियों ने ग्रामीणों को आश्वासन भी दिया. बावजूद इसके ग्रामीणों द्वारा मतदान का पूर्ण रूप से बहिष्कार किया गया है.

ग्रामीणों ने किया चुनाव का बहिष्कार
बता दें कि गांव दातोली के सरपंच दयानंद की अध्यक्षता में पिछले दिनों पंचायत आयोजित कर मतदान का बहिष्कार करने का फैसला लिया गया था. पंचायत में स्पष्ट किया गया था कि गांव का कोई भी नागरिक वोट नहीं डालेगा, क्योंकि उनके गांव में पेयजल की समस्या है और अभी तक प्रशासन और सरकार ने उनके लिए कोई समाधान नहीं किया है.

गांव दातोली के ग्रामीणों ने मतदान का किया बहिष्कार, देखें वीडियो

ये भी पढ़ें- अंबाला में पहली बार मतदान करने निकले युवा, बोले- सूझबूझ के साथ देना चाहिए वोट

बूथ केंद्रों के बाहर ग्रामीणों का धरना
गांव का जलघर और जोहड़ सूखे पड़े होने से उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. मतदान का समय शुरू होने के पहले ही ग्रामीणों ने सरपंच दयानंद की अगुवाई में बूथ केंद्रों के बाहर धरना दिया और बहिष्कार जारी रखा.

लोकसभा चुनाव में भी किया था बहिष्कार
ग्रामीणों ने बताया कि लोकसभा चुनाव के समय भी गांव की पंचायत द्वारा मतदान का बहिष्कार किया गया था. उस समय सीएम द्वारा आश्वासन दिया था कि पेयजल समस्या का समाधान हो जाएगा. बावजूद इसके उनके गांव की पेयजल समस्या का समाधान नहीं हुआ. हालांकि प्रशासन द्वारा ग्रामीणों को समझाने का भी प्रयास किया गया, लेकिन गांव की पंचायत द्वरा लिए गए फैसले अनुसार कोई भी ग्रामीण मतदान करने नहीं पहुंचा.

ये भी पढ़ें- 'जेजेपी 55 से ज्यादा सीटें लेकर बनाएगी पूर्ण बहुमत की सरकार, कल होगा नया सवेरा'

चरखी दादरी: जिले के दातोली गांव में पिछले 35 वर्षों से पेयजल संकट झेल रहे ग्रामीणों ने पंचायत कर मतदान बहिष्कार करने का फैसला लिया है. गांव में पोलिंग पार्टियां पहुंची, अधिकारी पहुंचे लेकिन अब तक कोई भी ग्रामीण मतदान करने नहीं गया. हालांकि प्रशासनिक अधिकारियों ने ग्रामीणों को आश्वासन भी दिया. बावजूद इसके ग्रामीणों द्वारा मतदान का पूर्ण रूप से बहिष्कार किया गया है.

ग्रामीणों ने किया चुनाव का बहिष्कार
बता दें कि गांव दातोली के सरपंच दयानंद की अध्यक्षता में पिछले दिनों पंचायत आयोजित कर मतदान का बहिष्कार करने का फैसला लिया गया था. पंचायत में स्पष्ट किया गया था कि गांव का कोई भी नागरिक वोट नहीं डालेगा, क्योंकि उनके गांव में पेयजल की समस्या है और अभी तक प्रशासन और सरकार ने उनके लिए कोई समाधान नहीं किया है.

गांव दातोली के ग्रामीणों ने मतदान का किया बहिष्कार, देखें वीडियो

ये भी पढ़ें- अंबाला में पहली बार मतदान करने निकले युवा, बोले- सूझबूझ के साथ देना चाहिए वोट

बूथ केंद्रों के बाहर ग्रामीणों का धरना
गांव का जलघर और जोहड़ सूखे पड़े होने से उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. मतदान का समय शुरू होने के पहले ही ग्रामीणों ने सरपंच दयानंद की अगुवाई में बूथ केंद्रों के बाहर धरना दिया और बहिष्कार जारी रखा.

लोकसभा चुनाव में भी किया था बहिष्कार
ग्रामीणों ने बताया कि लोकसभा चुनाव के समय भी गांव की पंचायत द्वारा मतदान का बहिष्कार किया गया था. उस समय सीएम द्वारा आश्वासन दिया था कि पेयजल समस्या का समाधान हो जाएगा. बावजूद इसके उनके गांव की पेयजल समस्या का समाधान नहीं हुआ. हालांकि प्रशासन द्वारा ग्रामीणों को समझाने का भी प्रयास किया गया, लेकिन गांव की पंचायत द्वरा लिए गए फैसले अनुसार कोई भी ग्रामीण मतदान करने नहीं पहुंचा.

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Intro:गांव दातोली के ग्रामीणों ने मतदान का किया बहिष्कार, खाली पड़े हैं बूथ
: पेयजल संकट को लेकर ग्रामीणों का मतदान बहिष्कार जारी रहेगा
: लोकसभा चुनाव में भी ग्रामीणों ने नहीं डाले थे वोट
चरखी दादरी : जिले के गांव दातोली में पिछले 35 वर्षों से पेयजल संकट झेल रहे ग्रामीणों द्वारा पंचायत कर मतदान बहिष्कार किया गया। गांव में पोलिंग पार्टियां पहुंची, अधिकारी पहुंचे लेकिन अब तक कोई भी ग्रामीण मतदान करने नहीं गया। हालांकि प्रशासनिक अधिकारियों ने ग्रामीणों को आश्वासन भी दिया। बावजूद इसके ग्रामीणों द्वारा मतदान का पूर्ण रूप से बहिष्कार किया गया है। गांव की पंचायत द्वारा लोकसभा चुनाव के दौरान भी मतदान का बष्किार किया था।Body:बता दें कि गांव दातोली के सरपंच दयानंद की अध्यक्षता में पिछले दिनों पंचायत आयोजित कर मतदान का बहिष्कार करने का फैसला लिया गया था। पंचायत में स्पष्ट किया गया था कि गांव का कोई भी नागरिक वोट नहीं डालेगा। क्योंकि उनके गांव में पेयजल समस्या का समाधान करने के लिए अधिकारियों से लेकर जनप्रतिनिधियों तक अवगत करवा चुके हैं। गांव का जलघर व जोहड़ सूखे पड़े होने से उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। मतदान का समय शुरू होने से पूर्व ही ग्रामीणों ने सरपंच दयानंद की अगुवाई में बूथ केंद्रों के बाहर धरना दिया और बहिष्कार जारी रखा। ग्रामीणों ने बताया कि लोकसभा चुनाव के समय भी गांव की पंचायत द्वारा मतदान का बहिष्कार किया गया था। उस समय सीएम द्वारा आश्वासन दिया था कि पेयजल समस्या का समाधान हो जाएगा। बावजूद इसके उनके गांव की पेयजल समस्या का समाधान नहीं हुआ। हालांकि प्रशासन द्वारा ग्रामीणों को समझाने का भी प्रयास किया गया। लेकिन गांव की पंचायत द्वारा लिए फैसले अनुसार कोई भी ग्रामीण मतदान करने नहीं पहुंचा।
विजवल:- 1
गांव दातोली में बनाए मतदान केंद्र, तैनात सुरक्षाकर्मी, वोटरों का इंतजार करने पोलिंग कर्मी व मतदान केंद्रों के बाहर बैठे ग्रामीणों के कट शाटस
बाईट:- 2
कपूर सिंह, ग्रामीण
बाईट:- 3
दयानंद, सरपंचConclusion:
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