चंडीगढ़: आज फादर्स डे है. फादर्स डे के खास मौके पर हम आपको एक ऐसे पिता की कहानी बताने जा रहे हैं, जिन्होंने अपने सपने को अपनी बेटियों के ज़रिए पूरा किया. इन्होंने अपनी ज़िंदगी अपनी बेटियों के नाम कर दी और आज इनकी बेटियां पूरी दुनिया में भारत का नाम ऊंचा कर रही हैं. हम बात कर रहे हैं द्रोणाचार्य अवार्डी महावीर (mahavir phogat) फोगाट की.
पहले जान लीजिए कौन हैं महावीर फोगाट
महावीर फोगाट हरियाणा के भिवानी जिले के रहने वाले हैं. महावीर फोगाट भी पहलवान रह चुके हैं. बाद में महावीर कुश्ती के कोच बन गए. उनके पिता मान सिंह भी पहलवान थे. महावीर और उनकी पत्नी दया कौर के पांच बच्चे हैं. बेटियां गीता, बबीता, रितु, संगीता और छोटा बेटा दुष्यंत. महावीर के भाई राजपाल की बेटियों प्रियंका और विनेश को उनके पिता की मृत्यु के बाद महावीर ने ही पाला था.
![mahavir phogat and phogat sisters story of success on fathers day 2021](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/12197867_dcbeee.jpg)
साल 2000 में लिया कुश्ती सिखाने का फैसला
महिलाओं के प्रति हरियाणा में रूढ़िवादी सोच का काफी प्रभाव रहा है. खासकर गांवों में ये बात बिल्कुल पसंद नहीं की जाती थी कि कोई महिला कुश्ती जैसे खेल खेले, लेकिन महावीर की सोच काफी अलग थी. दूरदर्शी सोच के महावीर फोगाट ने अपनी बेटियों को कुश्ती सिखाने का फैसला साल 2000 में लिया था. उस समय वेटलिफ्टर कर्णम मल्लेश्वरी (karnam malleswari) ओलंपिक में पदक जीतने वाली पहली भारतीय महिला बनीं थी.
ये भी पढे़ं- फादर्स डे : डॉक्टर पिता की होनहार बेटी, कोरोना काल में बिना थके ड्यूटी पर डटी रहीं क्षितिजा
पत्नी के खिलाफ गए महावीर फोगाट
महावीर फोगाट अपने कोच चंदगी राम से भी काफी प्रभावित थे. क्योंकि चंदगी राम ने भी अपनी बेटियों को कुश्ती सिखाई थी. ऐसा बताया जाता है कि महावीर की पत्नी कभी नहीं चाहती थी कि उनकी बेटियां कुश्ती करे, लेकिन महावीर इस रूढ़िवादी सोच से इत्तेफाक नहीं रखते थे. महावीर ने सभी 6 बहनों को कुश्ती का प्रशिक्षण भिवानी जिले के उनके गांव बलाली में दिया. इसके बाद महावीर ने गीता (geeta phogat) और बबीता (babita phogat) को सोनीपत में भारतीय खेल प्राधिकरण केंद्र में नामांकित किया.
![mahavir phogat and phogat sisters story of success on fathers day 2021](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/12197867_abcd.jpeg)
फोगाट सिस्टर्स ने रोशन किया पिता का नाम
महावीर फोगाट की कभी ना हार मानने वाली सोच ने सब कुछ बदल दिया. छोटे से गांव में रहने वाले महावीर उनकी बेटियों ने वो कर दिखाया जिसकी उस समय कोई कल्पना भी नहीं करता था. महावीर ने अपनी बेटियों को कुश्ती के गुर सिखाए और गीता, बबीता और विनेश फोगाट ने राष्ट्रमंडल खेलों में विभिन्न भार वर्गों में स्वर्ण पदक जीते. जबकि प्रियंका फोगाट ने एशियाई चैंपियनशिप में रजत पदक जीता. वहीं रितु एक राष्ट्रीय चैंपियनशिप की स्वर्ण पदक विजेता हैं और संगीता ने आयु-स्तर की अंतरराष्ट्रीय चैंपियनशिप में पदक जीते हैं.
![mahavir phogat and phogat sisters story of success on fathers day 2021](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/12197867_abaaba.jpg)
ये भी पढे़ं- Father's Day Special: हरियाणा में पिता की सियासी विरासत बखूबी संभाल रहे ये बेटे
हरियाणा का गौरव हैं फोगाट सिस्टर्स
फौगाट बहनों (phogat sisters) ने हरियाणा का नाम देश में ही नहीं बल्कि विदेश में भी ऊंचा किया है. फोगाट बहनों ने समाज को ये संदेश दिया कि म्हारी छोरियां छोरों से कम नहीं है. फोगाट बहनों की कामयाबी के पीछे सबसे बड़ा हाथ महावीर फोगाट का ही है, जिन्होंने कभी ये नहीं सोचा कि समाज क्या सोचेगा. देश के लिए मेडल लाने का ख्वाब तो महावीर ने देखा था, लेकिन उनका वो सपना उनकी 6 बेटियों ने पूरा किया. आज फोगाट सिस्टर्स हरियाणा का गौरव हैं.
![mahavir phogat and phogat sisters story of success on fathers day 2021](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/12197867_abcde.jpg)
'दंगल' में महावीर का किरदार आमिर खान ने निभाया
फोगाट बहनों को लेकर बॉलीवुड में फिल्म बनाई गई. इस फिल्म में ये दर्शाया गया कि कैसे एक पिता महावीर फोगाट ने समाज के खिलाफ जाकर अपनी बेटियों को कुश्ती सिखानी शुरू की और बेटियों ने भी अपने पिता का सिर कभी झुकने नहीं दिया. दंगल फिल्म (dangal) में महावीर फोगाट का रोल आमिर खान (aamir khan) ने किया. इस फिल्म के मुख्य किरदार में आमिर खान, साक्षी तंवर, फ़ातिमा सना शेख, ज़ायरा वसीम, सान्या मल्होत्रा और सुहानी भटनागर हैं. ये फिल्म 23 दिसंबर, 2016 को सिनेमाघरों में प्रदर्शित हुई थी.